फरवरी 2023 में जब ब्रिटिश ब्रॉडकास्टिंग कॉरपोरेशन (BBC) के दफ्तरों में आयकर सर्वे हो रहा था तो लेफ्ट-लिबरल गैंग इसे ‘आपातकाल’ बता रहा था। मोदी सरकार पर बदले की कार्रवाई का आरोप लगा रहा था। अब यह बात सामने आई है कि टैक्स चोरी से लगातार इनकार करने और जाँच में सहयोग करने की बात कहने वाली बीबीसी ने कम टैक्स देने की बात कबूल ली है।
इंडिया डॉट कॉम की रिपोर्ट के अनुसार बीबीसी ने 2016 से 2022 के बीच कम टैक्स देने की बात मानी है। इसकी भरपाई के लिए उसने करीब 40 करोड़ रुपए जमा करने के लिए आयकर विभाग को अर्जी दी है। रिपोर्ट के अनुसार अभी विभाग का असेसमेंट आना बाकी है। लेकिन केस से बचने के लिए बीबीसी ने यह अर्जी लगाई है।
TOI की रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि बीबीसी ने न तो अभी बकाया इनकम टैक्स की भरपाई की है और न ही इसके लिए लिखित रूप से कोई आवेदन दिया गया। इनकम टैक्स भरने के लिए बीबीसी की ओर से सिर्फ एक बयान दिया गया है।
बात दें कि इनकम टैक्स विभाग ने 14 फरवरी को बीबीसी के दिल्ली और मुंबई स्थित दफ्तरों में छापेमारी कर 3 दिन तक सर्वे किया था। 16 फरवरी 2023 को सर्वे पूरा होने के बाद इनकम टैक्स विभाग ने एक बयान में बीबीसी का नाम लिए बिना कहा था कि इनकम टैक्स एक्ट, 1961 की धारा 133ए के तहत एक प्रमुख अंतरराष्ट्रीय मीडिया कंपनी के दिल्ली और मुंबई स्थित कार्यालयों में सर्वे की कार्रवाई की गई।
इस सर्वे में सामने आया था कि मीडिया कंपनी विभिन्न भारतीय भाषाओं में व्यवसाय कर रही है। लेकिन कंपनी द्वारा बताई गई कमाई उसके व्यवसाय से मेल नहीं खाती है। कंपनी जिस तरह का व्यवसाय कर रही है, उस हिसाब से आय अधिक होनी चाहिए। इस सर्वे के दौरान ऐसे कई सबूत मिले जो बताते हैं कि आय के अनुसार टैक्स नहीं भरा गया। इनकम टैक्स विभाग ने बीबीसी दफ्तर में मौजूद डिजिटल सबूत व आवश्यक दस्तावेज जब्त करने के साथ ही उसके कर्मचारियों से पूछताछ भी की थी। इनकम टैक्स विभाग ने कहा था कि आवश्यकता पड़ने पर इन सबूतों की जाँच की जाएगी।