कर्नाटक की राजनीति में बग़ावती तेवर जारी है। एक बार फिर कॉन्ग्रेस-जेडीएस को बड़ा झटका लगा है। कॉन्ग्रेस से विजयनगर के विधायक आनंद सिंह ने विधानसभा की सदस्यता से इस्तीफ़ा दे दिया है। उन्होंने अपना इस्तीफ़ा स्पीकर के आर रमेश को सौंपा है।
Karnataka: Congress MLA from Vijayanagar, Anand Singh, resigns from his assembly membership, submits his resignation to Speaker KR Ramesh Kumar. (file pic) pic.twitter.com/pQvSuRoOxF
— ANI (@ANI) July 1, 2019
ऐसा माना जा रहा है कि अन्य विधायक भी उनके नक्शेक़दम पर चल सकते हैं। आनंद सिंह ने अपना इस्तीफ़ा ऐसे समय में दिया जब मुख्यमंत्री कुमारस्वामी भारत में न होकर अमेरिका में हैं। आगामी 8 जुलाई तक उनके वापस आने की संभावना है।
इससे पहले लोकसभा चुनाव में क़रारी हार के एक दिन बाद ही कर्नाटक में राज्य कैबिनेट की बैठक में मुख्यमंत्री एच डी कुमारस्वामी के नेतृत्व पर भरोसा जताया गया था। इसके अलावा, यह भी कहा गया था कि कॉन्ग्रेस और जेडीएस के बीच गठबंधन जारी रहेगा। लेकिन उसके बाद के घटनाक्रम पर नजर डालें तो ऐसा कुछ भी प्रतीत नहीं हो रहा है।
ख़बर के अनुसार, कॉन्ग्रेस नेता परमेश्वर ने भारतीय जनता पार्टी पर आरोप लगाया था कि वो राज्य सरकार को अस्थिर करने की कोशिश में जुटी हुई है। बीजेपी की ख़िलाफ़त करते हुए उन्होंने कहा था कि राज्य में सत्तारुढ़ गठबंधन उनके मंसूबों को सफल नहीं होने देगा। उन्होंने कहा था कि सभी विधायक एक साथ हैं और गठबंधन कुमारस्वामी के नेतृत्व के तहत काम करना जारी रखेगा और राज्य में कॉन्ग्रेस-जेडीएस की गठबंधन सरकार को कोई ख़तरा नहीं है।
बता दें कि आनंद सिंह उस समय चर्चा में आए थे जब उनके साथी विधायक कांपली गणेश ने रिसॉर्ट में उनकी पिटाई कर दी थी। रिसॉर्ट में कॉन्ग्रेस के सभी विधायकों को भाजपा में शामिल होने से रोकने के लिए ठहराया गया था। दरअसल, आनंद सिंह पिछले साल ‘ऑपरेशन लोटस’ में पकड़े गए भाजपा विधायकों में से एक थे।
जानकारी के अनुसार, पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा यह पहले ही स्पष्ट कर चुके थे कि उन्हें भाजपाा नेतृत्व ने ‘ऑपरेशन लोटस’ में शामिल न होने का निर्देश दिया है क्योंकि उनका मानना है कि राज्य की गठबंधन सरकार ख़ुद ही गिर जाएगी। वहीं, दूसरी तरफ़ आनंद सिंह का इस्तीफ़ा यह सवाल खड़ा करता है कि क्या ‘ऑपरेशन लोटस’ अभी भी जारी है।