Friday, November 22, 2024
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मुफ्त शिक्षा के नाम पर बच्चों को ईसाइयत का पाठ, येशु वाला क्विज: झारखंड में 3 महिलाओं समेत 4 मिशनरी हिरासत में, धर्मांतरण गिरोह का पर्दाफाश

पाठ 2 में भी ईसा मसीह के बारे में लिखा गया था। इस चैप्टर में 'प्रभु यीशु ने कहा जीवन का जल मैं हूँ जो कोई यह जल पिएगा वो अनंत काल तक प्यासा न रहेगा' की लाइन लिखी हुई थी।

झारखंड के पश्चिमी सिंहभूम ज़िले में शिक्षा की आड़ में ईसाई धर्मांतरण के रैकेट का खुलासा हुआ है। यहाँ बच्चों को मज़हबी सहित बाँटने के आरोप में पुलिस ने 4 लोगों को हिरासत में लिया है। गिरफ्तार आरोपितों में 3 महिलाएँ शामिल हैं। धर्म-परिवर्तन की साजिश रचने के ये आरोपित गाँव में बच्चों को फ्री शिक्षा के बहाने पढ़ा रहे थे। मामले की जानकारी होने पर ग्रामीणों ने विरोध दर्ज करवाया है। पुलिस मामले की जाँच कर रही है। घटना बुधवार (7 जून 2023) की है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक मामला चक्रधरपुर के देवगाँव का है। यहाँ के पोनसाई टोले में 3-4 दिन पहले 3 महिलाओं और 1 युवक ने बच्चों को निःशुल्क शिक्षा देने के लिए पाठशाल लगाई थी। इन सभी ने बच्चों को फ्री में किताबें और पेंसिलें बाँट कर उनके माता-पिता को विश्वास में लिया। ग्रामीणों का आरोप है कि पढ़ाई के नाम पर यहाँ बच्चों को ईसाई मत की किताबें बाँटी जा रहीं थीं। इन किताबों में ईसा मसीह की फोटो के साथ ‘यीशु ने कहा मैं जगत की ज्योति हूँ’ जैसे शब्द लिखे गए थे। आरोपितों द्वारा इन चित्रों और शब्दों में बच्चों को रंग भरने का टारगेट दिया जा रहा था। ये लाइनें पाठ-3 की थीं।

वहीं पाठ 2 में भी ईसा मसीह के बारे में लिखा गया था। इस चैप्टर में ‘प्रभु यीशु ने कहा जीवन का जल मैं हूँ जो कोई यह जल पिएगा वो अनंत काल तक प्यासा न रहेगा’ की लाइन लिखी हुई थी। बच्चों से इसे रेखांकित करने के लिए कहा गया था। बाईं तरफ एक व्यक्ति की ईसाई मसीह से मुलाकात का चित्र छापा गया है। वहीं अन्य अध्यायों में क्विज के तौर पर ईसा मसीह तक पहुँचने का रास्ता खोजने और ईसाईयत से जुड़े लोगों के नाम आदि सोच कर लिखने के सवाल दिए गए थे।

इस किताब के एक हिस्से में बच्चों को परमेश्वर की संतान बताते हुए लोगों के आगे प्रस्तुत होने का तरीका बताया गया है। इन तरीकों में ‘दूसरों को यीशु के बारे में बताते हुए’ जैसे कॉलम लिखे हुए हैं। एक दिन जब यह क्लास चल रही थी तब पास से कुछ ग्रामीण गुजरे। उन्हें इस पढ़ाई पर शक हुआ तो जा कर किताबों को चेक किया। आखिरकार सच्चाई सामने आ गई। जब बच्चों के माता-पिता को इन किताबों के बारे में पता चला तो उन्होंने हंगामा कर दिया।

ग्रामीणों ने शिक्षा के नाम पर ईसाईयत का प्रचार कर रहे आरोपितों से पूछताछ का वीडियो भी बनाया। वीडियो में आरोपित ईसा मसीह के बारे में बच्चों को पढ़ाना स्वीकार कर रहे हैं।

आखिरकार मामले की सूचना पुलिस को दी गई। पुलिस ने गाँव में पहुँच कर 3 महिला व 1 पुरुष को हिरासत में ले लिया। चक्रधरपुर थाना प्रभारी चंद्रशेखर कुमार ने मीडिया को बताया कि पकड़े गए लोगों से पूछताछ की जा रही है।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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