प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने लोकसभा चुनाव 2024 से पहले ऐलान किया था कि सरकार गरीबों से फर्जीवाड़े द्वारा लिया गया पैसा वापस करेगी। यह पैसा घोटालेबाजों की जब्त सम्पति से लौटाया जाएगा। अब इस दिशा में काम चालू हो गया है। मोदी सरकार ने रोज वैली और सहारा घोटाला का पैसा पीड़ितों को लौटाना चालू कर दिया है।
प्रधानमंत्री के वादे के अनुसार, प्रवर्तन निदेशालय (ED) पश्चिम बंगाल के रोज वैली घोटाले के ₹12 करोड़ को पीड़ितों को लौटाएगा। इस संबंध में कोलकाता के एक कोर्ट ने 24 जुलाई, 2024 को ED को आदेश दिया है। ED ने रोज वैली ग्रुप की ₹12 करोड़ की 14 FD जब्त की थीं।
कोर्ट के आदेशनुसार अब उन्हें एक कमिटी को हस्तांतरित कर दिया जाएगा। यह कमिटी वह पैसा उन लोगों को लौटाएगी जो इस घोटाले का शिकार हुए हैं। इसके लिए उन लोगों से आवेदन लिए जाएँगे जिनका पैसा इसमें डूबा है। ED का यह कदम पीएम मोदी की पहल के बाद हुआ है।
पीएम मोदी ने मई, 2024 में एक इंटरव्यू के दौरान कहा था कि वह उन गरीबों को पैसा लौटाने के लिए कानूनी रास्ता देख रहे हैं। उन्होंने कहा था कि यह पैसा वही होगा जो लूटने वालों ने इकट्ठा किया है और एजेंसियों ने उसे इकट्ठा किया है। ED ने इसके लिए PMLA कानून का ही सहारा लिया है।
गौरतलब है कि रोज वैली कम्पनी पर देश के 10 राज्यों में निवेशकों के साथ ₹10,000 का घोटाला करने का आरोप है। रोज वैली कम्पनी ने भोले भाले निवेशकों को उनके निवेश पर 17% तक के ब्याज का झांसा देकर हजारों करोड़ रूपए जमा करवाए और उन्हें पैसा वापस नहीं किया।
सहारा वालों को भी वापस मिला पैसा
रोज वैली घोटाले के अलावा सहारा में जिन निवेशकों का पैसा डूबा है, उन्हें भी मोदी सरकार ने पैसा लौटाना चालू कर दिया है। केंद्र सरकार ने इस संबंध में जानकारी देश के सामने भी रखी है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सोमवार (5 अगस्त, 2024) को लोकसभा में इस विषय में बताया।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि सहारा निवेशकों के साथ हुए फर्जीवाड़े में पूरा मामला सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में हो रहा है। उन्होंने बताया कि सहारा की तीन कम्पनियाँ SEBI के अंतर्गत आती हैं। इन तीन कम्पनियों ने 17,526 निवेशकों को ₹138 करोड़ लौटाए हैं। यह पैसा सहारा द्वारा जमा करवाए गए पैसे से ही दिया गया है।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि निवेशकों को कई बार पैसा लेने के लिए कहा जा चुका है लेकिन जितने आवेदन आए हैं उसी हिसाब से पैसा दिया गया है। उन्होंने बताया कि SEBI से सम्बन्धित मामले में पैसा लेने के लिए निवेशक आगे नहीं आ रहे।
इसके अलावा वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने ने यह भी बताया कि सहारा की सहकारी कम्पनियों में भी करोड़ों छोटे-बड़े लोगों ने पैसा जमा करवाया था। उन्होंने बताया कि देश में केन्द्रीय सहकारिता मंत्रालय बनने के बाद SEBI के पास पड़ा सहारा का जमा किया ₹5000 करोड़ कोर्ट के आदेश से जमा करने वालों को लौटाने का प्रयास चालू हुआ था।
वित्त मंत्री ने बताया कि इसके लिए केंद्र सरकार ने एक पोर्टल बनाया था। उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार ने सहारा की सहकारी समिति में पैसा जमा करने वाले 4.63 लाख लोगों को ₹374 करोड़ अब तक लौटाए हैं। इसमें और भी कार्रवाई आगे चल रही है।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पर्ल समूह में हुई धोखाधड़ी के पैसे को लेकर भी बात की। उन्होंने बताया कि पर्ल समूह में पैसा जमा करवाने वाले 20 लाख से अधिक लोगों को ₹1021 करोड़ लौटाया जा चुका है। वित्त मंत्री ने इस मामले में बताया कि उन लोगों को ही पैसा दिया जा रहा है जिनके दावे सही हैं।