वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण आर्थिक पैकेज की तीसरी किश्त की घोषणा कर रही हैं। पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा COVID-19 वायरस के कारण अर्थव्यवस्था को हुए नुकसान की भरपाई के लिए 20 लाख करोड़ रुपए के राहत पैकेज के ऐलान के बाद वित्त मंत्री ने प्रेस वार्ता के जरिए इसकी विस्तृत जानकारी दी है।
आज की वार्ता का मुख्य विषय किसान हैं। वित्त मंत्री ने कहा कि कृषि क्षेत्र के लिए 11 ऐलान किए जाएँगे। वित्त मंत्री ने कहा कि वो आज 11 उपायों की घोषणा करेंगी, जिनमें से 8 बुनियादी ढाँचे को मजबूत करने, क्षमता और बेहतर लॉजिस्टिक के निर्माण से संबंधित हैं, जबकि बाकी 3 शासन और प्रशासनिक सुधारों से संबंधित होंगे।
#WATCH Live from Delhi: FM Nirmala Sitharaman briefs the media #Economicpackage https://t.co/pvVjn1Dcaj
— ANI (@ANI) May 15, 2020
प्रमुख बातें इस प्रकार हैं
- लॉकडाउन अवधि के दौरान न्यूनतम समर्थन मूल्य पर 74,300 करोड़ रुपए से अधिक की खरीद की गई; पीएम किसान निधि में 18700 करोड़ रुपए का हस्तांतरण किया गया।
- लॉकडाउन में 74300 करोड़ के कृषि उत्पादन खरीदे गए।
- किसान बीमा योजना के तहत 6400 करोड़ का क्लेम दिया गया, 560 लाख लीटर दूध खरीदा गया है। 2 महीने में पीएम किसान योजना के तहत किसानों को 18,700 करोड़ रुपए दिए गए।
- लॉकडाउन अवधि के दौरान दूध की माँग 20-25% कम हो गई। 2020-21 में डेयरी सहकारी समितियों को 2% प्रति वर्ष दर से ब्याज उपदान प्रदान करने की नई योजना लाई गई है। इस योजना में 5000 करोड़ रुपए की अतिरिक्त नकदी से 2 करोड़ किसानों को लाभ होगा।
- कृषि की मजबूती और भंडारण की सुविधा के लिए 1 लाख करोड़
- प्रधानमंत्री मत्सय संपदा योजना: 20 हजार करोड़ रूपए के लिए योजना, मछुआरे भाई-बहन को समुद्री और अंतरदेशीय मत्सय पालन में बल मिले।
- 11 हजार करोड़ रूपए मत्सय पालने के लिए मिलेंगी। 9 हजार करोड़ रुपए आधारभूत ढाँचे के लिए इस्तेमाल किए जाएँगे।
- अगले पाँच साल में 70 लाख टन मछली उत्पादन होगा।
- 55 लाख लोगों को रोजगार मिलेगा। नाव और मछुआरों का बीमा होगा।
- भारत में पशुधन को बढ़ाने के उद्देश्य से (भैंस, भेड़, बकरी और सुअर) 100% टीकाकरण के लिए 13,343 करोड़ रूपए के कुल परिव्यय के साथ ‘राष्ट्रीय पशु रोग नियंत्रण कार्यक्रम’ की शुरूआत की गई है।
- 15,000 करोड़ रुपए के प्रावधान के साथ सरकार ने पशुपालन अवसंरचना विकास निधि की घोषणा की।