राजस्थान के बीकानेर जिले के धोबी तलाई स्थित मस्जिद में एक नाबालिग के साथ दुष्कर्म का प्रयास हुआ। घटना 18 सितंबर 2021 की है। करतूत करने वाला मस्जिद में अजान देता है। उसकी पहचान मोहम्मद आबिद के तौर पर हुई है। पुलिस ने इस मामले में शिकायत मिलने के बाद मामले को दर्ज कर लिया है। अब पुलिस आगे आरोपित को गिरफ्तार कर कार्रवाई कर रही है।
कुछ स्थानीय साइट्स में यह साफ लिखा है कि मस्जिद में अजान देने वाले मुजीम जिसका नाम मोहम्मद आबिद है, उसने नाबालिग लड़के से पहले कपड़े उतरवाए फिर उसे बेड पर लिटाया। इसके बाद आबिद खुद बिन कपड़े हो गया और कुकर्म का प्रयास करने लगा। ये सब देख बच्चा डर गया और पेशाब के बहाने बोलकर वहाँ से भाग गया। घर आकर जब उसने सारी बात बताई तब परिवार ने इस केस को पुलिस में दर्ज करवाया।
कोटगेट थाना क्षेत्र के सीआई मनोज माचरा इस संबंध में कहते हैं कि एक व्यक्ति ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है कि उसके दो बेटे मस्जिद पर पढ़ाई करने के लिए जाते हैं। वहाँ आबिद नाम के एक शख्स ने उसके दो बेटों में से एक को तो घर भेज दिया, लेकिन दूसरे बेटे के साथ कुकर्म करने का प्रयास किया। बच्चे ने घर जाकर अपने परिजनों को आरोपित की हरकत के बारे में बताया, जिसके बाद उन्होंने उसके खिलाफ पुलिस थाने में मामला दर्ज कराया है। मनोज माचरा ने कहा कि पुलिस ने आरोपित के खिलाफ पॉक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज उसे राउंडअप कर लिया है।
अब अजीब बात ये है कि इस पूरी खबर में हर जगह अच्छे से ये बात स्पष्ट है कि ये घटना मस्जिद-मदरसे से जुड़ी है। लेकिन फिर भी कुछ मीडिया साइट और अखबार इसे धार्मिक स्थल कहकर अलग एंगल देने का प्रयास कर रहे हैं या ये कहें कि अपने पाठक को गुमराह करने की कोशिश कर रहे हैं। बच्चे धार्मिक स्थल में पढ़ने नहीं जाते हैं, ये हम सभी जानते हैं। मगर, फिर भी दैनिक भास्कर और राजस्थान पत्रिका ने इस संवेदनशील मुद्दे पर मदरसे के लिए धार्मिक स्थल का इस्तेमाल कर केवल लोगों को भ्रमित करने का काम किया है और कुछ नहीं।
गौरतलब है कि जून 2021 में उत्तर-पूर्वी दिल्ली के हर्ष विहार में एक मस्जिद में बलात्कार की घटना सामने आई थी। मस्जिद में पानी लेने गई 12 साल की लड़की का मौलवी इलियास ने बलात्कार किया था। मंदिरों में एक थप्पड़ की घटना को भी उछालने वाले मीडिया ने उस दौरान मस्जिद में रेप के मामले को छिपाने का प्रयास किया था। उस समय ‘दैनिक जागरण’ ने भी अपनी हैडिंग में मस्जिद को ‘धार्मिक स्थल’ लिखा था। इतना ही नहीं, पूरे लेख में 4 बार मस्जिद की जगह ‘धार्मिक स्थल’ लिखा गया।
सिर्फ ‘दैनिक जागरण’ ही नहीं, ‘अमर उजाला’ और ‘दैनिक भास्कर’ ने भी उस दौरान ऐसा ही कारनामा किया था। ‘दैनिक भास्कर’ ने लिखा था – ‘धार्मिक स्थल पर हुई वारदात।’