Sunday, December 22, 2024
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दिल्ली के सीलमपुर में काँवड़ यात्रा पर फेंका गया मांस का टुकड़ा, हिन्दुओं ने किया विरोध प्रदर्शन: वीडियो वायरल

7 दिन की मेहनत के बाद दिल्ली पहुँचे काँवड़ के मांस के टुकड़े से खंडित होने के बाद काँवड़ियों ने वहीं सड़क जाम कर केजरीवाल प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी और योगी-मोदी के व्यवस्था की तारीफ करनी शुरू कर दी।

दिल्ली के सीलमपुर में काँवर खंडित होने का मामला सामने आया है। जहाँ काँवर यात्रा पर मांस टुकड़ा फेंक दिया गया है। जिसके बाद काँवड़ियों ने करीब एक घंटे तक सड़क जाम कर आरोपितों पर कार्रवाई की माँग करते रहे। घटना आज मंगलवार (19 जुलाई, 2022) शाम करीब 4 बजे की है। घटना के कई वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गए हैं। वहीं पुलिस ने समझा-बुझाकर मामला शांत कराया।

दरअसल, 13 जुलाई, 2022 को हरिद्वार से गंगा जल लेकर राजस्थान के अलवर स्थित स्थानीय शिव मंदिर निकले काँवड़ियों के दल को उस समय परेशानी का सामना करना पड़ा जब दिल्ली के सीलमपुर इलाके से गुजरते हुए पुल के नीचे काँवड़ पर किसी ने मांस का टुकड़ा फेंक दिया। लगभग 7 की पैदल यात्रा कर दिल्ली पहुँचे इन काँवड़ियो की बाकी राज्यों की तरह फूलों से स्वागत की बात कौन कहे बल्कि बिना खंडित हुए इनका काँवड़ निकल जाए यही चिंता की बात है। जबकि इन्हें अभी भी अगले 6 दिनों की पैदल यात्रा कर 25 जुलाई की शाम तक राजस्थान के अलवर पहुँचना है।

इस मामले में ऑपइंडिया ने उस काँवड़ यात्रा समूह के एक काँवड़िया से बात की। जिसने पूरे मामले में बात करते हुए बताया कि जैसे ही हम सीलमपुर इलाके से काँवड़ लेकर गुजर रहे थे तभी एक साथी काँवड़िए ने जब काँवड़ को एक कंधे से दूसरे कंधे पर बदला तो उसके काँवड़ के साज-सज्जा में अटका मांस का टुकड़ा सड़क पर गिर पड़ा। हालाँकि, किसने और कब फेंका यह वह दावे से नहीं कह सकते लेकिन मुस्लिम बहुल सीलमपुर से पहले सब ठीक था और लोग जगह-जगह स्वागत-सत्कार भी कर रहे थे। लेकिन दिल्ली में मामला कुछ और ही नजर आया।

बता दें कि 7 दिन की मेहनत के बाद दिल्ली पहुँचे काँवड़ के मांस के टुकड़े से खंडित होने के बाद काँवड़ियों ने वहीं सड़क जाम कर केजरीवाल प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी और योगी-मोदी के व्यवस्था की तारीफ करनी शुरू कर दी। करीब एक घंटे चले हंगामे के बाद, मौके पर पहुँची दिल्ली पुलिस ने उक्त काँवड़िया को हरिद्वार ले जाकर वापस जल भरवाने और सुरक्षित लाकर सीलमपुर में उसी स्थान पर छोड़ने के आश्वासन के बाद बाकी काँवड़िए राजस्थान को निकल गए। लेकिन सवाल तो है ही कि एक भी त्योहार बिना किसी उपद्रव के मुस्लिम बहुल इलाकों में शांति ने नहीं गुजर रहा है अब वो चाहे विसर्जन यात्रा हो, कोई शोभायात्रा या फिर काँवड़यात्रा।

गौरतलब है कि सावन का महीना लगने से पहले ही यानि 14 जुलाई से ही काँवड़ यात्रा को ध्यान में रखते हुए दिल्ली पुलिस ने सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए हैं। यह यात्रा 12 अगस्त तक चलेगी। इतना ही नहीं पुलिस ने काँवड़ियों से तय रास्ते का इस्तेमाल करने की भी अपील की है। पुलिस ने वाहन चालकों और सड़क पर चलने वालों को भी यातायात नियमों का पालन करने को कहा है। फिर भी मांस फेंक देने की ऐसी घटनाएँ मुस्लिम बहुल इलाकों में पुलिस की तैयारियों को और चाक-चौबंद करने की माँग करती हैं।

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रवि अग्रहरि
रवि अग्रहरि
अपने बारे में का बताएँ गुरु, बस बनारसी हूँ, इसी में महादेव की कृपा है! बाकी राजनीति, कला, इतिहास, संस्कृति, फ़िल्म, मनोविज्ञान से लेकर ज्ञान-विज्ञान की किसी भी नामचीन परम्परा का विशेषज्ञ नहीं हूँ!

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