माफिया मुख्तार अंसारी को 19 साल पुराने एक केस में 7 साल की जेल हुई है। बहुजन समाज पार्टी से विधायक रह चुके अंसारी पर आरोप था कि उसने साल 2003 में एक जेलर से गाली-गलौच की, उनके ऊपर पिस्तौल तानी और उन्हें जान से मारने की धमकी दी। कथिततौर पर उसने जेलर एसके अवस्थी को कहा था- ‘आज जेल से बाहर निकलो, तुमको मरवा दूँगा’
मालूम हो कि इस पूरे मामले में पहले निचली अदालत ने अंसारी को बरी कर दिया था। हालाँकि बाद में राज्य सरकार की अपील को मंजूर करते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट में दिनेश कुमार सिंह की एकल पीठ ने मामले को सुना और इस पुराने केस पर अपना फैसला सुनाया। कोर्ट ने अंसारी को आईपीसी की धारा 253, 504, 506 के तहत दोषी पाया।
कोर्ट ने मुख्तार को पाया दोषी, 7 साल की सजा
कोर्ट ने मुख्तार अंसारी को धारा 353 के तहत दोषी करार देते हुए 2 साल की सजा दी, 10 हजार रुपए का जुर्माना लगाया। धारा 504 के तहत उसे दो साल की सजा दी गई, 2000 रुपए जुर्माना लगाया गया। इसके साथ आईपीसी की धारा 506 के तहत अंसारी को 7 साल की सजा व 25000 का फाइन लगाया गया। रिपोर्ट्स के मुताबिक, ये सारी धाराओं में मिली सजाएँ अंसारी पर एक साथ चलेंगी।
19 साल पहले जेलर को दी धमकी
साल 2003 में लखनऊ की डिस्ट्रिक्ट जेल में बंद मुख्तार अंसारी से कुछ लोग मिलने आए थे, उस समय एस के अवस्थी वहीं तैनात थे। अपनी ड्यूटी निभाते हुए अवस्थी ने सबकी तलाशी करवाई और उन्हें अंसारी से मिलने को मना कर दिया। अंसारी इस बात पर भड़का। उसने अपने सहयोगी की बंदूक को निकाला। जेलर को गाली दी, उनपर रिवॉल्वर तानी और धमकाते हुए कहा- “आज तुम जेल से बाहर निकलो तुम्हें मरवा दूँगा।”
जेल ने बाद में इस संबंध में एफआईआर दर्ज करवाई। आगे इस मामले में विभिन्न धाराओं के तहत एफआईआर हुई। इसके बाद इस मामले को निचली अदालत में सुना गया। जहाँ कोर्ट ने अंसारी को बरी कर दिया। लेकिन राज्य सरकार की अपील पर यह मामला दोबारा खुला। हाईकोर्ट को बताया गया कि कैसे अंसारी राज्य में बाहुबलियों में शामिल नाम है। उसके नाम से सामान्य जन तो क्या सरकारी अधिकारी भी काँपते थे।
इसी पूरे केस पर हाई कोर्ट ने फिर से मामले को सुना और पाया कि जेलर ने पहले अपने पहले बयान (2003) में मुख्तार पर यही आरोप लगाए थे। लेकिन बाद में वह मुकर गए क्योंकि उनका अगला बयान दर्ज ही 10 साल बाद (2014) हुआ। इस अंतराल में वह रिटायर भी हो चुके थे और उन्हें अंसारी के आपराधिक इतिहास का भी अच्छे से मालूम चल चुका था, जिसके कारण उन्हें अपनी व अपने परिवार की सुरक्षा की चिंता होना लाजिमी था।
मुख्तार अंसारी पर केस और एक्शन
मुख्तार अंसारी के खिलाफ 55 से ज्यादा मामले दर्ज हैं। इनमें से 40 तो गाजीपुर के एक ही थाने में दर्ज हैं। उसके ऊपर दंगा भड़काने, हत्या, डकैती, अपहरण जैसे संगीन मामले दर्ज हैं। अधिकांश मामलों में ट्रायल चल रहा है। योगी सरकार लगातार उसके विरुद्ध कार्रवाई कर रही है। अब तक उसकी 527 करोड़ से ज्यादा की संपत्ति पर शिकंजा कसा है। उसके करीबियों की 246 करोड़ रुपए से ज्यादा की संपत्ति जब्त हो चुकी है।