भारतीय विदेश मंत्री द्वारा चीन को कड़ा संदेश देते हुए कहा गया कि गलवान घाटी में जो हुआ वह चीन द्वारा पूर्व नियोजित कार्रवाई थी, जो इसके बाद की अन्य घटनाओं के लिए जिम्मेदार था।
"मैं आज इस बात को बहुत विश्वास के साथ कह सकता हूँ कि अगर आप किसी भारतीय दूतावास में जाते हैं, तो वहाँ आपका स्वागत ऐसा होगा जिससे कि आप प्रभावित हुए बिना नहीं रह सकेंगे। ऐसा इसलिए क्योंकि हम अपने द्विपक्षीय संबंधों को एक नए मुकाम पर ले जाना चाहते हैं जो पहले नहीं था।"
भारत की पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के अमूल्य योगदान के लिए विदेश मंत्रालय ने 14 फरवरी को उनकी जयंती की पूर्व संध्या पर इसकी घोषणा की है। इससे पहले स्वराज को गणतंत्र दिवस के मौके पर पद्म विभूषण सम्मान से नवाजा गया था।
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने फर्जी इतिहासकार रामचंद्र गुहा के इस आरोप का करारा जवाब दिया। उन्होंने कहा कि कुछ विदेश मंत्री ढेर सारी किताबें पढ़ते हैं और प्रोफेसरों के लिए भी ये अच्छी आदत हो सकती है। उन्होंने गुहा को सलाह दी कि वो नारायणी बसु द्वारा लिखित वीपी मेनन की जीवनी पढ़ें।
"ब्रिटिश राज के शुरुआत में भारत की अर्थव्यवस्था सम्पूर्ण वैश्विक इकॉनमी का 23% थी। जब आज़ादी मिली तो यह मात्र 4% रह गई थी। ब्रिटेन का औद्योगीकरण भारत के डी-इंडस्ट्रियलाइजेशन पर आधारित था। ब्रिटिश भारत से कच्चा माल ले जाते और अपने देश में कपड़े बना पूरी दुनिया में माल कमाते थे।"
विदेश मंत्री ने बताया कि पिछले 70 सालों से राज्य में स्थिति बिगाड़ने का काम चल रहा है। जयशंकर ने कहा कि भारत विरोधी ताक़तों द्वारा जम्मू कश्मीर के स्थानीय लोगों को स्वार्थ के लिए इस्तेमाल किया जाता रहा है।