ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने गुरुवार (30 दिसंबर 2021) को जिला कलेक्टरों को मदर टेरेसा द्वारा स्थापित मिशनरीज ऑफ चैरिटी द्वारा संचालित संगठनों के साथ नियमित संपर्क में रहने को कहा। नवीन पटनायक ने जिला प्रमुखों को यह सुनिश्चित करने का भी निर्देश दिया कि इन संगठनों का कोई भी निवासी विशेष रूप से खाद्य सुरक्षा और स्वास्थ्य संबंधी संकट से पीड़ित न हो। मुख्यमंत्री ने कहा, “जहाँ भी जरूरत हो, मुख्यमंत्री राहत कोष (CMRF) से धन का इस्तेमाल इस उद्देश्य के लिए किया जा सकता है।”
बता दें कि मिशनरीज ऑफ चैरिटी के फॉरेन कंट्रीब्यूशन रेगुलेशन एक्ट (FCRA) के नवीनीकरण को मंजूरी देने से गृह मंत्रालय के इनकार के बाद यह कदम उठाया गया है। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने हाल ही में जानकारी दी थी कि विदेशी अभिदाय विनियमन कानून के तहत पंजीकरण के नवीनीकरण के मिशनरीज ऑफ चैरिटी के आवेदन को 25 दिसंबर को कुछ पात्रता शर्तों को पूरा नहीं करने के कारण खारिज कर दिया गया है।
हालाँकि, केंद्रीय गृह मंत्रालय (MHA) का कहना था कि उन्होंने मदर टेरेसा द्वारा स्थापित ‘मिशनरीज ऑफ चैरिटी MoC)’ के बैंक खातों को फ्रीज नहीं किया, बल्कि सिर्फ रजिस्ट्रेशन की वैधता बढ़ाने की याचिका को रद्द किया। वहीं ‘स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI)’ ने बताया कि संस्था ने खुद ही निवेदन भेजा था कि उसके बैंक खातों को फ्रीज कर लिया जाए।
उल्लेखनीय है कि ‘मिशनरीज ऑफ चैरिटी MoC)’ के बैंक खातों को फ्रीज किए जाने की खबरों के बाद पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और वामपंथी दल CPI ने आरोप लगाया था कि केंद्रीय गृह मंत्रालय ने क्रिसमस पर ईसाइयों पर हमला बोलते हुए MoC के बैंक खातों को जब्त कर दिया। ममता बनर्जी ने दावा किया था कि 22,000 मरीज और कर्मचारी बिना भोजन और दवाओं के बेचैन हैं। बता दें कि मदर टेरेसा द्वारा स्थापित ‘मिशनरी ऑफ चैरिटी’ पर कथित तौर पर बच्चों के ख़रीद-फरोख्त का भी आरोप लग चुका है।