मध्य प्रदेश के खंडवा जिले के आबकारी अधिकारी ने कहा है कि शराब की दुकानों से शराब खरीदने पर वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट जरूरी नहीं है। उन्होंने कहा कि वैक्सीन ले लिया गया है, इसकी मौखिक जानकारी देना ही काफी होगा। दरअसल, गुरुवार (18 नवंबर 2021) को जिला प्रशासन ने शराब खरीदने वालों को लेकर दिशा-निर्देश जारी किया था। इसमें कहा गया था कि कोरोना संक्रमण को देखते हुए वैक्सीनेशन करवा चुके व्यक्तियों को ही शराब दुकान पर शराब दी जाएगी।
रिपोर्ट के मुताबिक, इस मामले में खंडवा जिले के आबकारी अधिकारी आरपी किरार ने कहा, “जो लोग शराब पीते हैं वे झूठ नहीं बोलते।” उल्लेखनीय है कि जिला प्रशासन ने कोरोना के प्रसार को रोकने और राज्य में वैक्सीनेशन की स्पीड को और अधिक तेज करने के इरादे से शराब दुकानों पर वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट दिखाना अनिवार्य कर दिया था।
MP| No vaccination proof is required…just verbal assurance of being fully vaccinated is enough..those who drink don’t lie…: Khandwa district excise officer RP Kirar on only those who are completely vaccinated against COVID are sold liquor from licensed liquor vends (18.11) https://t.co/jIFoQDcgFu pic.twitter.com/wSMZvgssjh
— ANI (@ANI) November 19, 2021
इसके लिए गुरुवार को खंडवा जिला प्रशासन की ओर से कोरोना की समीक्षा बैठक बुलाई गई थी। इस दौरान इस बात पर चर्चा की गई कि जिले में कोरोना वायरस संक्रमण की रोकथाम के लिये चलाये जा रहे मेगा टीकाकरण अभियान के तहत वर्तमान में प्रत्येक नागरिक का टीकाकरण किया जाना है। बैठक के बाद जिला एक्साइज ड्यूटी अधिकारी ने इस तरह का आदेश जारी किया था। गौरतलब है कि खंडवा जिले में वर्तमान में 55 देशी व 19 विदेशी शराब की दुकानें संचालित हो रही हैं।
रिपोर्ट के मुताबिक, मध्य प्रदेश का खंडवा ऐसा पहला जिला नहीं है, जहाँ इस तरह के नियम लागू किए गए हैं। इससे पहले तमिलनाडु के ऊटी जैसे कई अन्य जिलों में भी इसी तरह के नियम लागू किए गए थे। सितंबर में उधगमंडलम जिले की कलेक्टर जे इनोसेंट दिव्या ने आदेश जारी किया था कि केवल टीकाकरण करवा चुके लोगों को ही शराब बेची जाएगी। हालाँकि, कलेक्टर के आदेश में टीके के डोज का जिक्र नहीं किया गया था। वहीं, नीलगिरी जिले में TASMAC जैसे कुछ आउटलेट्स ने शराब खरीदने पर वैक्सीन के दोनों डोज लेने का सर्टिफिकेट दिखाना अनिवार्य कर दिया था।