कोरोना वायरस संकट के बीच शुक्रवार (मार्च 27, 2020) को सोशल मीडिया पर खबर उड़ी कि विप्रो के संस्थापक अजीम प्रेमजी ने बड़ी रकम चैरिटी के लिए दी है। दावा किया गया कि उन्होंने कोरोना महामारी के लिए 50 हजार करोड़ रुपए चैरिटी में दिए हैं। इसी बीच कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में भी ऐसी ही बात कही गई। सोशल मीडिया पर भी इसको लेकर काफी खबरें फैलीं। सोशल मीडिया पर अजीम प्रेमजी की तारीफ की गई। इसके अलावा अजीम प्रेमजी के दान को लेकर लोग कुछ लोग धर्म के नाम पर राजनीति करने से भी बाज नहीं आए। अशोक स्वैन ने लिखा कि अभी तक ‘हिंदू’ अरबपति अंबानी और अडाणी ने दान क्यों नहीं दिया। इसके लिए इससे बेहतर समय और क्या हो सकता है?
सच क्या है?
अजीम प्रेमजी ने 50 हजार करोड़ रुपए का दान किया है लेकिन क्या यह कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई के लिए दिया गया? उनकी कंपनी से जब इस वायरल दावे के बारे में पूछा गया तो जवाब ‘नहीं’ में था। CNBC-TV18 से बातचीत में विप्रो ने कहा, “यह ऐलान मार्च 2019 में हुआ था। आज ऐसी कोई घोषणा नहीं की गई है।” करीब एक साल पहले मार्च 2019 में जब अजीम विप्रो के चेयरमैन थे, तो उन्होंने अजीम प्रेमजी फाउंडेशन के लिए 52750 करोड़ रुपए दान किया था। उन्होंने विप्रो में अपनी हिस्सेदारी का 34 पर्सेंट दान करने का फैसला किया था। CNBC-TV18 पर यह खबर 14 मार्च 2019 को प्रकाशित हुई थी। प्रेमजी फाउंडेशन ने कहा कि प्रेमजी के दान का कुल मूल्य उस समय 1.45 लाख करोड़ रुपए था, जिसमें विप्रो का 67 प्रतिशत आर्थिक स्वामित्व शामिल था।
2019 में किए गए इस दान को लोग अभी फिर से रिपोर्ट कर रहे हैं और सोशल मीडिया पर भी इसी लगभग एक साल पुरानी खबर को शेयर किया जा रहा है। अशोक स्वैन ने भी इसी एक साल पुरानी खबर को शेयर करके अंबानी और अडाणी पर निशाना साधा है। बता दें कि अपनी माँ के सामाजिक कार्यों एवं चैरिटेबल कामकाज से प्रेरित होकर प्रेमजी ने 2001 में अपनी दान यात्रा शुरू की थी। उन्होंने 875 करोड़ रुपए के साथ ‘द अजीम प्रेमजी फाउंडेशन’ की शुरुआत की थी।
इससे पहले 22 मार्च को प्रेमजी ने टि्वटर संदेश के जरिए देशवासियों से अपील की थी, “मैं आप सभी से कहना चाहता हूँ कि आप सभी सुरक्षित रहें। आप सभी एक्सपर्ट्स और सरकार के प्रयासों का सहयोग करें। हम सभी इस संकट (कोरोना) में फँसे हैं। आप अपने आप का, परिवार व दोस्तों का और आसपास के लोगों का ख्याल रखें।”