मध्य प्रदेश के छतरपुर में एक ऐसा घिनौना मामला सामने आया है, जो बताने के लिए काफी है कि लव जिहाद कितना सुनियोजित और इसका उद्देश्य कितना खतरनाक है। छतरपुर जिले में तालिब ने हिंदू बनकर एक लड़की से शादी की। उसके बाद तालिब और उसका परिवार लड़की पर इस्लाम में धर्मांतरण करने, गोमाँस खाने और उर्दू सीखने के लिए दबाव बनाने लगा। जब लड़की नहीं मानी तो उसे क्रूरतापूर्वक प्रताड़ित किया गया और अंतत: उसकी हत्या कर दी गई। युवती के पिता ने छतरपुर के पुलिस अधीक्षक से इस मामले में हस्तक्षेप करने का आग्रह किया, उसके बाद पुलिस हरकत में आई है।
युवती के पिता किशोरी लाल अहिरवार ने बताया कि सिविल लाइन्स पुलिस स्टेशन क्षेत्र का निवासी तालिब खुद को हिंदू बताता था। उसने हिंदू बनकर उनकी बेटी से शादी की थी। अहिरवार ने बताया कि शादी के बाद तालिब का असली चेहरा सामने आ गया और वह उनकी बेटी को धर्मांतरण के लिए प्रताड़ित करने लगा।
उन्होंने बताया कि कुछ दिन पहले उनकी बेटी ने फोन कर जान बचाने की गुहार लगाई थी, लेकिन जब तक वे पहुँचते तब तक उसकी हत्या कर दी गई थी। अहिरवार ने बताया, “उसने (बेटी ने) फोन पर कहा था कि पापा इन लोगों से मुझे बचा लीजिए, ये लोग मुझे मार डालेंगे। उसी दिन से मैं अपनी बेटी से मिलने के लिए तड़प रहा हूँ।” उन्होंने आगे बताया, “जब मैं बेटी के ससुराल गया तो पता चला कि घर में ताला बंद कर सभी लोग भाग गए हैं। मोहल्ले के लोगों ने मुझे बताया कि आपकी बेटी की मौत हो गई है।”
युवती के पिता ने बताया कि उनकी बेटी ने 2015 में तब्बू बने तालिब से शादी की थी और उसके दो बच्चे भी हैं। उन्होंने बताया कि शादी के बाद उनकी बेटी पर इस्लाम अपनाने का दबाव बनाया जाता था। ससुराल पक्ष के लोग न सिर्फ धर्म बदलने, बल्कि गोमाँस खाने और उर्दू पढ़ने के लिए मजबूर करते थे। इसके लिए उनकी बेटी को तरह-तरह से प्रताड़ित करते थे और जब नहीं मानी तो उसकी हत्या कर दी।
किशोरी लाल ने इस मामले में पुलिस पर लापरवाही बरतने का भी आरोप लगाया है। उन्होंने बताया कि वह पिछले दो दिन से सिविल लाइन के टीआई राजेश बंजारी से इस मामले में मदद माँग रहे हैं, लेकिन वह खामोश बने रहे। किसी ने उनकी मदद नहीं की। अंतत: उन्हें पुलिस अधीक्षक के कार्यालय में आवेदन देना पड़ा, जिसके बाद पुलिस हरकत में आई।
मामला लव जिहाद से जुड़ा था, इसलिए पुलिस अधिकारी गंभीर हो गए। सिटी एसपी लोकेंद्र सिंह ने मामले की जाँच के लिए एक टीम गठित की है और आरोपियों गिरफ्तारी के लिए आवश्यक कानूनी कार्रवाई की जा रही है। ऑपइंडिया ने पुलिस अधीक्षक से कई बार संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया। वही हाल सिविल लाइन्स थाना के पुलिस अधिकारियों का भी रहा। बार-बार कॉल करने के बावजूद पुलिस ने कॉल उठाने की जहमत नहीं की।
गौरतलब है कि मध्य प्रदेश में लव जिहाद से संबंधित कानून इसी वर्ष मार्च में लाया गया था। इस कानून के शादी अथवा किसी अन्य कपटपूर्ण तरीके से किये या कराए गए धर्मांतरण के मामले में अधिकतम 10 साल की कैद एवं भारी जुर्माने का प्रावधान किया गया है।