Saturday, November 2, 2024
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नशे में धुत्त कन्हैया कुमार की गुंडई: कमल निशान देख कर BJP समर्थकों को पीटा, Video से हुआ खुलासा

"हम लोग वोट के ज़रिए ही इसका बहिष्कार करेंगे। कन्हैया कुमार दबंग बनते हुए इस तरह की घटनाओं के ज़रिए जनता पर दबाव बना रहा है कि किसी और को नहीं केवल उसे ही वोट दो।"

बिहार आजकल बेगुसराय के नाम से ज्यादा चर्चा में बना हुआ है। इसी बेगुसराय के टेकनपुरा में वामपंथी उम्मीदवार कन्हैया कुमार और उसके गुंडों द्वारा बीजेपी समर्थकों को पीटने की ख़बर सामने आई है। यह घटना 25 अप्रैल रात 8:30 बजे से 9 बजे की है। दरअसल, 3-4 साथियों का एक ग्रुप खाली जगह पर बैठा हुआ था। कन्हैया कुमार का क़ाफ़िला उधर से गुज़र ही रहा था कि उनकी नज़र 3-4 साथियों में से एक यानी अंकित कुमार पर जा टिकी जिसकी शर्ट की जेब में कमल के फूल का बैच लगा हुआ था। इससे उन्हें पता चल गया कि वो बीजेपी समर्थक है। इतना जानने के बाद कन्हैया कुमार ख़ुद गाड़ी से उतर कर आया और गाली-गलौच के साथ उसके साथ मारपीट करने लगा।

इस मारपीट में कन्हैया कुमार का साथ उसके गुंडों ने भी दिया और अंकित कुमार को ज़ख़्मी कर दिया। बता दें कि अंकित ने अभी तक पुलिस में इस बाबत रिपोर्ट नहीं की है। इसकी सबसे बड़ी वजह यह है कि घटना के दौरान वहाँ मौजूद पुलिस (कन्हैया का गार्ड) भी तमाशा देख रही थी। इसी डर से अंकित ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाने में दिलचस्पी नहीं दिखाई।

टेकनपुरा के लोगों ने इस घटना की कड़ी निंदा की है। उन्होंने पूरे घटनाक्रम को सिलसिलेवार ढंग से बताया और इसका जवाब मतदान के रूप में देने की बात कही। गाँव वालों ने ऑपइंडिया को जो बताया, ऊपर वीडियो में पूरा देख सकते हैं।   

इस मामले पर अंकित कुमार (पीड़ित) ने बताया, “सभी दोस्त एक साथ बैठे हुए थे कि तभी हम लोग की नज़र कन्हैया कुमार के क़ाफ़िले पर पड़ी। जब वो क़फ़िला मेरे नज़दीक आया तो गाड़ी देखने के लिए मैं उसके पास पहुँचा। वहाँ पहुँचने पर उन लोगों की नज़र मेरी पॉकेट पर लगे बीजेपी के बैच पर पड़ी। वो हमसे ठेठ भाषा में बोला ये क्या है। हम कुछ नहीं बोले, लेकिन इतने में ही उसके कार्यकर्ता लोग गाली-गलौच करते हुए गाड़ी से नीचे उतर आए और मेरे साथ मारपीट करने लगे। मेरी जान बचाने के लिए आए मेरे 2-3 दोस्तों को भी लाठी-डंडे से मारा।” अंकित ने बताया कि वहाँ मौजूद पुलिस ने कुछ नहीं किया केवल तमाशबीन बनी रही और गार्ड ने कन्हैया के कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ाया। अंकित ने इस बात की भी जानकारी दी कि कन्हैया के साथियों के पास हथियार भी मौजूद थे।

अंकित कुमार के दोस्त आदर्श कुमार के अनुसार, कन्हैया कुमार और उसके साथियों ने इतनी शराब पी हुई थी कि उनसे बाइक तक नहीं संभल रही थी। बीजेपी का समर्थक होने की वजह से उसके दोस्त पर कन्हैया कुमार समेत उसका पूरा क़ाफ़िला मारपीट के लिए टूट पड़ा। भद्दी गालियाँ देने के अलावा उसे गंभीर रूप से घायल भी कर दिया।

टेकनपुरा क्षेत्र के निवासी राम विनोद ने बताया कि शर्ट की पॉकेट में केवल एक कमल का फूल लगा लेने से भड़के कन्हैया कुमार और उसके गुंडों ने अंकित को काफी बुरी तरह से मारा-पीटा। इस कारण उसकी कमर में चोट भी आई है।

एक अन्य निवासी चंद्रशेखर सिंह ने बताया कि कन्हैया कुमार जो कम्यूनिस्ट उम्मीदवार हैं, उसका रोड शो चल रहा था। एक खाली स्थान पर 2-3 लड़के खड़े थे, उनमें से जिस लड़के (अंकित कुमार) के साथ मारपीट हुई उसकी शर्ट पर फूल का बैच लगा हुआ था। कन्हैया कुमार की गाड़ी जब मुड़ी तो अंकित कुमार उत्सुकतावश उस गाड़ी को देखने पहुँचे, जहाँ उनसे पूछा गया कि तुम्हारी शर्ट पर क्या लगा हुआ है, इसके बाद कन्हैया कुमार गाड़ी से उतरा और उसका कॉलर खींचकर उसको अपशब्द कहे और ख़ुद उसे मारने-पीटने लगे। साथ में कन्हैया कुमार के गुंडे भी अंकित कुमार पर टूट पड़े और पत्थरों से उसको पीटने लगे। उन्होंने बताया कि कन्हैया कुमार और उनके गुंडे अपनी गाड़ी में डंडा, ईंट के टुकड़े, पत्थर आदि सब रखते हैं। चंद्रशेखर सिंह ने स्पष्ट किया कि यहाँ ऐसा माहौल है कि अगर किसी के पास कमल का फूल भी देख लिया गया तो उसे अपना विरोधी मानकर उसके साथ जमकर मारपीट की जाती है।

इस घटना को पूरी तरह से सच बताने वाले कन्हैया प्रसाद ने बताया कि घटना के वक़्त भले ही वो वहाँ मौजूद नहीं थे लेकिन जिस लड़के को बेरहमी के साथ मारा-पीटा गया, उससे मिलने पर पता चला कि उसकी पॉकेट में कमल का फूल लगा हुआ था जिसकी वजह से कन्हैया कुमार और उसके समर्थक काफ़ी भड़क गए। उन्होंने यह भी बताया कि कमल का फूल या बीजेपी समर्थकों के साथ यह मारपीट का यह मामला पहला नहीं है, इससे पहले भी इस तरह की घटना को अंजाम दिया जा चुका है। कोरए गाँव में हुई घटना तो इससे भी अधिक भयावह थी, वहाँ जिसके साथ मारपीट की गई उसके सिर में गंभीर चोट (सिर फट गया) आई थी। इस तरह की घटनाओं का जवाब देने के लिए उन्होंने कहा, “हम लोग वोट के ज़रिए ही इसका बहिष्कार करेंगे।” कन्हैया कुमार को दबंग बताते हुए उन्होंने कहा कि इस तरह की घटनाओं के ज़रिए जनता पर दबाव बनाया जा रहा है कि किसी और को नहीं केवल उसे ही वोट दो।

कन्हैया कुमार की यह दबंगई सिद्ध करती है कि वो देश में किस तरह के लोकतंत्र को लाने के हितैषी हैं। बीजेपी समर्थकों पर खुलेआम हमलावर रुख़ इस बात को स्पष्ट करता है कि वो क्षेत्र में दबाव की राजनीति को हवा दे रहे हैं। अपने राजनीतिक करियर की लंबी उड़ान भरने की ख़्वाहिश में कन्हैया कुमार जानलेवा हरक़तों से भी बाज नहीं आते। अत: यह कहने में कोई गुरेज़ नहीं होनी चाहिए कि देश को ऐसे अराजकत तत्वों की आवश्यकता बिल्कुल नहीं है, जो लोकतंत्र के नाम पर गुंडागर्दी पर उतारू हैं।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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