हिमाचल प्रदेश के डीजीपी (DGP) एसआर मार्डी ने रमजान को देखते हुए मुस्लिमों को पैगम्बर मुहम्मद की बात याद दिलाई है। पैगम्बर मुहम्मद ने कहा था कि मुस्लिमों को रमजान के दौरान अपनी कुल संपत्ति का 2.5% हिस्सा दान दे देना चाहिए। बता दें कि रमजान अप्रैल 23, 2020 से शुरू हो रहा है, जो एक महीने चलेगा। रमजान के आलोक में हिमाचल डीजीपी ने कहा कि सभी मुस्लिमों को पैगम्बर मुहम्मद की बात मानते हुए ग़रीबों को भोजन कराना चाहिए।
उन्होंने कहा कि वो सभी मुस्लिमों से निवेदन करते हैं कि वो निर्धन लोगों को खाना खिलाएँ। साथ ही उन्होंने कहा कि मुस्लिम पीएम केयर्स और पीएम रिलीफ फण्ड में भी डोनेट कर सकते हैं। बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पीएम केयर्स का बैंक अकाउंट डिटेल्स सार्वजनिक किया था, ताकि लोग कोरोना संक्रमण आपदा से लड़ाई में वित्तीय सहयोग करें। इसके लिए छोटी राशि से लेकर बड़ी धनराशि तक स्वीकार की जाती है। पीएम की अपील के बाद बड़े सेलेब्रिटीज और कारोबारियों से लेकर आम लोगों तक ने जी भर डोनेशन दिया था।
जहाँ तक पहाड़ी राज्य हिमाचल प्रदेश की बात है, यहाँ अब तक कोरोना वायरस के 39 मामले सामने आए हैं, जिनमें से 21 अभी भी सक्रिय हैं। जहाँ दो लोगों को इस वायरस के संक्रमण के कारण अपनी जान गँवानी पड़ी, 16 लोग इलाज के बाद ठीक हो चुके हैं। इनमें से कई जमाती भी हैं। उधर पर्यटन सहित कई उद्योगों के बंद होने के कारण पहाड़ी राज्य की कमाई पर भी मार पड़ी है। राजस्व अर्जन के सारे स्रोत सूखने के कारण राज्य को पिछले एक महीने में 7000 करोड़ रुपए की चपत लगी है। सरकारी राजस्व में करीब 350 करोड़ की गिरावट एक माह के भीतर आ चुकी है।
Prophet Muhammad has said that Muslims should donate 2.5 per cent of their total wealth during Ramzan which is about to begin. So I request our Muslim brothers to feed the poor. They can also donate to PM-CARES or CM Relief Fund: Himachal Pradesh DGP SR Mardi pic.twitter.com/X0IGbaDcuU
— ANI (@ANI) April 22, 2020
इससे पहले हिमाचल के डीजीपी ने कहा था कि जो भी किसी व्यक्ति पर थूकने का अपराध करेगा, उस पर ‘हत्या के प्रयास’ के तहत मुकदमा चलाया जाएगा। उन्होंने कहा कि अगर दुर्भाग्य से पीड़ित की मौत हो जाती है तो आरोपित पर सीधा हत्या का मुकदमा ही चलाया जाएगा। हिमाचल प्रदेश में शुरुआत में कोरोना वायरस का एक भी मामला नहीं था लेकिन दिल्ली से जमातियों के वहाँ जाने के बाद कई मामले सामने आए थे। कई जमाती छिप भी गए थे, जिन्हें बाहर निकालने के लिए पुलिस को चेतावनी देनी पड़ी।