हरियाणा स्थित कालका से कॉन्ग्रेस विधायक प्रदीप चौधरी को 3 साल जेल सज़ा सुनाई गई है। यह आदेश हिमाचल प्रदेश के सोलन जिला स्थित नालागढ़ की निचली अदालत ने जारी किया है। कॉन्ग्रेस विधायक समेत कुल 15 लोगों को 3-3 वर्ष का कारावास और 85-85 हज़ार रुपए का आर्थिक जुर्माना लगाया गया है। अदालत ने 2011 के मामले में सभी आरोपितों को सज़ा सुनाई है, जिसमें एक युवक की मौत के बाद बद्दी रेडलाइट चौक पर जाम लगाया गया था और सरकारी काम में रुकावट पैदा की गई थी।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक़ इस घटना पर सहायक जिला न्यायवादी गौरव अग्निहोत्री ने विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि 31 मई 2011 को थाना बरोटीवाना के अंतर्गत यातायात विभाग वाहन चेकिंग अभियान चला रहा था। पप्सोहा निवासी सुच्चा सिंह पुलिस को देख कर घबरा गया और उसने अपना बचाव करने का प्रयास किया। ऐसा करते हुए वह ट्रांसफार्मर की चपेट में आ गया और इसके बाद उसे चंडीगढ़ पीजीआई में भर्ती कराया गया, जहाँ उपचार के दौरान उसकी मृत्यु हो गई।
मृत्यु की घटना से आक्रोशित होकर मृतक के परिजनों समेत कई लोगों ने बद्दी रेडलाइट चौक पर शव रख कर विरोध प्रदर्शन दिया था। विरोध प्रदर्शन के दौरान प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर डंडे और रॉड से हमला कर दिया था, जिसमें कई पुलिसकर्मी घायल हुए थे। रिपोर्ट्स के मुताबिक़ तमाम सरकारी वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया था, नतीजतन 13 जून 2011 को बद्दी थाने में कई लोगों पर मामला दर्ज किया गया था। इसी मामले में हरियाणा के कालका से कॉन्ग्रेस विधायक प्रदीप चौधरी समेत कुल 15 आरोपितों को सज़ा सुनाई गई है।
नालागढ़ की न्यायिक दंडाधिकारी जितेंदर कुमार की अदालत ने आरोपितों को 3-3 साल की सज़ा और 85-85 हज़ार रुपए का आर्थिक जुर्माना लगाया है। विरोध प्रदर्शन की अगुवाई कालका से कॉन्ग्रेस विधायक प्रदीप चौधरी, महेश कुमार, मलकीत सिंह, संजीव कुमार, संदीप कुमार, भूपेंद्र धीमान, रूप लाल, हिम्मत सिंह, अवतार सिंह, जीत राम, जोगेंद्र सिंह, भाग चंद, महेश कुमार, गुलजार और अमरनाथ कर रहे थे। इसमें ज़्यादातर लोग पंचकूला और कालका के रहने वाले हैं। इस पूरे प्रकरण की तफ्तीश तत्कालीन थाना प्रभारी करमदीन और डीएसपी प्रवीण धीमान ने की थी।