Monday, December 23, 2024
Homeदेश-समाजसोनभद्र नरसंहार: SDM समेत 5 निलंबित, पूर्व अधिकारी भी जाँच के दायरे में

सोनभद्र नरसंहार: SDM समेत 5 निलंबित, पूर्व अधिकारी भी जाँच के दायरे में

जाँच समिति ने मुख्यमंत्री को सौंपी रिपोर्ट, सीआरपीसी की धारा-145 के तहत कार्रवाई करने की रिपोर्ट पर अरसे तक कुंडली मार कर बैठे रहे घोरावल के SDM।

उत्तर प्रदेश के सोनभद्र ज़िले में ज़मीनी विवाद को लेकर हुए नरसंहार पर एडीजी वाराणसी ज़ोन व मंडलायुक्त मिर्ज़ापुर की जाँच समिति से मिली रिपोर्ट पर प्रशासन ने त्वरित कार्रवाई की है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधानसभा की कार्यवाही के दौरान बताया कि सोनभद्र में 10 लोगों की हत्या मामले में गठित जाँच समिति की संस्तुति पर सोनभद्र के घोरावल के SDM, CO घोरावल, इंस्पेक्टर घोरावल समेत पाँच अधिकारियों व कर्मचारियों को निलंबित कर दिया गया है।

मुख्यमंत्री ने बताया कि अपर सचिव राजस्व की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया गया है। यह कमेटी वहाँ पूर्व में तैनात अधिकारियों की भूमिका की जाँच करेगी। इस कमेटी का काम अधिकारियों द्वारा बरती गई लापरवाही का पता लगाना होगा। उन्होंने बताया कि तीन सदस्यीय कमेटी 1955 से लेकर अब तक इस मामले को लेकर 10 दिन में रिपोर्ट देगी।

मुख्यमंत्री ने बताया कि समिति की जाँच रिपोर्ट में पता चला कि सीआरपीसी की धारा-145 के तहत कार्रवाई करने के लिए SDM घोरावल रिपोर्ट को काफ़ी दिनों से दबाए हुए थे। सीओ घोरावल और इंस्पेक्टर घोरावल दोनों ने ही अपने कर्तव्यों का पालन नहीं किया। वहीं, सब-इंस्पेक्टर और सिपाही ने भी उचित कार्रवाई नहीं की। इस वजह से SDM, CO, इंस्पेक्टर, सब-इंस्पेक्टर और बीट इंचार्ज को निलंबित कर दिया गया है।

ग़ौरतलब है कि इस मामले में लखनऊ स्थित प्रदेश अनुसूचित जाति व अनुसूचित जनजाति आयोग ने सभी आरोपितों पर रासुका के तहत कार्रवाई करने को कहा है। आयोग के अध्यक्ष डीजीपी बृजलाल के मुताबिक़ इस कांड में पुलिस व प्रशासन की लापरवाही सामने आई है। उन्होंने परिक्षेत्र के डीआईजी को निर्देश दिए हैं कि इस संबंध में जाँच कर दोषी अधिकारियों व कर्मचारियों के ख़िलाफ़ कार्रवाई करें।

प्रदेश अनुसूचित जाति व अनुसूचित जनजाति आयोग के अध्यक्ष के मुताबिक इस घटना में लोकव्यवस्था पूर्ण रूप से भंग हुई है, इसलिए उन्होंने कहा है कि राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (रासुका) के तहत अभियुक्तों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाए और जमानत होने की स्थिति में उन्हें रासुका में निरुद्ध किया जाए। साथ ही आयोग ने मामले का मुकदमा फास्ट ट्रैक कोर्ट में चलाए जाने के भी निर्देश दिए हैं। इसके अलावा इस मामले में राजस्व परिषद ने भी जिलाधिकारी से विस्तृत रिपोर्ट तलब की गई है। 

पूरा मामला: उत्तर प्रदेश: आदिवासियों की जमीन पर कब्जे के लिए 3 महिलाओं समेत 11 की हत्या

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

हाई कोर्ट में नकाब से चेहरा ढककर आई मुस्लिम महिला वकील, जज ने हटाने को कहा तो बोली- ये मेरा मौलिक अधिकार: जानिए फिर...

जम्मू-कश्मीर एवं लद्दाख हाई कोर्ट ने बहस के दौरान चेहरा दिखाने से इनकार करने वाली महिला वकील सैयद ऐनैन कादरी की बात नहीं सुनी।

संभल में जहाँ मिली 3 मंजिला बावड़ी, वह कभी हिंदू बहुल इलाका था: रानी की पोती आई सामने, बताया- हमारा बचपन यहीं बीता, बदायूँ...

संभल में रानी की बावड़ी की खुदाई जारी है। इसे बिलारी के राजा के नाना ने बनवाया था। राजकुमारी शिप्रा ने बताया यहाँ की कहानी।
- विज्ञापन -