भारत के ‘टुकड़े-टुकड़े’ करने की बात करने वाला शरजील इमाम फ़िलहाल दिल्ली पुलिस के शिकंजे में है। उसके ख़िलाफ़ राजद्रोह का मामला चल रहा है। हाल ही में ख़बर आई थी कि शरजील इमाम के बिहार के जहानाबाद स्थित पैतृक घर और दिल्ली के वसंत कुञ्ज स्थित फ्लैट से इलेक्टॉनिक गैजेट्स और कुछ आपत्तिजनक पर्चे जब्त किए हैं। बता दें कि उसने ये पर्चे मस्जिदों में भी बाँटे थे। वो समुदाय विशेष को भड़का रहा था।
पुलिस को उसके पास से कई फोन नंबर मिले थे, जिसे खँगाला जा रहा है। जामिया हिंसा से लेकर एएमयू तक उसके तार जुड़ते नज़र आ रहे हैं। शरजील पहले ही बता चुका है कि वीडियो में उसके वायरल बयान सही हैं, उनके साथ छेड़छाड़ नहीं किया गया है।
अगर शरजील के पास से बरामद पर्चों की बात करें तो वो अँग्रेजी और उर्दू में लिखा हुआ है। इस पर्चे में सीएए को लेकर मुस्लिमों में अफवाह फैला कर उन्हें भड़काया जा रहा है। अगर आप पर्चे के कंटेंट को देखेंगे तो आपको शरजील के खतरनाक इरादों के बारे में पता चलेगा। पर्चे में उसने लिख रखा था कि सीएए असंवैधानिक है और ये मुस्लिमों को दोयम दर्जे का नागरिक बना देगा। साथ ही इस पर्चे में मुस्लिमों को डिटेंशन कैम्प में डाले जाने की बात लिख कर उनके भीतर डर भरने का प्रयास किया गया है।
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— News18 India (@News18India) February 3, 2020
देशद्रोह के आरोपी शरजील इमाम के फोन से पुलिस को मिली अहम जानकारी@KishoreAjwani pic.twitter.com/Z4DLEIhQds
एनआरसी के बारे में शरजील ने लिखा है कि ये असम में लागू हो गया है और इसे जल्द ही पूरे देश में लागू किया जाएगा। उसने इस पर्चे के माध्यम से पूरे देश के मुस्लिमों को सीएए और एनआरसी का विरोध करने की सलाह दी थी। इस पर्चे की कई प्रतियाँ उसने मस्जिदों से लेकर समुदाय विशेष के घरों तक बाँटे थे। इसमें लिखा है:
“पहले जम्मू कश्मीर में अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को निरस्त किया गया। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने राम मंदिर के पक्ष में फ़ैसला दिया। अब सीएए लाया गया है। पूरे भारत के मुस्लिमों के पास त्वरित प्रतिक्रिया देने के लिए कई वजह हैं। असम पहले से ही जलना शुरू हो गया है और लोगों को मारा जा रहा है। हमारे मजहबी और कौम के नेताओं ने भी हमें निराश किया है। हज़ारों मुस्लिम युवक दिल्ली को ठप्प करने के लिए तैयार हैं। इससे इस मुद्दे को अंतरराष्ट्रीय अटेंशन मिलेगा।”
इस पर्चे में लिखी बातों से स्पष्ट है कि शरजील इमाम हज़ारों मुस्लिम युवकों को भड़का कर दिल्ली में गड़बड़ियाँ फैलाना चाहता था, पूरे राज्य को ठप्प करना चाहता था और लोगों को परेशानी में डालना चाहता था। वो ये सब इसीलिए करना छह रहा था क्योंकि मीडिया इस मुद्दे को जोर-शोर से कवर करें और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भाजपा की छवि को नुकसान पहुँचे। इस पर्चे में जामिया और जेएनयू के मुस्लिम छात्रों द्वारा चक्का-जाम करने और आवागमन ठप्प करने की भी बात की गई है। शरजील के ज़हरीले विचार इस पर्चे का जरिए और भी खुल कर समाने आते हैं।
बता दें कि शरजील इमाम महात्मा गाँधी को सबसे बड़ा फासिस्ट नेता बताता था और कॉन्ग्रेस व वामपंथियों को समुदाय विशेष का दुश्मन कहता था। उसने भारतीय लोकतंत्र, न्यायपालिका और संविधान- सभी को समुदाय विशेष का दुश्मन बताया था। शाहीन बाग़ प्रदर्शन के मुख्य साज़िशकर्ता शरजील ने उत्तर-पूर्व भारत को शेष भारत से काट कर अलग करने के लिए लोगों को भड़काया था। शरजील इमाम के ख़िलाफ़ असम, अरुणाचल प्रदेश, बिहार, दिल्ली, यूपी और मणिपुर पुलिस द्वारा अलग-अलग मामला दर्ज किया गया है।
दिल्ली पुलिस क्राइम ब्रांच को शरजील इमाम के व्हाट्सप्प ग्रुप का भी पता चला है। वह ऐसे ग्रुप से जुड़ा हुआ था, जिसमें उसकी ही तरह के विचारधारा वाले कई अन्य इस्लामी कट्टरवादी शामिल थे। उस व्हाट्सप्प ग्रुप में लोग एक-दूसरे को जहरीले भाषण देने के लिए भड़काया करते थे। उसका इस्तेमाल रणनीति बनाने के लिए भी किया जाता था। क्राइम ब्रांच इस व्हाट्सप्प ग्रुप की तहकीकात कर के किसी बड़ी साज़िश का भंडाफोड़ कर सकती है। उम्मीद है कि क्राइम ब्रांच शरजील के लिए 3 दिन की पुलिस कस्टडी की माँग करेगी।