केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के खिलाफ लंबे समय से कथित किसान दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे हैं। इन आंदोलनकारी ‘किसानों’ ने 26 जून 2021 को देशभर में बड़े पैमाने प्रदर्शन की योजना बनाई है। इसकी आड़ में पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई भारत में अशांति फैलाने की साजिश रच रही है।
News18 की एक रिपोर्ट में बताया गया है कि किसान आंदोलन में घुसपैठ की फिराक में लगे आईएसआई ने इस बार नई साजिश रची है। वह प्रदर्शन के दौरान कानून-व्यवस्था कायम रखने के लिए तैनात सुरक्षा बलों को भड़काकर गड़बड़ी फैलाने की फिराक में है। इससे पहले ISI ने ने किसानों को भड़काकर हिंसा और गड़बड़ी फैलाने की साजिश रची थी।
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— News18 India (@News18India) June 22, 2021
किसान आंदोलन पर बड़ी ख़बर – ISI रच रहा है साज़िश किसान आंदोलन के ज़रिए हिंसा फैलाने की –#kisanandolan #Farmers #ISI #news @kumaarnitish pic.twitter.com/HXZX8VYowQ
संयुक्त किसान मोर्चा ने 26 जून 2021 को विभिन्न राज्यों में राजभवन के बाहर प्रदर्शन की योजना बनाई है। संयुक्त किसान मोर्चा में किसानों के 40 समूह शामिल हैं। रिपोर्ट के अनुसार, आईएसआई भारत में सुरक्षा एजेंसियों और प्रदर्शनकारियों के बीच टकराव बढ़ाकर उसका फायदा उठाना चाहता है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि आईएसआई पिछले कुछ महीनों से अपने एजेंटों के साथ ‘किसान’ आंदोलन में घुसपैठ करने की फिराक में है। यह बात सामने आई है कि आईएसआई किसानों के खिलाफ सुरक्षा एजेंसियों को भड़काना चाहती है। इस साजिश के खुलासे के बाद एजेंसियाँ सतर्क हो गई हैं। सुरक्षा-व्यवस्था और सख्त कर दी गई है। खुफिया एजेंसियाँ तमिलनाडु और केरल में संदिग्ध गतिविधियों पर लगातार नजर रख रही हैं।
‘आपातकाल’ की 46वीं वर्षगाँठ पर प्रदर्शन
पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गाँधी द्वारा देश में आपातकाल लागू किए जाने की 46वीं वर्षगाँठ के मौके पर 26 जून 2021 को आंदोलनकारी किसानों ने देश भर में प्रदर्शनों की योजना बनाई है। इन्होंने सितंबर 2020 में केंद्र द्वारा पारित नए कृषि कानूनों को निरस्त करने की माँग को लेकर देशभर के सभी राज्यों के सभी राजभवनों में ज्ञापन सौंपने की योजना बनाई है।
हालाँकि, कथित किसानों का यह प्रदर्शन यौन उत्पीड़न, बलात्कार और हत्या के मामलों को लेकर सवालों के घेरे में है। इन घटनाओ पर किसान नेताओं ने भी चुप्पी साध रखी है।