भारत को ‘यूनियन ऑफ़ स्टेट’ कहने पर असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने राहुल गाँधी को आड़े हाथों लिया है। उन्होंने राहुल गाँधी को JNU वालों से ट्यूशन पढ़ने वाला बताया है। मुख्यमंत्री हिमंता ने मदरसा शब्द ही खत्म करने की वकालत करते हुए कहा कि मदरसे में बच्चों को दाखिला दिलवाना ही मानवाधिकारी का उललंघन है। यह बातें उन्होंने पाञ्चजन्य के दिल्ली स्थित एक सेमिनार में शनिवार (21 मई 2022) को कही हैं।
Identifying India as just a ‘Union of States’ doesn’t only tantamount to challenging our 5000-year-old rich civilisation but it also, in a way, encourages secessionist tendency.
— Himanta Biswa Sarma (@himantabiswa) May 22, 2022
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सीएम सरमा ने मदरसों को मानवता का दुश्मन बताते हुए कहा, “ये मदरसा शब्द ही विलुप्त हो जाना चाहिए। जब तक मदरसा दिमाग में घूमेगा तब तक बच्चा कभी डॉक्टर या इंजीनियर नहीं बन पाएगा। यदि ये बातें बच्चों को सिखाई जाएँ तो बच्चे खुद ही मदरसे में न जाएँ। मदरसे में बच्चों का दाखिला ही मानवाधिकार के उललंघन के लिए करवाया जाता है। आप खूब कुरान पढ़ाइए लेकिन सबसे ज्यादा गणित और विज्ञान पढ़ाएँ। बच्चों को आप घर में मजहबी बातें पढ़ाएँ।”
CM हिमंता ने आगे कहा, “स्कूलों में वही पढ़ाया जाना चाहिए जो छात्रों को डॉक्टर, वैज्ञानिक और प्रोफेसर बनाए। आज जो मुस्लिम कुरान को रट चुके हैं ये सब के सब कभी हिन्दू थे। अगर किसी मुस्लिम बच्चे की पढ़ाई में बहुत अच्छी मेरिट है तो उसका क्रेडिट भी मैं उसके हिन्दू इतिहास को दूँगा।”
इसके अलावा यूनियन ऑफ़ स्टेट शब्द पर राहुल गाँधी की आलोचना करते हुए हिमंता ने कहा, “अगर भारत एक यूनियन ऑफ़ स्टेट है तो हमारी 5 हजार की संस्कृति कहाँ गई? यदि भारत यूनियन ऑफ़ स्टेट है तो इसका मतलब आप भारत की हर विरासत को विवादित बना रहे हैं। भारत हमारी आत्मा है। असम के लोगों ने भारत में ही रहने और पाकिस्तान न जाने के लिए लड़ाई लड़ी थी। राहुल गाँधी लोगों को ऐसे समझा रहे हैं जैसे 2 लोगों के बीच कोई एग्रीमेंट हुआ हो। स्वतंत्रता से पहले देशवासियों ने गाँधी जी को अपना नेता माना था तब क्या कोई लिखित एग्रीमेंट हुआ था जनता और गाँधी जी में “?
CM हिमंता ने आगे कहा, “जब इंडियन नेशनल कॉन्ग्रेस नाम पड़ा और जगह-जगह कॉन्फ्रेन्स करवाई गई थी, तब क्या कोई यूनियन ऑफ़ स्टेट का लिखित एग्रीमेंट किया गया था? पता नहीं राहुल गाँधी का वर्तमान सलाहकार कौन है? यूनियन ऑफ़ स्टेट शब्द देश को तोड़ने वाली बात है। परोक्ष रूप से वो (राहुल गाँधी) देश के अलगाववादी तत्वों को प्रेरित कर रहे हैं। रामायण, महाभारत, चाणक्य, चन्द्रगुप्त, लाचित वोडफुकन, छत्रपति शिवाजी आदि कहाँ गए ? मैं राहुल गाँधी को दोष नहीं दे रहा। शायद JNU का कोई ट्यूशन लगाया गया होगा जिसने ये सब उन्हें सिखा दिया होगा।”
मुख्यमंत्री सरमा के मुताबिक, “अमेरिका और भारत के फेडरलिज्म में फर्क है। भारत पहले ही दिन से सांस्कृतिक रूप से एक देश रहा है। किसी समय में असम का कामरूप राज्य अयोध्या तक फैला था। दक्षिण और असम तक के लोगों का नाम कृष्ण होता है। राम हर कहीं हैं। कोई ऐसे ही आ कर भारत को एग्रीमेंट कर के ‘यूनियन ऑफ़ स्टेट’ बना दे ये नहीं हो सकता। राहुल गाँधी जो बोल रहे हैं वही उनको सिखाया गया है। ये उनकी मजबूरी भी है।”
I always advocate for non-existence of madrassas where religious inculcation is given priority over formal education.
— Himanta Biswa Sarma (@himantabiswa) May 22, 2022
Every child shall be exposed to the knowledge of Science, Mathematics and other branches of modern education. pic.twitter.com/t0GeFyc09W