जम्मू-कश्मीर में आतंकवादियों ने बीजेपी नेता राकेश पंडिता की गोली मारकर हत्या कर दी है। पंडिता पुलवामा जिले के त्राल म्युनिसिपल कमेटी के चेयरमैन थे। काउंसलर होने के साथ-साथ वे बीजेपी की जिला ईकाई के सचिव भी थे। हमले में एक महिला घायल भी हुई हैं जो पंडिता के मित्र की बेटी बताई जा रही हैं।
पंडिता को बुधवार (2 जून 2021) शाम उस वक्त गोली मारी गई जब वे त्राल में अपने घर के बाहर टहल रहे थे। पुलिस ने बताया है कि उनकी सुरक्षा में दो पीएसओ तैनात थे। लेकिन वे बिना सुरक्षा के ही त्राल चले गए थे। गोली लगने के बाद उन्हें अस्पताल ले जाया गया, जहॉं डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। आतंकियों की तलाश में इलाके में सर्च ऑपरेशन चल रहा है।
#Terrorists shot dead one councillor namely Rakesh Pandita in #Tral. Despite provided 02 PSOs & secured hotel accommodation in Srinagar, the said councillor went to Tral without PSOs. Area cordoned off & search is going on. @JmuKmrPolice
— Kashmir Zone Police (@KashmirPolice) June 2, 2021
जम्मू कश्मीर के लेफ्टिनेंट गवर्नर मनोज सिन्हा ने हमले की निंदा करते हुए पीड़ित परिवार के प्रति संवेदना जताई है। मीडिया रिपोर्टों के अनुसार फायरिंग करने वाले आतंकियों की संख्या तीन थी। हमले को अंजाम दे वे फरार हो गए। फायरिंग में घायल महिला मुश्ताक अहमद की बेटी आसिफा बताई जा रही है। त्राल के उपजिला अस्पताल में उसका इलाज चल रहा है।
IG Kashmir Vijay Kumar further tells me that Kashmiri Pandit Rakesh Pandit had gone meet his friend Mustaq Bhat in Tral. Incident happened at Mustaq’s residence in Tral. Three terrorists shot at Pandita. Daughter of his friend also seriously wounded in the terror attack.
— Aditya Raj Kaul (@AdityaRajKaul) June 2, 2021
पंडिता की हत्या ऐसे वक्त में की गई है जब हिंदू सरपंच अजय पंडिता उर्फ भारती की पहली बरसी आने वाली है। आठ जून 2020 को आतंकवादियों ने इसी तरह अजय पंडिता की हत्या कर दी थी। उन्हें उस वक्त गोली मारी गई थी जब वे अपने बागान में थे। फायरिंग के बाद उस समय भी आतंकी फरार हो गए थे।
इस हमले के कुछ दिनों बाद ही सुरक्षाबलों ने हिज्बुल आतंकी उमर को मार गिराया था। उसने ही अजय पंडिता की हत्या को अंजाम दिया था। हस हमले पर उस समय कॉन्ग्रेस ने राजनीति करने की भी कोशिश की थी। कॉन्ग्रेस नेता शशि थरूर ने इसे पार्टी पर हमला बताया था। थरूर ने लिखा था, “धर्मनिरपेक्षता और लोकतंत्र के लिए खड़े होने के लिए कश्मीर से केरल तक कॉन्ग्रेसियों की हत्या की जा रही है। संदेश साफ है- कॉन्ग्रेस मुक्त भारत।”
इस बयान के लिए दिवंगत अजय पंडिता की बेटी नियंता ने भी उन्हें आड़े हाथों लिया था। नियंता ने कहा था, “मैं इस मामले का राजनीतिकरण करने की आवश्यकता समझ नहीं पाई। उन्होंने अपने नाम के साथ भारती शब्द इसलिए जोड़ा था क्योंकि वह देश के साथ जुड़ना चाहते थे, न कि किसी राजनीतिक दल के साथ।”