10 इंडोनेशियाई नागरिकों के खिलाफ गाजियाबाद पुलिस ने FIR दर्ज कर ली है। इनके खिलाफ टूरिस्ट वीजा नियमों के उल्लंघन करने के आधार पर FIR दर्ज हुई। गाजियाबाद के एसएसपी कलानिधि मारन ने बताया कि एक लोकल गाइड और उन चार लोगों के खिलाफ भी केस दर्ज कर लिया गया है, जिन्होंने इन सभी को छुपाए रखने की कोशिश की थी।
“वे पर्यटक वीजा पर यहाँ आए थे लेकिन मजहबी सम्मेलनों में भाग ले रहे थे, यह वीजा नियमों के शर्तों का उल्लंघन है। हम लगभग 800 इंडोनेशियाई प्रचारकों को ब्लैकलिस्ट करने जा रहे हैं ताकि भविष्य में वे देश में प्रवेश न कर सकें।”
इंडोनेशिया का एक NGO, पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा के साथ लिंक, पैसों को हवाला के जरिए दुबई से भारत भेजा जाना... इन सब के पीछे वही प्रोपेगेंडा! इंटरनेट पर उपलब्ध फोटो और मैसेज को प्रोपेगेंडा की तरह इस्तेमाल करना।
“इस चरमपंथी समूह के विचारों से डर फैलता है जिससे लोग डरते हैं और घबराते हैं। अगर हम डरते हैं और घबराते हैं, तो वे जीत जाते हैं। हम इस धमकी का जवाब नहीं देंगे।”
सबसे ज्यादा मुस्लिम आबादी वाला देश होने के बावजूद इंडोनेशिया की संस्कृति में रामायण रची-बसी है। यहॉं की रामलीला दुनियाभर में प्रसिद्ध है। कुछ दिनों यहॉं हिंदू यूनिवर्सिटी की शुरुआत की गई है।
मुस्लिम बहुल होने के बावजूद इंडोनेशिया की संस्कृति में रामायण रची-बसी है। यहॉं की रामलीला दुनियाभर में प्रसिद्ध है। ताजा रेगुलेशन का मकसद हिंदू उच्च शिक्षा को समर्थन और बढ़ावा देना है।
इंडोनेशिया की करीब 90 फीसद आबादी मुस्लिम है। जावा के जिस पठार से मूर्ति मिली है वह कलिंगा साम्राज्य के हिंदू मंदिरों का स्थान रहा। 140 सेमी मूर्ति की ऊँची और 120 सेमी चौड़ी मूर्ति का निर्माण 7वीं से 8वीं शताब्दी के बीच होने का अनुमान लगाया जा रहा है।
हलाल चश्मा बनाने वाली अटल्ला इंडोनेशिया कंपनी के निदेशक सिद्धार्थ ने बताया कि उनके प्रोडक्ट को 2 अक्टूबर को ही हलाल सर्टिफिकेट मिल गया था। उनका उद्देश्य इंडोनेशिया की बहुसंख्यक आबादी यानी मुस्लिम लोगों में अपने वस्तु की कीमत और ब्रांडिंग को बढ़ाना है।
उत्तर सुमात्रा के गवर्नर ने प्रस्ताव दिया था कि उनका प्रशासन हलाल पर्यटन को बढ़ावा देगा, लेकिन स्थानीय लोगों ने अब पोर्क उत्सव का आयोजन करके एक अनोखे तरीके से हलाल पर्यटन का विरोध करने का फ़ैसला किया है।