Sunday, September 1, 2024
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‘पढ़ाने के बहाने बुलाकर फादर ने छुए मेरे प्राइवेट पार्ट, संभोग का टॉपिक पढ़ाकर करना चाहा यौन शोषण’

नैनी लिखती हैं, "12 जून को मुझे करीब 8 बजे साइरियक ने पढ़ाने के नाम पर डाइनिंग हॉल में बुलवाया और मेरे प्राइवेट पार्ट्स को छूने लगे। मैं हैरान हो गई और वहाँ से भाग आई। इसके बाद मेरा फोन उन लोगों ने छीन लिया और कैंपस का गेट भी बंद कर दिया। मैं चाहकर भी अपने माता पिता से ये बात साझा नहीं कर पाई।"

अरुणाचल प्रदेश में एक पादरी पर फिर यौन उत्पीड़न का इल्जाम लगा है। पीड़िता ने फेसबुक के जरिए लोगों से मदद की गुहार लगाई है। नैनी रिला (Nani Rila) नाम की लड़की ने फेकबुक ग्रुप NEWS & VIEWS OF ARUNACHAL पर आपबीती को साझा किया है। इस पोस्ट में उन्होंने महिला थाने में कराई FIR की कॉपी भी शेयर की है।

इस कॉपी के अनुसार 22 वर्षीय नैनी ईटानगर में चाइल्डलाइन के डॉन बोस्को कॉलेज की छात्रा हैं। वे वहाँ वोकेशनल कोर्स पढ़ती हैं। उनका आरोप है कि उनके कंपाउंड में ही रहने वाले चाइल्डलाइन के निदेशक फादर डॉ साइरियक ने उनका यौन उत्पीड़न किया।

एफआईआर की कॉपी
एफआईआर की कॉपी

नैनी लिखती हैं, “12 जून को मुझे करीब 8 बजे साइरियक ने पढ़ाने के नाम पर डाइनिंग हॉल में बुलवाया और मेरे प्राइवेट पार्ट्स को छूने लगे। मैं हैरान हो गई और वहाँ से भाग आई। इसके बाद मेरा फोन उन लोगों ने छीन लिया और कैंपस का गेट भी बंद कर दिया। मैं चाहकर भी अपने माता पिता से ये बात साझा नहीं कर पाई।”

“13 जून को फिर सुबह 10 बजे, जब मैं पढ़ रही थी। फादर साइरियक एक किताब लेकर आए। इस किताब का नाम, ‘कॉल्ड टू क्लाइंब हायर’ था। उन्होंने मुझे कहा कि ये किताब कैथोलिक पादरी ने लिखी है। तुम्हें इसे पढ़ना चाहिए। इसके बाद उन्होंने मुझे उस किताब का 2 चैप्टर शुरू करवा दिया जो मुख्यत: पार्टनर फॉर लाइफ और महिला-पुरुष के बीच मानसिक और शारीरिक संबंधों पर आधारित था।”

“फिर, वो मुख्यत: मुझे किताब के पृष्ठ नंबर-37 पर ले गए। जहाँ संभोग के बारे में लिखा था। इसके बाद उन्होंने मेरा यौन उत्पीड़न करने का प्रयास किया। मैंने उनके इरादे समझते हुए उनका विरोध किया और 14 जून को अपने पिता को सब बताने की हिम्मत जुटाई। मगर, तब फादर ने मेरा फोन मुझसे छीन लिया।”

नैनी के मुताबिक, इस घटना के शाम को उसकी माँ उससे मिलने आईं। हालाँकि, वो उस दिन अपने पिता से मिलना चाहती थीं। ताकि वह फादर के इरादे उन्हें बता सके। लेकिन तब ऐसा नहीं हुआ। करीब 6-6:15 बजे उन्होंने उनके कुक से एक छोटा सा फोन लिया और अपने पिता को फोन करके सारी बातें बताईं।

नैनी लिखती हैं कि सब कुछ जानने के बाद भी जब उनके पिता अनुमानित समय तक नहीं आए। तो वह कैंपस से भाग निकलीं और पुलिस को सब बताया। नैनी की बात सुनकर पुलिस उनके साथ फादर को पकड़ने कैंपस में भी आई। लेकिन, फादर ने खुद को कमरे में बंद कर लिया और कहने लगे कि जब तक मजिस्ट्रेट नहीं आते गेट नहीं खुलेगा।

अब अपनी इस शिकायत के जरिए नैनी ने गुहार लगाई है कि इस मामले पर उचित कार्रवाई होनी चाहिए। क्योंकि फादर केवल उनके लिए ही नहीं, बल्कि कंपाउंड भी लड़की/महिला के लिए सुरक्षित इंसान नहीं है।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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