Sunday, November 17, 2024
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कॉन्ग्रेस आलाकमान ने नहीं स्वीकारा सिद्धू का इस्तीफा- सुल्ताना, परगट और ढींगरा के मंत्री पदों से दिए इस्तीफे से बैकफुट पर पार्टी: रिपोर्ट्स

मीडिया रिपोर्ट में कॉन्ग्रेस के सूत्रों के हवाले से दावा किया जा रहा है कि आलाकमान ने राज्य लीडरशिप को आदेश दिए हैं कि पहले वो विवादों को अपने स्तर पर ही सुलझाएँ। दरअसल आज ही सिद्धू के बाद पंजाब कॉन्ग्रेस में कई इस्तीफे हो चुके हैं।

पंजाब कॉन्ग्रेस के अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू का इस्तीफा पार्टी की टॉप लीडरशिप ने स्वीकार नहीं किया है। मीडिया रिपोर्ट में कॉन्ग्रेस के सूत्रों के हवाले से दावा किया जा रहा है कि आलाकमान ने राज्य लीडरशिप को आदेश दिए हैं कि पहले वो विवादों को अपने स्तर पर ही सुलझाएँ। दरअसल आज ही सिद्धू के बाद पंजाब कॉन्ग्रेस में कई इस्तीफे हो चुके हैं।

खबर है कि मंगलवार (28 सितंबर, 2021) को नवजोत सिंह सिद्धू के साथ एकजुटता दिखाते हुए पंजाब कैबिनेट में दो दिन पहले शामिल हुईं रजिया सुल्ताना, परगट सिंह और योगिंदर ढींगरा ने अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है। इसको लेकर बीजेपी ने कॉन्ग्रेस पर तंज कसा है। बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा ने पंजाब में चल रहे सियासी घमासान को लेकर सिलसिलेवार कई ट्वीट किए हैं। उन्होंने लिखा, ”वो दो आए नहीं.. एक चला गया..छा गए गुरु।” इसके बाद पात्रा ने ‘पंजाब कॉन्ग्रेस का मसला सुलझने के बाद ही गाँधी परिवार शिमला में छुट्टी मनाने गया था’ इस खबर को ट्वीट करते हुए लिखा, ”सुलझाने के बाद? छुट्टी मनाने, कमाल है!”

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, रजिया सुल्ताना ने दो दिन पहले पंजाब के कैबिनेट मंत्री के रूप में पदभार संभाला था। लेकिन उन्होंने सिद्धू के इस्तीफा देने के कुछ घंटे बाद ही अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी को भेजे इस्तीफे में कहा कि वह ‘नवजोत सिंह सिद्धू के साथ एकजुटता दिखाते हुए’ इस्तीफा दे रही हैं। सुल्ताना ने कहा, ”सिद्धू साहब सिद्धांतों के आदमी हैं। वह पंजाब और पंजाबियत के लिए लड़ रहे हैं।”

दरअसल, पंजाब कॉन्ग्रेस में चल रहे घमासान के बीच मंगलवार (28 सितम्बर, 2021) को प्रदेश कॉन्ग्रेस के अध्यक्ष पद से नवजोत सिद्धू ने 72 दिन बाद अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। हालाँकि, उन्होंने पार्टी में बने रहने की बात कही है। सिद्धू ने कॉन्ग्रेस पार्टी की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गाँधी को चिट्ठी के मध्यम से इस्तीफे की जानकारी दी है। लेकिन अभी खबर आ रही है कि पार्टी उनका इस्तीफा फिलहाल स्वीकारने के मूड में नहीं है। इससे घमासान और भी बढ़ने के आसार नजर आ रहे हैं।

गौरतलब है कि सिद्धू ने सोनिया को लिखी चिट्ठी में कहा, ”किसी के चरित्र के पतन की शुरुआत समझौते से होती है। मैं पंजाब के भविष्य और पंजाब की जनता के कल्याण के एजेंडा से कभी समझौता नहीं कर सकता हूँ।” उन्होंने आगे लिखा, ”इसलिए मैं पंजाब प्रदेश कॉन्ग्रेस कमेटी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा देता हूँ। मैं कॉन्ग्रेस की सेवा करता रहूँगा।” बताया जा रहा है कि पंजाब में आज ही नए मंत्रियों के बीच विभागों का बँटवारा हुआ है और इसके चंद घंटे बाद ही सिद्धू ने सोनिया गाँधी को इस्तीफा भेज दिया।

बता दें कि सुल्ताना को सिद्धू की बेहद करीबी माना जाता है। उनके शौहर मोहम्मद मुस्तफा सिद्धू के प्रधान रणनीतिक सलाहकार हैं, जो भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) के अधिकारी रह चुके हैं। सुल्ताना को आज नई कैबिनेट में जल आपूर्ति और स्वच्छता, सामाजिक सुरक्षा, महिला और बाल विकास तथा मुद्रण एवं स्टेशनरी विभागों का प्रभार सौंपा गया था। परगट सिंह शिक्षा और खेल मंत्री थे, जबकि योगिंदर ढींगरा पंजाब कॉन्ग्रेस के महासचिव पद पर थे।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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