उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में उम्मीदवारों की सूची जारी होने से पहले भाजपा से नेताओं का जाने का ताँता लगा हुआ है। ये वो नेता हैं जो चुनावी मौसम के हिसाब से रंग बदलते हैं। चुनाव पूर्व दल बदलने को लेकर उत्तर प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह और भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने इन नेताओं पर तीखा हमला बोला है।
स्वतंत्र देव सिंह ने कहा कि इन लोगों को भाजपा टिकट नहीं देने जा रही थी, इसी लिए ये लोग पार्टी को छोड़ कर समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) में शामिल हो रहे हैं। सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव पर हमला बोलते हुए उन्होंने ट्वीट कर कहा, “जिन्हें डबल इंजन की ट्रेन का टिकट नहीं मिल रहा उन्हें अपने डग्गामार वाहन का ‘ब्लैक’ में टिकट दे रहे हैं टीपू सुल्तान!”
जिन्हें ‘डबल इंजन’ की ट्रेन का टिकट नहीं मिल रहा उन्हें अपने डग्गामार वाहन का ‘ब्लैक’ में टिकट दे रहे है टीपू सुल्तान!
— Swatantra Dev Singh (@swatantrabjp) January 13, 2022
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पिछड़ा वर्ग का सबसे बड़ा हितैषी बताते हुए उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दिल में इस देश के गरीब, दलित, वंचित और पिछड़े बसते हैं। उन्होंने कहा कि विपक्ष ने समाज के जिन वर्गों का केवल शोषण किया, उन्हें प्रधानमंत्री मोदी ने अपना मानकर गले लगाया, सम्मानित किया और सशक्त बनाया।
भाजपा पर पिछड़ा वर्ग की अनदेखी करने का आरोप लगाकर पार्टी छोड़ने वाले नेताओं पर कटाक्ष करते हुए भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष ने कहा, “ओबीसी समाज को सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक प्रतिनिधित्व जितना भाजपा में मिला है उतना किसी सरकार में नहीं मिला. हमारे लिए ‘P’ का अर्थ ‘पिछड़ों का उत्थान’ है. कुछ लोगों के लिए ‘P’ का अर्थ सिर्फ ‘पिता-पुत्र-परिवार’ का उत्थान होता है।”
ओबीसी समाज को सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक प्रतिनिधित्व जितना भाजपा में मिला है उतना किसी सरकार में नहीं मिला।
— Swatantra Dev Singh (@swatantrabjp) January 13, 2022
हमारे लिए ‘P’ का अर्थ ‘पिछड़ों का उत्थान’ है।
कुछ लोगों के लिए ‘P’ का अर्थ सिर्फ ‘पिता-पुत्र-परिवार’ का उत्थान होता है।
वहीं, भाजपा के नेता कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि जिनको टिकट नहीं मिलने की संभावना है, वे जा सकते हैं। UP की राजनीति में ऐसा होता है। जिनको टिकट नहीं मिलने वाले हैं, वे इधर-उधर जाते हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा के पास अधिक विधायक हैं तो हम कुछ विधायकों के टिकट कटेंगे। जिनको इसकी सूचना पहले मिल जाती है, वे दूसरे दलों में जाएँगे ही।
जिनको टिकट नहीं मिलने की संभावना है वे जा सकते हैं। UP की राजनीति में ऐसा होता है। जिनको टिकट नहीं मिलने वाले हैं, वे इधर-उधर जाते हैं। हमारे पास ज़्यादा विधायक है तो हम कुछ विधायकों के टिकट काटेंगे उनको पहले सूचना मिल जाती है तो वे दूसरे दलों में जाएंगे ही: कैलाश विजयवर्गीय, BJP pic.twitter.com/sYwPYqcWV4
— ANI_HindiNews (@AHindinews) January 13, 2022
गौरतलब कि पिछले कुछ दिनों में प्रदेश के कई नेता भाजपा से इस्तीफा दे दिए। इनमें से कई नेता समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए हैं। इस्तीफा देने वालों में स्वामी प्रसाद मौर्य, दारा सिंह चौहान, धर्मपाल सिंह सैनी, शिकोहाबाद से भाजपा विधायक मुकेश वर्मा, शाहजहाँपुर के तिलहर से विधायक रोशनलाल वर्मा, बिल्हौर से विधायक भगवती प्रसाद सागर, तिंदवारी से विधायक ब्रजेश प्रजापति, सीतापुर सदर के विधायक राकेश वर्मा, नानपारा से विधायक माधुरी वर्मा, विनय शाक्य, सीताराम वर्मा शामिल हैं। खबर आ रही है कि बाला प्रसाद अवस्थी, दिग्विजय नारायण चौबे, राम फेरन पांडे ने भी इस्तीफा दे दिया है।
बता दें कि स्वतंत्र देव सिंह उत्तर प्रदेश भाजपा कोर ग्रुप और केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक के लिए पिछले 3 दिनों से दिल्ली में हैं। बताया जा रहा है कि केंद्रीय चुनाव समिति की लगभग तीन घंटे की बैठक के बाद पहले चरण में होने के चुनावों के लिए 170 उम्मीदवारों के नामों पर सहमति बन गई है और उनके नामों की सूची जल्दी ही जारी की जा सकती है।