उत्तर प्रदेश में लव जिहाद के खिलाफ कानून बनने के बाद बरेली में दर्ज हुए पहले मुकदमे में गिरफ्तारी हो गई है। देवरनिया थाने में 28 नवंबर को ‘लव जिहाद’ का पहला मुकदमा दर्ज होने के बाद से ही फरार चल रहे आरोपित उवैश को आखिरकार पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तारी के बाद अरोपित उवैश अहमद को बुधवार को अदालत में पेश किया गया था। जहाँ से उसे जेल भेज दिया गया।
बरेली पुलिस के आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर लव जिहाद के आरोपित की गिरफ्तारी की जानकारी साझा की है।
थाना देवरनियां #bareillypolice द्वारा लव जिहाद के मु0अ0सं0 361/20 धारा 504/506 भादवि व 3/5 उ0प्र0 विधि विरूद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अधि0 में वांछित अभियुक्त को किया गिरफ्तार । #UPPolice @Uppolice pic.twitter.com/XpnuIYJtlE
— Bareilly Police (@bareillypolice) December 2, 2020
उवैश पर आरोप है कि वह एक हिन्दू लड़की को अपने प्रेमजाल में फँसाकर उस पर धर्मांतरण का दबाव बना रहा था। इतना ही नहीं लड़की की शादी कहीं और हो जाने के बाद भी आरोपित उसे जान से मारने की धमकी भी दे रहा था। योगी सरकार द्वारा लाए गए विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अधिनियम-2020 को राज्यपाल से मंजूरी मिलने के बाद प्रदेश में यह पहला केस दर्ज हुआ था।
बरेली के पुलिस उपमहानिरीक्षक राजेश कुमार पांडे ने कहा, ‘‘जिले की बहेड़ी पुलिस ने रिछा रेलवे फाटक के पास से आरोपी युवक को गिरफ्तार कर लिया।”
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, बरेली के प्रभारी वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक संसार सिंह ने मामले की जानकारी देते हुए गुरुवार (3 दिसंबर, 2020) को बताया, ‘‘जिले के थाना देवरनिया के गाँव शरीफ नगर में रहने वाली एक युवती का आरोप था कि आरोपी उसे तीन साल से परेशान कर रहा था और विवाह के लिए धर्म परिवर्तन का दबाव बनाता था।’’
गौरतलब है कि लड़की के पिता ने अपनी शिकायत में पुलिस को कहा है कि उनकी बेटी इंटर कॉलेज की पढ़ाई के दौरान उवैस के संपर्क में आई थी। उवैस ने उसे अपने जाल में फँसाया और जब लड़की ने 2019 में बीए में एडमिशन लिया तो वह उसे बहलाकर अपने साथ भोपाल ले गया।
उस समय लड़की के घरवालों ने पुलिस में शिकायत नहीं की थी। गाँव में एक पंचायत बैठी थी और उसमें निर्णय लिया गया कि मुकदमा दर्ज नहीं करवाया जाएगा और उवैस उनकी लड़की को वापस कर देगा।
युवती के वापस आते ही उसके परिजन ने जून 2020 में उसकी शादी किसी दूसरी जगह कर दी, इससे बौखलाया आरोपित अक्सर उसके पिता के घर पहुँच कर धमकी देता था। पिछले शनिवार को भी उसने पिता को तमंचा दिखाकर जान से मारने की धमकी दी थी। अंत में परिवार ने तंग आकर शिकायत करवाई।
पुलिस ने इस मामले की पुष्टि करते हुए परिजनों को बताया था कि हाल में जो अध्याधेश (विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अधिनियम’) जारी हुआ है, उसकी धारा 3 व 5 के तहत यह मुकदमा दर्ज हुआ है। इसके अलावा आईपीसी की अन्य धाराएँ भी उवैस के ख़िलाफ़ लगाई गई हैं। एफआईआर दर्ज होने के बाद से आरोपित फरार चल रहा था। जिसको 5 दिन बाद पुलिस ने गिरफ्तार किया है। और उसे 14 दिन के न्यायिक हिरासत में भेजा गया है।