उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले में मुस्लिम भीड़ ने पुलिस पर हमला किया है। हमले में महिला पुलिसकर्मियों को भी निशाना बनाया गया है। इस हमले की FIR में 31 नामजदों सहित कुल 32 हमलावरों को आरोपित बनाया गया है। हमलावरों में लगभग आधे दर्जन महिलाएँ शामिल थीं। पुलिस टीम गाँव में नशे का अवैध रैकेट चलाने वाले जावेद को पकड़ने गई थी। हमलावरों ने पुलिस पर लाठी-डंडे चलाने के साथ पत्थरबाजी भी की। पुलिस के वाहन को तोड़ कर उनकी वर्दी को फाड़ दिया गया।
आरोपित पुलिस वालों की आँखों में मिर्च पाउडर डाल कर जावेद को भी छुड़ा ले गए। घटना सोमवार (12 अगस्त, 2024) की है। पुलिस ने इस हिंसा में शामिल 3 महिलाओं सहित कुल 6 आरोपितों को दबोच लिया है। बाकी हमलावर फरार हैं जिनकी तलाश में लगातार दबिश दी जा रही है।
यह घटना सहारनपुर जिले के थाना क्षेत्र नकुड़ अंतर्गत आने वाले गाँव घाटमपुर की है। थाने पर तैनात सब इंस्पेक्टर नरेंद्र भड़ाना ने सोमवार को घटना की तहरीर दी है। शिकायत में उन्होंने बताया कि सोमवार को उन्हें फरार चल रहे मादक द्रव्यों के तस्कर जावेद के अपने गाँव घाटमपुर में होने की सूचना मिली थी। दारोगा भड़ाना फ़ौरन ही अपनी टीम के साथ घाटमपुर पहुँच गए। पता चला कि जावेद गाँव के कुछ अन्य लोगों के साथ खेतों में बैठा है। नरेंद्र भड़ाना ने फ़ौरन ही अपने सीनियरों को कॉल किया और एक्स्ट्रा फ़ोर्स की माँग की। अतिरिक्त फ़ोर्स आने तक वो पैदल ही जावेद की संभावित लोकेशन की तरफ बढ़ गए।
सब-इंस्पेक्टर भड़ाना को मिली सूचना सही पाई गई और जावेद को पुलिस टीम ने दबोच लिया। इतनी देर में दोपहर लगभग 2:30 पर थाने से महिला पुलिसकर्मियों सहित अतिरिक्त फ़ोर्स भी जावेद के गाँव में पहुँच गई। पुलिस टीम अपनी कानूनी कार्रवाई में जुटी थी कि अचानक ही जावेद जोर-जोर से चिल्ला कर लोगों को जमा करने लगा। शोरगुल सुन कर जावेद के ही गाँव का इकराम अपने साथियों के साथ वहाँ पहुँच गया। इकराम ने जावेद को छुड़ाने के लिए पुलिस वालों को पहले गालियाँ दीं और बाद में साथियों सहित हमला बोल दिया।
आरोप है कि नशा के अवैध कारोबारी जावेद को छुड़ाने के लिए इकराम के साथ आई भीड़ ने पहले पुलिस टीम पर लाठी-डंडों से हमला किया फिर पत्थरबाजी भी की। पुलिस बल ने अपने वाहन में छिप कर खुद को बचाने का प्रयास किया तो हमलावर वहाँ भी पहुँच गए। उन्होंने पुलिस की गाडी के शीशे तोड़ डाले। इस दौरान हमलावरों ने सब इंस्पेक्टर नरेंद्र भड़ाना की वर्दी को भी फाड़ डाला और कस्टडी में मौजूद जावेद को छुड़ाने की कोशिश करने लगे। जब पुलिस वालों ने प्रतिरोध किया तो उनकी आँखों में मिर्च पाउडर झोंक दिया गया।
मिर्च पाउडर से पुलिसकर्मियों की आँखों में जलन होने लगी। इसी दौरान मौका पा कर भीड़ जावेद को छुड़ा कर अपने साथ ले गई। घटना का वीडियो बना रहे पुलिस वालों को भी निशाना बनाया गया। पुलिस ने इस हमले में 31 आरोपित नामजद किए हैं। इनके नाम जावेद, इकराम, मशरूफ, शाहरुख़ नाम के 2 अलग-अलग युवक, इसरार, ज़ाकिर, इकरार, गय्यूर, फारुख, आमिर, फुरकान, कादिर, सुक्का, असजद, आमिर, राकिब, दानिश, अमजद, कैफ, वारिस, आसिफ, इस्तेकार और सद्दाम हुसैन हैं।
इन सभी पुरुष आरोपितों के अलावा इस केस में कई मुस्लिम महिलाएँ भी नामजद हैं। इनके नाम धौली, रिहाना, इसराना, नरगिस, इकरा, अनम और गुलशाना हैं। एक आरोपित को अज्ञात में रखा गया है। सब इंस्पेक्टर भड़ाना की इस शिकायत पर सभी आरोपितों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (BNS)- 2023 की धारा 191 (1), 191 (2), 324 (4), 351 (2), 121 (1), 262, 263, 352, 132, 125 और आपराधिक कानून संशोधन अधिनियम 1932 की धारा 7 के तहत कार्रवाई की गई है। ऑपइंडिया के पास FIR कॉपी मौजूद है।
पुलिस ने दबोचे आधे दर्जन हमलावर
इस घटना के बाद पुलिस ने कड़ा रुख अख्तियार किया है। एसपी देहात सागर जैन के नेतृत्व में हमलावरों पर कड़ी कार्रवाई के लिए पुलिस टीमों का गठन किया गया। ताबड़तोड़ दबिश दे कर महज 24 घंटों के अंदर 6 हमलावरों को गिरफ्तार कर लिया गया है जिसमें 3 महिलाएँ भी शामिल हैं। गिरफ्तार महिला आरोपितों में हारुना, मेहराना और शहरीन शामिल हैं। वहीं इन्ही के साथ पुलिस ने सद्दाम हुसैन, जाबिर और ज़ाकिर को भी दबोच लिया है। फरार चल रहे अन्य आरोपितों की तलाश में लगातार दबिश दी जा रही है। पुलिस प्रशासन का कहना है कि जल्द ही सभी हमलावरों को दबोच लिया जाएगा।
पुलिस अधीक्षक देहात सागर जैन ने बताया कि हमलावरों की पहचान के लिए वीडियो फुटेज सहित तमाम अन्य सबूतों को जुटाया जा रहा है। गिरफ्तार किए गए आरोपितों को अदालत में पेश कर के जेल भेज दिया गया है। क्षेत्र में फिलहाल हालात सामान्य हैं।