भाजपा के सांगानेर से भाजपा विधायक और जयपुर के पूर्व मेयर अशोक लाहोटी ने सोमवार (मई 24, 2021) को जयपुर के पुलिस आयुक्त को पत्र लिखकर सांगानेर, जयपुर में स्थित सभी हिंदू मंदिरों में स्पीकर को जबरन बंद करने का कारण पूछा है, जबकि क्षेत्र में अन्य धार्मिक संस्थानों को इसके उपयोग की अनुमति दी गई है।
लाहोटी ने अपने निर्वाचन क्षेत्र की इस घटना को ट्विटर पर शेयर किया और उनके द्वारा पुलिस विभाग को भेजे गए पत्र को भी साझा किया। उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा, “मुख्यमंत्री अशोक गहलोत लॉकडाउन की आड़ में भांकरोटा, सांगानेर में प्रशासन हिंदू मंदिरों में आरती पूजा के लाउडस्पीकर जबरन बंद करवा रहे हैं, जबकि सामने दूसरे धर्मस्थलों पर दिन में 5 बार बज रहे हैं। यह जनता बर्दाश्त नही करेगी।”
मा मुख्यमंत्री@ AshokGehlot51 जी लोकडॉउन की आड़ में भांकरोटा, सांगानेर में प्रशासन हिंदू मंदिरों में आरती पूजा के लाउडस्पीकर जबरन बंद करवा रहे हैं , जबकि सामने दूसरे धर्म स्थलों पर दिन में 5 बार बज रहे है । यह जनता बर्दास्त नही करेगी ।@DainikBhaskar @PatrikaNews @1stIndiaNews pic.twitter.com/cO0DthxU44
— Ashok Lahoty (@AshokLahotyBJP) May 25, 2021
लाहोटी ने अपने पत्र में सरकार और प्रशासन के हिप्पोक्रेसी को आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा कि अगर लॉकडाउन के चलते यह नियम लागू किया गया है तो सभी धार्मिक संस्थाओं को इसका पालन करना चाहिए।
सांगानेर विधायक ने कहा कि उनके निर्वाचन क्षेत्र भांकरोटा के वार्ड संख्या 65 में कई हिंदू मंदिर हैं, जिन्हें स्थानीय पुलिस द्वारा दैनिक आरती के लिए लाउडस्पीकर का उपयोग नहीं करने का आदेश दिया गया है। हालाँकि वहीं आस-पास के अन्य धर्म से संबंधित स्थल पर दिन में पाँच बार लाउडस्पीकर बजते हैं। धर्म के आधार पर भेदभाव होने के कारण क्षेत्र की जनता में प्रशासन के प्रति रोष व्याप्त है।
उन्होंने पुलिस से क्षेत्र में अन्य धार्मिक संस्थानों में लाउडस्पीकर के उपयोग पर प्रतिबंध लगाने का आग्रह किया। लाहोटी ने जोर देकर कहा कि सरकारी आदेशों का कार्यान्वयन सभी के लिए समान होना चाहिए, और यदि अधिकारी क्षेत्र के सभी लाउडस्पीकरों को बंद नहीं करते हैं, चाहे वे किसी भी धर्म के हों, तो हिंदू मंदिरों में भी इसका उपयोग करना शुरू कर दिया जाएगा।
यूपी में लाउडस्पीकर से अजान बजने पर मंत्री और वाइस चांसलर की शिकायत
गौरतलब है कि पिछले दिनों योगी सरकार के मंत्री आनन्द स्वरूप शुक्ल ने भी लाउडस्पीकर की आवाज पर आपत्ति जताते हुए बलिया जिले के जिलाधिकारी को दो पन्नों की एक चिट्ठी भेजी थी। चिट्ठी में कहा गया था कि मस्जिदों पर लगे लाउडस्पीकर से की जाने वाली तकरीरों से उन्हें योग, पूजा आदि करने में दिक्कत होती है। उन्होंने कहा कि लाउडस्पीकरों की ध्वनि की मात्रा अदालत के आदेशों के अनुसार निर्धारित की जानी चाहिए। इतना ही नहीं, उन्होंने अपनी चिट्ठी में कहा कि विद्यालय के प्रबंधक, छात्र-छात्राओं की तरफ से यह शिकायत की जा रही थी कि उनके गाँव मोहल्लों के बाहर मस्जिदों से दिन भर विभिन्न प्रकार के अनाउंसमेंट किए जाते हैं। इससे अनेक तरह की परेशानियाँ लोगों को हो रही हैं।
इससे पहले मस्जिद से आने वाली अवाज को लेकर यूपी के इलाहाबाद यूनिवर्सिटी की वाइस चांसलर संगीता श्रीवास्तव ने शिकायत की थी कि उनके आवास के समीप स्थित मस्जिद से सुबह के वक्त लाउडस्पीकर पर आने वाली अजान से उनकी नींद खराब होती है। उन्होंने इस पर रोक लगाने की माँग की थी।
जिसके बाद जिले के आईजी ने सख्त एक्शन लिया। उन्होंने रात के 10 बजे से सुबह के 6 बजे तक लाउडस्पीकर बजाने पर रोक लगाए जाने के आदेश दिए। आईजी का कहना था कि पॉल्युशन एक्ट के तहत रात 10 बजे से सुबह के 6 बजे कर लाउडस्पीकर बजाने पर पूरी तरह से बैन है।