दुनिया के सबसे बड़े मजहबी यात्रा यानी हज यात्रा पर सऊदी अरब पहुँचे 577 जायरीनों की अब तक मौत हो चुकी है। इस साल मरने वालों की संख्या सबसे बड़ी है। सबसे ज्यादा मौतें मिस्र से पहुँचे जायरीनों की हुई, जिनकी संख्या 323 तक पहुँच गई है। यही नहीं, अब तक कई जायरीनों के लापता होने की भी खबरें आ रही हैं, जिन्हें ढूँढने के लिए विदेशी सरकारें सऊदी प्रशासन के साथ मिलकर काम कर रही हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, हज के लिए मक्का पहुँचे 550 से अधिक तीर्थयात्रियों की मौत की खबर सामने आ रही है। मरने वालों में कम से कम 323 मिस्र के थे। इनमें से अधिकांश की मौत गर्मी से होने वाली बीमारियों के कारण हुई है। सऊदी अरब के दो राजनयिकों ने न्यूज एजेंसी एएफपी को इसकी जानकारी दी है। इनमें से एक ने कहा कि मिस्र के जितने भी तीर्थयात्रियों की मौत हुई है, उनमें से अधिकांश ने भीषण गर्मी के कारण दम तोड़ा। हालाँकि, एक की मौत भगदड़ के दौरान घायल होने के कारण हुई है। राजनयिकों ने कहा कि मरने वालों में कम से कम 60 जॉर्डन के नागरिक भी शामिल हैं। इसके साथ ही मरने वालों की कुल संख्या 577 हो गई है। बता दें, पिछले साल मक्का में 240 लोगों की मौत हुई थी।
सऊदी रायनयिक ने बताया कि मिस्र के अलावा अन्य देशों के मरने वाले लोगों की मौत का कारण गर्मी है, जबकि कुछ अन्य लोग भगदड़ के कारण मरे हैं। उन्होंने बताया कि मक्का के सबसे बड़े शवगृह में से एक अल-मुआइसिम शवगृह पूरी तरह भर गया है। यहाँ 550 शव रखे हैं। मिस्र के विदेश मंत्रालय ने कहा कि हज के दौरान कुछ मिस्रवासी लापता हो गए हैं, जिनकी खोज के लिए काहिरा सऊदी अधिकारियों के साथ सहयोग कर रहा है।
सऊदी अरब में इस साल पहुँचे 1.8 मिलियन लोग, हर तरफ बदइंतजामी
इस साल, हज यात्रा पर 1.8 मिलियन लोग यानी 18 लाख लोग पहुँचे हैं। इसमें से 16 लाख लोग विदेशी हैं। इस बीच, सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है, जो सऊदी अरब का बताया जा रहा है। इस वीडियो को शेयर किया है पत्रकार मोहम्मद ताहा ने। इस वीडियो को बनाने वाला व्यक्ति सड़क पर पड़े हुए शवों को दिखाता है और दावा करता है कि घंटों तक कोई एंबुलेंस नहीं आई। इस वीडियो में कई शव सड़कों के किनारे डिवाइडर और फुटपाथ पर रखे देखे जा सकते हैं। यही नहीं, व्यक्ति वीडियो बनाते समय कई शवों को पास से भी दिखाता है और बताता है कि बस, ट्रेन, टैक्सी जैसी कोई भी सुविधा नहीं है और लोग मर रहे हैं, लेकिन सरकार को इससे कोई फर्क नहीं पड़ रहा।
मोहम्मद ताहा ने वीडियो को पोस्ट करते हुए एक्स पर लिखा, “इस वीडियो में कई हज यात्रियों के कई शव देखे जा सकते हैं। क्या सऊदी शासन को जवाब देह ठहराया जाएगा? वे इस इस्लामी पर्यटन को बढ़ावा देते हैं और इससे अरबों कमाते हैं। लेकिन अभी तक, मैंने इस पर मीडिया में ज़्यादा कवरेज नहीं देखी है!”
#BREAKING ⚠️ GRAPHIC IMAGES. Several dead bodies of #Hajj pilgrims can be seen in this video now viral on social. Will the #Saudi regime be held accountable? They promote this Islamist tourism & make billions from it. But as of yet, I haven't seen much media coverage of this! pic.twitter.com/wfOO9OFGKv
— Taha Siddiqui (@TahaSSiddiqui) June 17, 2024
मिस्र की 61 वर्षीय तीर्थयात्री अजा हामिद ब्राहिम ने समचार एजेंसी एएफपी को बताया कि उन्होंने सड़क के किनारे पड़ी हुई लाशें देखीं। ऐसा लग रहा था कि जैसे कयामत का दिन आ गया है। बड़ी संख्या में मौतों और उसके बाद शवों को लेकर हो रही बदइंतजामी को लेकर सोशल मीडिया पर लोग सऊदी अरब की आलोचना कर रहे हैं।
काबा में 51 डिग्री सेल्सियस तपामान
सऊदी मौसम सेवा के अनुसार, सोमवार (17 जून 2024) को मक्का की ग्रैंड मस्जिद में तापमान 51.8 डिग्री सेल्सियस पहुँच गया। इस जगह पर तीर्थयात्री काबा की परिक्रमा करते हैं। ग्रैंड मस्जिद के पास स्थित मीना में तापमान 46 डिग्री सेल्सियस था। इस जगह पर हज यात्रियों ने तीन कंक्रीट की दीवारों पर शैतान को पत्थर मारने की रस्म अदा की। यहाँ गर्मी और भीड़ ने स्थिति को विकट बना दिया था।