Monday, November 18, 2024
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1.80 करोड़ बच्चों को योगी सरकार देगी मिड डे मील का अनाज, ₹1000 भी अभिभावकों के बैंक एकाउंट में डालने का फैसला

यूपी में कुल 1,23,14,652 प्राथमिक और 57,05,194 जूनियर बच्चें सरकारी स्कूल में है। और इसी हिसाब से लगभग सरकारी व सहायता प्राप्त स्कूलों में पढ़ रहे 1.80 करोड़ बच्चों को इसका लाभ मिलेगा। योगी सरकार की तरफ से अभिभावकों के बैंक एकाउंट में भी 1000 रुपए डालने की भी तैयारी है।

लॉकडाउन और कोरोना संकट के दौरान उत्तर प्रदेश की योगी सरकार जनता की सुविधाओं को मद्देनजर रखते हुए कई फैसले कर रही हैं। वहीं अब यूपी सरकार ने करीब 1.80 करोड़ बच्चों को लॉकडाउन की अवधि और गर्मी की छुट्टियों के मिड डे मील का अनाज पहुँचाने का फैसला लिया है।

साथ ही योगी सरकार की तरफ से अभिभावकों के बैंक एकाउंट में 1000 रुपए डालने की भी तैयारी है। ये सुविधा सरकार की तरफ से कन्वर्जेंस कास्ट के ज़रिए दिया जा रहा है।

अपर मुख्य सचिव रेणुका कुमार ने प्रदेश के सभी डीएम को निर्देश दिए है। जिसके अनुसार कक्षा 1 से 5 तक के बच्चों को 100 ग्राम अनाज प्रतिदिन और 4.97 रुपए प्रतिदिन मिलेगा। वहीं कक्षा 6-8 तक के बच्चों को 150 ग्राम अनाज प्रतिदिन और 7.45 रुपए प्रतिदिन मिलेगा। (बीते शैक्षिक सत्र में कन्वर्जन कॉस्ट प्राइमरी के लिए 4.48 व जूनियर में 6.71 रुपए थी। लिहाजा 24 से 31 मार्च तक की गणना इसके आधार पर होगी।)

यूपी में कुल 1,23,14,652 प्राथमिक और 57,05,194 जूनियर बच्चें सरकारी स्कूल में है। और इसी हिसाब से लगभग सरकारी व सहायता प्राप्त स्कूलों में पढ़ रहे 1.80 करोड़ बच्चों को इसका लाभ मिलेगा।

उन्होंने आगे कहा धनराशि आरटीजीएस के माध्यम से छात्रों के माता-पिता/अभिभावकों के बैंक खाते में ट्रांसफर किया जाएगा। जिसकी पूर्ण जानकारी (अभिभावक का नाम, मोबाइल नंबर, बैंक खाता आदि) इकट्ठा करने के लिए तत्काल प्रभाव से प्रधानाचार्य व शिक्षकों को लगाया जाएगा।

इसके अलावा प्रिंसिपल को वाउचर जारी किया जाएगा। जिसमें स्कूल, छात्र-छात्रा का नाम, पंजीयन संख्या, कक्षा व खाद्यान्न की मात्रा जैसी जानकारी को भरना होगा।

सोशल डिस्टेंसिग का ख्याल रखते हुए स्कूल प्रिंसीपल एक समय में 2 से 3 अभिभावकों को स्कूल में बुलाकर खाद्यान्न और खाते से संबंधित जानकारी ले सकते हैं।

आपको बता दें यूपी सरकार आए दिन प्रवासी मजदूरों के लिए अलग-अलग योजनाओं की भी पहल कर रही हैं। ताकि गृहराज्य वापस लौटे श्रमिको को रोजगार के लिए वापस अन्य राज्यों में न जाना पड़े।

सरकार ने इंडियन इंडस्ट्री एसोसिएशन व अन्य औद्योगिक संस्थाओं के साथ 11 लाख 50 हजार लोगों को रोजगार के अवसर प्रदान करने के लिए चार एमओयू पर हस्ताक्षर किया।

कामगारों को उनके गृह जनपद में ही रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने के लिए योगी सरकार बड़ी तेजी से डेटाबेस बनाने में जुटी हुई है। इसी क्रम में करीब 14.75 लाख कामगारों की स्किल मैपिंग का काम पूरा करवा लिया गया है। अब इनकी ट्रेनिंग करवाकर इन्हें रोजगार दिया जाएगा। ट्रेनिंग के दौरान इन्हें ट्रेनिंग भत्ता भी दिया जाएगा।

इस स्किल डेवलपमेंट ट्रेनिंग से प्रवासियों के हुनर का लाभ लेकर यूपी के अर्थतंत्र को मजबूत करने की दिशा में काम शुरू कर दिया गया है। उनकी विशेषज्ञता के आधार पर उत्पादों और उत्पादन को बढ़ावा देने का भी काम किया जाएगा।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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