उत्तर प्रदेश में 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर प्रदेश के हर जिले तक पहुँचने के क्रम में सीएम योगी आदित्यनाथ शनिवार को समाजवादी पार्टी के गढ़ औरैया तथा इटावा के दौरे पर रहे। इस दौरान उन्होंने समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव के जिन्ना वाले बयान पर तंज कसते हुए कहा कि सरदार पटेल देश को जोड़ने वाले हैं, जबकि जिन्ना तोड़ने वाला। वहीं, अखिलेश ने कहा कि जिन्ना वाले बयान पर वह अब भी कायम हैं।
औरैया में राजकीय मेडिकल कॉलेज तथा विकास की अन्य परियोजनाओं का शिलान्यास तथा लोकार्पण के दौरान एक जनसभा को संबोधित करते हुए सीएम योगी ने अखिलेश यादव पर जोरदार तंज कसा। उन्होंने कहा कि सरदार पटेल देश को जोड़ने वाले हैं, जिन्ना देश को तोड़ने वाले। दोनों समकक्ष नहीं हो सकते। सरदार पटेल राष्ट्र के नायक हैं, लेकिन जिन्ना भारत की एकता को खंडित करने वाले हैं। उन्होंने कहा कि जो लोग यह तुलना कर रहे हैं, उनसे सतर्क रहना होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन्ना ने राष्ट्र-तोड़क के रूप में निंदित काम किया, लेकिन आज जिन्ना और सरदार पटेल की तुलना करने का जो प्रयास हो रहा है, हमें ऐसे तत्वों के मंसूबों को समझना होगा। भारत को तोड़ने वाले जिन्ना को कुछ लोग अपना मानते हैं। ऐसे लोग सरदार पटेल और जिन्ना में तुलना करने का प्रयास कर रहे हैं। जिन्ना के डायरेक्ट एक्शन को इस देश को नहीं भूलना चाहिए।
Lucknow | Why should I clear the context? I want people to read books again: Samajwadi party chief Akhilesh Yadav on his earlier statement that Sardar Patel, Mahatma Gandhi, Jawaharlal Nehru and Muhammad Ali Jinnah studied from the same institute and fought for India’s freedom pic.twitter.com/oQ7yx2GfPq
— ANI UP (@ANINewsUP) November 6, 2021
वहीं, सपा प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव जिन्ना पर दिए अपने बयान पर कायम हैं। अखिलेश ने कहा है कि लोगों को फिर से इतिहास की किताबें पढ़नी चाहिए। अखिलेश ने शनिवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर योगी सरकार पर हमला बोला। इस दौरान उन्होंने जिन्ना विवाद पर भी चुप्पी तोड़ी।
अखिलेश से पत्रकारों ने पूछा कि उन्होंने जिन्ना पर बयान किस संदर्भ में दिया था? इस पर अखिलेश ने कहा, “मुझे संदर्भ क्यों क्लियर करना चाहिए? मैं चाहता हूँ कि लोग फिर से इतिहास की किताबें पढ़ें।” याद दिला दें कि अखिलेश ने हरदोई में एक बयान दिया था, जिस पर काफी विवाद हो रहा है। अखिलेश ने जिन्ना की तुलना सरदार पटेल से की थी।
अखिलेश यादव ने कहा था, “सरदार पटेल जमीन को पहचानते थे और जमीन को देखकर फैसले लेते थे, इसीलिए आयरन मैन के नाम से जाने जाते थे। सरदार पटेल जी, राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी, जवाहरलाल नेहरू और जिन्ना एक ही संस्था में पढ़कर बैरिस्टर बने थे। वह बैरिस्टर बने उन्होंने आजादी दिलाई अगर उन्हें किसी भी तरह का संघर्ष करना पड़ा होगा तो वह पीछे नहीं हटे।” उनके इस बयान को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ‘शर्मनाक’ और ‘तालिबानी मानसिकता’ वाला बताया था और साथ ही कहा था कि इसके लिए अखिलेश यादव को माफी माँगनी चाहिए।