उत्तर प्रदेश के कानुपर में पिछले दिनों ईसाई धर्मांतरण रैकेट (Conversion case in Kanpur) का खुलासा हुआ था। अब इसकी जाँच नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी (NIA) और यूपी की स्पेशल टास्क फोर्स (UPSTF) करेगी। श्याम नगर के किराए के एक फ्लैट से यह रैकेट चलाया जा रहा था। दो लोगों को गिरफ्तार कर फोटो, वीडियो, कंप्यूटर और विदेशी भाषा में लिखी कुछ पुस्तकें भी बरामद की गई थीं।
संयुक्त पुलिस आयुक्त आनंद प्रकाश तिवारी के अनुसार कहा कि मामले की गंभीरता को देखते हुए जाँच NIA और STF को देने का फैसला किया गया है। फतेहपुर और प्रयागराज धर्मांतरण मामले की जाँच करने वाली टीम ही इस मामले को भी देखेगी।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, धर्म परिवर्तन मामले में पुलिस ने अब तक कई लोगों के बयान दर्ज किए हैं। पुलिस ने बताया है कि अब तक की जाँच में सामने आया है कि आरोपित और उनके सहयोगी चकेरी के आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों से स्कूलों के बच्चों को पिकनिक के बहाने श्याम नगर स्थित फ्लैट पर लाते थे। इसके बाद बंद कमरे में उनका ब्रेनवॉश किया जाता था। पुलिस का कहना है कि आरोपित पिछले कई सालों से इस काम में लगे हुए थे। धर्म परिवर्तन कराने के लिए उन्हें मोटी रकम मिलती थी।
संयुक्त पुलिस आयुक्त आनंद प्रकाश तिवारी ने कहा कि इस मामले में किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा। मामले की गंभीरता से जाँच चल रही है। आरोपितों से फंडिंग और उनके आकाओं की पूरी जानकारियाँ जुटाई जा रही हैं। पुलिस की कई टीमों को जाँच में लगाया गया है। जल्द ही सभी आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा।
उल्लेखनीय है कि कानपुर में चकेरी थाना क्षेत्र के एक फ्लैट से 6 मार्च 2023 को धर्मांतरण मामले में पुलिस ने दो आरोपितों को गिरफ्तार और कई लोगों को हिरासत में लिया था। ये दोनों लोगों को अच्छी नौकरी, बिजनेस, मकान और शादी का लालच देकर उन्हें बरगलाने का काम करते थे।
स्थानीय लोगों ने शिकायत की थी कि फ्लैट में धर्मांतरण का कार्य होता है। इसको लेकर बजरंग दल और विहिप के कार्यकर्ता वहाँ पहुँचे और उन्होंने फ्लैट पर 50 से अधिक पुरुष और महिलाओं को पाया था। विश्व हिंदू परिषद के उपाध्यक्ष आनंद सिंह ने बताया था कि इन सब लोगों का फ्लैट में ब्रेनवॉश हो रहा था। उन्हें ईसाई धर्म से जुड़े साहित्य भी उपलब्ध कराए गए थे। उनके मुताबिक करीब 8-10 लोगों को हिंदू धर्म छोड़कर ईसाई बनने को कहा जा रहा था।