भारत विरोधी प्रोपेगेंडा चलाने वाला पाकिस्तानी-ब्रिटिश नेता नजीर अहमद बच्चों का यौन शोषण करने के मामले में दोषी पाया गया है। रिपोर्ट्स के अनुसार, अहमद ने 1970 में अपनी युवावस्था में छोटे बच्चों के साथ यौन शोषण और बलात्कार का प्रयास किया था। इसी मामले में सुनवाई करते हुए कोर्ट ने ‘लॉर्ड’ नजीर अहमद को अप्राकृतिक मैथुन और रेप के प्रयास का दोषी पाया।
अब उसकी सजा का ऐलान 4 फरवरी 2022 को किया जाएगा। बताया जा रहा है कि इस मामले में नजीर के साथ उसके दो भाई मोहम्मद फारूक और मोहम्मद तारिक भी दोषी करार दिए गए हैं। हालाँकि उम्र ज्यादा होने के कारण दोनों को ट्रायल में शामिल होने के लिए अनफिट पाया गया।
मालूम हो कि ये नजीर अहमद का जन्म POK में हुआ था और बचपन में ये परिवार समेत ब्रिटेन चले गए थे। ब्रिटिश प्रधानमंत्री टोनी ब्लेयर से नजदीकियों के चलते साल 1998 में पहली बार इन्हें ब्रिटेन में हाउस ऑफ लॉर्ड्स में शामिल किया गया। बाद में, लगातार विवादों में रहने के कारण इन्हें लेबर पार्टी से निष्कासित कर दिया गया।
नजीर अहमद के कुकर्मों का चिट्ठा
यहाँ बता दें कि नजीर अहमद को उनके भारत विरोधी बयानों के कारण कई बार मीडिया में जगह मिली है। लेकिन पिछले कुछ समय से वो यौन शोषण और रेप के मामलों में ही खबरों में आए। कुछ दिन पहले एक महिला ने भी नजीर अहमद पर रेप के प्रयास के आरोप लगाए थे। महिला ने कोर्ट को बताया था कि नजीर अहमद ने साल 1973 और 1974 में रेप का प्रयास किया था। लड़की की उम्र तब सिर्फ 16 या 17 थी।
‘हाउस ऑफ लॉर्ड्स’ में जगह मिलने का अहमद ने उठाया फायदा
इसके अलावा नजीर अहमद ने ब्रिटेन में हाउस ऑफ लॉर्ड के सदस्य के पद पर रहते हुए मार्च 2, 2017 को ताहिरा नाम की महिला का यौन उत्पीड़न किया था। अहमद ने महिला से झूठ बोला था कि वह एक हकीम (FAITH HEALER) के ख़िलाफ़ मेट्रोपॉलिटियन पुलिस में शिकायत दर्ज करवाने में उसकी मदद करेगा। इस मामले में ब्रिटिश संसद के उच्च सदन की आचार संबंधी समिति द्वारा मामले की जाँच के बाद अहमद पर लगे आरोपों को सही पाया गया। जिसके कारण उसने साल 2020 में 14 नवंबर को अपने पद से इस्तीफा दे दिया था।
कार क्रैश से लेकर भारत विरोधी प्रोपगेंडा फैलाने तक
इन मामलों के अतिरिक्ट अहमद का ट्रैक हमेशा से दागी रहा। केवल भारत के संदर्भ में ही नहीं आपराधिक तौर पर भी। उसने यौन शोषण और रेप के प्रयास मामलों में अपनी जितनी थू-थू करवाई है उसके साथ उसे साल 2007 में कार क्रैश के कारण जेल की सजा भी हो चुकी हैं। वो साल 2018 में सिख अलगाववादियों के लिए यूके में प्रदर्शन भी कर चुका है। 26 जनवरी 2018 को ब्रिटेन के उच्चायोग में आयोजित एक कार्यक्रम के बीच खालिस्तानी आजादी और आरएसएस आतंकवादी के नारे कुछ पाकिस्तानियों द्वारा लगाए गए थे।
Punjab referendum underway in Westminster London now , historic vote on Khalistan pic.twitter.com/VzP85v8Tnh
— Lord Nazir Ahmed (@nazir_lord) October 31, 2021
साल 2018 में गणतंत्र दिवस पर खबर आई थी कि ब्रिटेन में भारतीय उच्चायोग के बाहर ब्लैक डे मनाते हुए जो प्रदर्शन हुए वहाँ भारतीय झंडे को फाड़ने जैसे कृत्य अंजाम दिए गए। खबरों के अनुसार, इस पूरे प्रदर्शन को आयोजित पाकिस्तान में जन्मे ब्रिटेन के हाउस ऑफ लॉर्ड्स में शामिल हुए पहले मुस्लिम नेता नजीर अहमद ने किया था। उस दिन उसने 5 बिलबोर्ड वैन लगवाई हुई थीं। जिसमें फ्री कश्मीर, फ्री खालिस्तान, फ्री असम, फ्री नागालैंड और फ्री मणिपुर लिखा हुआ था। इन वैनों के जरिए वो पूरे लंदन में भारत विरोधी प्रोपेगेंडा का विस्तार कर रहा था। नजीर पर अक्सर पर कश्मीर पर जहरीली बयानबाजी के आरोप लगते हैं। उसने एक बार पीएम मोदी की मौत की दुआ भी थी। साल 2019 में उसने ट्वीट करके लिखा था, “विपक्ष के बीजेपी पर जादू, टोना, तंत्र-मंत्र वाली बातों के बीच, अरुण जेटली मध्य प्रदेश के पूर्व सीएम गौर, सुषमा स्वाराज, अटल वाजपेयी, गोवा के सीएम मनोहर पर्रिकर सभी का साल भर के अंदर निधन हो गया। अब नरेंद्र मोदी की बारी है।”