केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान (Kerala Governor Arif Mohammad Khan) ने उदयपुर में कन्हैया लाल की निर्मम हत्या को लेकर मदरसों पर सवाल उठाया है। उन्होंने बुधवार (29 जून 2022) को कहा कि मदरसों में कट्टरपंथी तालीम दी जाती है और वहाँ पढ़ने वाले बच्चों को ईशनिंदा पर सिर काटना सीखाया जाता है।
राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने कहा, “लक्षण दिखाई देने पर हम घबरा जाते हैं, लेकिन गंभीर बीमारी को नजरअंदाज कर देते हैं। मदरसों में बच्चों को पढ़ाया जा रहा है कि ईशनिंदा की सजा सिर काटना है। इसे अल्लाह के कानून के रूप में पढ़ाया जा रहा है। वहाँ जो पढ़ाया जा रहा है, उसकी जाँच होनी चाहिए।”
We worry when symptoms come but refuse to notice the deeper disease. Children are being taught in madrassas that punishment for blasphemy is beheading. It’s being taught as the law of God…What’s being taught there should be examined: Kerala Gov AM Khan on Udaipur beheading case pic.twitter.com/oqys2KFGyS
— ANI (@ANI) June 29, 2022
केरल के राज्यपाल खान ने कहा कि यह इस्लामी कानून कुरान से नहीं आया है। यह कानून शहंशाहों के जमाने में कुछ लोगों ने बनाए है। अब यही कानून बच्चों को सिखाया जा रहा है। इसे ही अब मदरसों में पढ़ाया जा रहा है और बच्चों को कच्ची उम्र में कट्टरता की शिक्षा दी जा रही है।
राज्यपाल खान इससे पहले भी कट्टरपंथी मुस्लिमों की आलोचना कर चुके हैं। उन्होंने इस साल फरवरी में कर्नाटक में बुर्का विवाद को लेकर कहा कि जिसे यूनिफॉर्म पसंद नहीं है तो उसे संस्थान छोड़ देना चाहिए। अनुशासन का पालन सभी को करना चाहिए। अनुशासन को तोड़ने की कोशिश नहीं करनी चाहिए, क्योंकि अनुशासन संस्थानों की नींव है।
उन्होंने आगे कहा था, “मेरा मानना है कि कौन क्या पहनता है, ये कभी भी विवाद का विषय नहीं होना चाहिए। यह हर व्यक्ति का अपना अधिकार है। शर्त सिर्फ इतनी है कि शालीनता होनी चाहिए, सभ्यता होनी चाहिए, संस्कृति होनी चाहिए। जो आर्मी में है वो ये नहीं कह सकता कि मैं जो चाहूँगा वह पहन लूँगा। पुलिसवाला यह नहीं कह सकता कि जो मैं चाहूँगा वह पहन लूँगा।”
इस दौरान उन्होंने यह भी कहा था कि कई चीजें जबरन मजहब से जोड़ी गई हैं। तीन तलाक को भी मजहब से जोड़ा गया। इसके साथ ही उन्होंने कुरान का हवाला देते हुए कहा था कि हिजाब शब्द का इस्तेमाल पर्दे के लिए किया गया है, पहनावे के लिए नहीं। पहनावे के लिए स्कार्फ होता है। हिजाब का इस्लाम से कोई लेना-देना नहीं है। यह किसी मजहब की पहचान नहीं है।
गौरतलब है कि राजस्थान के उदयपुर में मंगलवार (28 जून 2022) को टेलर कन्हैया लाल की नृशंस हत्या कर दी गई थी। दोपहर करीब ढाई बजे बाइक पर सवार मोहम्मद रियाज और गौस मोहम्मद आए। नाप देने का बहाना बनाकर वे दुकान में गए। इससे पहले कन्हैया लाल कुछ समझ पाते, दोनों इस्लामी हत्यारों ने उनकी गर्दन काट दी।
यही नहीं इस्लामवादी हत्यारों ने 17 जून को अपना वीडियो सोशल मीडिया पर पोस्ट किया था। वीडियो में वह कह रहा था, “मैं मोहम्मद रियाज राजस्थान के उदयपुर, खांजीपीर से। ये वीडियो मैं जुमे के दिन बना रहा हूँ। माशाल्लाह और 17 तारीख है। मैं इस वीडियो को उस दिन वायरल करूँगा, जिस दिन अल्लाह की शान में गुस्ताखी करने वाला का सिर कलम कर दूँगा। आपको एक मैसेज देता हूँ कि रियाज ने सिर कलम करने की शुरुआत तो कर दी है। बाकी के जो बचे हैं उन सभी का सिर आपको कलम करना है। इस बात का ध्यान रखना।”