पतंजलि योगपीठ ने हिंदी खबर न्यूज चैनल के संपादक एवं एंकर अतुल अग्रवाल के खिलाफ ब्लैकमेल करने और धार्मिक भावनाओं को भड़काने का आरोप लगाते हुए बहादराबाद थाने में मामला दर्ज कराया है। स्वामी रामदेव और आचार्य बालकृष्ण के स्वामित्व वाली पतंजलि योगपीठ ने शिकायत में चैनल के संपादक अतुल अग्रवाल पर पैसे माँगने और नहीं देने पर परिणाम भुगतने की धमकी देने का आरोप लगाया है। कोर्ट के आदेश पर बहादराबाद थाने में मामला दर्ज किया गया है।
पतंजलि योगपीठ के विधि अधिकारी राजू वर्मा ने न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम की अदालत में बताया कि संपादक अग्रवाल कई सालों से अपनी टीवी पर पतंजलि से जुड़े उत्पादों का विज्ञापन प्रसारित करते आ रहे थे। लेकिन, पिछले कुछ समय से पतंजलि ने न्यूज चैनल को विज्ञापन देना बंद कर दिया था। इस पर अतुल अग्रवाल नाराज हो गए और कई बार कंपनी के दफ्तर में आकर विज्ञापन को दोबारा जारी करने के लिए कहा। यही नहीं, विज्ञापन देने के लिए वह पतंजलि के कर्मचारियों को फोन भी करते थे और उन्हें भी धमकाते थे।
नोएडा में फ़र्ज़ी लूट की खबर बताने वाले वरिष्ठ पत्रकार के ख़िलाफ़ हरिद्वार के बहादराबाद में पतंजलि से अवैध वसूली और धार्मिक भावनाओं को भड़काने का मामला दर्ज किया गया है। https://t.co/6A798M2CFv pic.twitter.com/qAxNXtGN8h
— Jitender Sharma (@capt_ivane) June 27, 2021
शिकायत पत्र में कहा गया है कि अतुल अग्रवाल ने कहा कि अगर पतंजलि ने विज्ञापन जारी नहीं किया तो इसके भयानक परिणाम भुगतने होंगे। इसके बाद अतुल अग्रवाल पतंजलि योगपीठ, बाबा रामदेव और आचार्य बालकृष्ण के खिलाफ गलत और भ्रामक खबरें चलाने लगे। इन खबरों के माध्यम से चैनल के संपादक ने उनकी मानहानि की और योग व हिंदू धर्म संस्कृति पर सवाल उठाते हुए धार्मिक भावनाओं को आहत किया। इस मामले में कोर्ट ने पुलिस को चैनल के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के आदेश दिया। एसपी सिटी कमलेश उपाध्याय ने बताया कि कोर्ट के आदेश पर अतुल अग्रवाल निवासी देहरादून के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जाँच शुरू कर दी गई है।
गौरतलब है कि नोएडा पुलिस ने शुक्रवार (25 जून 2021) को हिंदी खबर के संपादक अतुल अग्रवाल द्वारा बताई गई उनके साथ लूट की कहानी को ‘पारिवारिक कारणों’ से गढ़ी गई लूट की कहानी बताया था। अग्रवाल ने दावा किया था कि 19-20 मई की रात उत्तर प्रदेश के नोएडा एक्सटेंशन में उनके साथ मारपीट और लूटपाट की गई थी।
अतुल अग्रवाल ने आरोप लगाया था कि बंदूक की नोंक पर मारपीट और लूटपाट की गई। इसके बाद नोएडा पुलिस ने मामले की जाँच शुरू की। जाँच में पुलिस ने पाया कि अतुल अग्रवाल की कहानी मनगढ़ंत थी और जैसा उन्होंने आरोप लगाया था वैसा कुछ नहीं हुआ था। पुलिस ने पाया कि अग्रवाल 19 मई की शाम लगभग 7 बजे अपनी एक महिला मित्र के घर खाने के लिए गए थे। इसकी पुष्टि इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्यों से भी हुई थी। महिला मित्र ने पुलिस को बताया कि जब अग्रवाल उनके यहाँ थे तो उनकी पत्नी का फोन आया था और उन्होंने उनसे तुरंत घर पहुँचने को कहा था। अग्रवाल रात 10:40 बजे घर वापस जाने के लिए जल्दबाजी में निकले।
इसके बाद रात के 1:20 बजे अग्रवाल ने अपनी महिला मित्र को फोन किया और बताया कि वह सड़कों पर घूम रहे हैं और रात बिताने के लिए ओयो रूम की तलाश कर रहे हैं। महिला ने पुलिस को बताया कि अग्रवाल ने उन्हें किसी भी प्रकार की लूट की सूचना नहीं दी थी। बाद में इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्यों से यह भी साबित हुआ कि अग्रवाल ने अपने बैंक खाते के माध्यम से ओयो रूम के लिए भुगतान किया था। होटल के सीसीटीवी कैमरों से भी उनके होटल में होने की पुष्टि हुई थी।