भारत सरकार ने सुपरस्टार रजनीकांत को सिनेमा के सर्वोच्च सम्मान दादा साहब फाल्के अवॉर्ड से नवाजा है। उप-राष्ट्रपति वेंकैया नायडू के हाथों उन्हें ये सम्मान प्राप्त हुआ। सोमवार (25 अक्टूबर, 2021) को राष्ट्रीय पुरस्कारों के कार्यक्रम में केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर की मौजूदगी में ये सम्मान मिला। दक्षिण भारत में ‘थलाइवा’ के रूप में जाने जाने वाले रजनीकांत के फैंस जापान और मलेशिया में भी हैं।
रजनीकांत को स्वर्ण कमल से सम्मानित किया गया। इस दौरान कार्यक्रम के उद्घोषक ने कहा कि सुपरस्टार रजनीकांत का शानदार फ़िल्मी करियर 45 वर्षों का रहा है और इस दौरान उनके काम ने न सिर्फ दर्शकों का मनोरंजन किया, बल्कि उन पर गहरा असर भी छोड़ा। उन्हें भारत के सबसे चहेते और लोकप्रिय कलाकरों में से एक बताते हुए कहा गया कि ये उनकी अभिनय कला को मिला सम्मान है।
कार्यक्रम में कहा गया कि सुपरस्टार रजनीकांत की संवाद अदायगी और स्क्रीन पर दिखने वाला अनोखापन लोगों को बेहद पसंद है और वो पीढ़ियों से सिनेप्रेमियों को प्रेरित करते आ रहे हैं। उप-राष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने उन्हें शॉल ओढ़ा कर सम्मानित किया, फिर उन्हें दादा साहब फाल्के अवॉर्ड का सर्टिफिकेट दिया गया। तमिल सिनेमा में एक अलग स्थान रखने वाले रजनीकांत ने 67वें राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार को सम्बोधित भी किया।
इस दौरान उन्होंने कहा, “मैं इस सम्मान को पाकर अभिभूत हूँ और मैं भारत सरकार का धन्यवाद अदा करता हूँ। मैं इस अवॉर्ड को अपने गुरु दिवंगत के बालाचंदर सर को अर्पित करता हूँ। सत्यनारायण गायकवाड़, जिन्होंने मुझे बड़ा किया। मैं अपने साथी बस ड्राइवर राज बहादुर को भी धन्यवाद देता हूँ, जिन्होंने मेरी एक्टिंग टैलेंट को पहचाना। मेरे फैंस का भी धन्यवाद, उन फैंस के सिवा मैं कुछ भी नहीं हूँ।”
बता दें कि 71 वर्षीय रजनीकांत ‘अँधा कानून’, ‘हम’ और ‘चालबाज’ जैसी मल्टीस्टारर हिंदी फिल्मों का भी हिस्सा रहे हैं, जो सुपरहिट रहीं। उनकी अगली फिल्म ‘Annatthe’ दीवाली पर रिलीज होने वाली है। उन्होंने ‘रोबोट’ के रूप में 2010 में भारतीय सिनेमा की उस समय तक की सबसे ज्यादा कमाई करने वाली फिल्म दी। 2018-19 में उनकी फिल्मों ने 1000 करोड़ रुपए से भी अधिक का कारोबार किया।