भारत ने जब ब्रिटिश सांसद डेबी अब्राहम्स को वीजा नहीं दिया था तो लिबरलों ने जम कर हंगामा मचाया था। अब डेबी अब्राहम्स के पाकिस्तान से लिंक सामने आए हैं। उन्हें भारत-विरोधी गतिविधियों में संलिप्त होने के कारण वीजा नहीं दिया गया था। अब जब पाकिस्तान से उनका खुल कर जुड़ाव सामने आ गया है, लिबरल चुप हैं। उनके संसदीय समूह को पाकिस्तान ने 30 लाख रुपए (33,000 पाउंड्स) दिए हैं।
डेबी अब्राहम्स को जब रोका गया था तो प्रोपेगेंडाबाज पत्रकार राणा अयूब ने कहा था कि जम्मू कश्मीर पर मंथन करने वाले संससदीय समूह की अध्यक्ष डेबी अब्राहम्स को अधिकारियों ने रोक दिया और उन्हें इंदिरा गाँधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट से बाहर एंट्री नहीं दी गई। साथ ही उन्होंने मोदी सरकार को तुच्छ और बदले की भावना वाली सरकार करार दिया था। कई अन्य लिबरलों ने भी उनके लिए आँसू बहाए थे।
पत्रकार शेखर गुप्ता ने कहा था कि अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को निरस्त किए जाने की आलोचना करने वाली ब्रिटिश सांसद को भारत में एंट्री नहीं दी गई और कहा गया कि वो कैंसल्ड वीजा पर यहाँ आई हैं। आकार पटेल ने तो इसके लिए भारत को ‘बनाना रिपब्लिक’ और हिन्दू राष्ट्र तक बताया था। साथ ही उन्होंने दावा किया था कि पीएम मोदी इसकी आँच को महसूस कर रहे हैं और ये अच्छा है।
इस संसदीय समूह का दावा है कि वो कश्मीर के लिए न्याय की जुगाड़ में लगा है और साथ ही वो कश्मीरियों के अधिकारों की रक्षा की दिशा में प्रयास करने का भी दावा करता है। पाकिस्तान ने न सिर्फ इस समूह को पूरे POK में घुमाया बल्कि 30 लाख पाकिस्तानी रुपए भी दिए। इस संसदीय समूह में पाकिस्तानी मूल के सांसद तो हैं ही, अधिकतर ऐसे हैं, जो पाकिस्तान से सहानुभूति रखते हैं। साथ ही ये समूह अपने एजेंडे के लिए ब्रिटिश संसद के समर्थन के लिए भी प्रयास करता है।
Remember how Indian Liberals cried when govt denied VISA to British MP Debbie Abrahams for Anti-India activities?
— Ankur Singh (@iAnkurSingh) July 18, 2020
Her parliamentary group got 30 Lakh from Pakistan. The group had spoken against India after visiting PoK. pic.twitter.com/gqJympfDGM
डेबी अब्राहम्स जब भारत आई थीं तो उन्हें दुबई डिपोर्ट कर दिया गया था। फिर वो पाकिस्तान गईं और POK में उन्होंने कहा कि वो कश्मीरियों को उनका अधिकार दिलाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। साथ ही उन्होंने करतारपुर साहिब को जल्द से जल्द खोले जाने की भी आशा जताई थी। बता दें कि पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिदनेर सिंह पहले ही कह चुके हैं कि करतारपुर साहिब यात्रा आईएसआई की एक साजिश हो सकती है।
बता दें कि उन्हें वापस भेजे जाने के फैसले को लेकर कॉन्ग्रेस के दो नेताओं में दो फाड़ देखने को मिला था। एक ओर जहाँ कॉन्ग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर ने महिला सांसद के साथ हो रहे ‘इस तरह के बर्ताव’ पर सवाल उठाए थे तो वहीं पार्टी के दिग्गज नेता अभिषेक मनु सिंघवी ने सरकार के इस फैसले का समर्थन करते हुए डेबी अब्राहम्स को पाकिस्तान का प्रॉक्सी (पक्षधर) बताया था। अब ये बात दुनिया के सामने खुल कर आ गई है।