कॉन्ग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री पृथ्वीराज चव्हाण (Prithviraj Chavan) ने NaMo ऐप पर प्रतिबंध लगाने की माँग करते हुए आरोप लगाया कि यह भारतीयों की गोपनीयता और निजता का उल्लंघन कर रहा है।
“The NaMo app also violates the privacy of Indians by accessing 22 data points, surreptitiously changing the privacy settings and sending data to third party companies in the US,” tweeted the senior Congress leader.https://t.co/zfanekRHn8
— News18.com (@news18dotcom) June 30, 2020
मोदी घृणा में लिप्त महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री ने नमो ऐप की तुलना चायनीज ऐप से करते हुए यह भी आरोप लगाया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आधिकारिक मोबाइल फोन एप्लिकेशन, NaMo ऐप (नमो ऐप), गोपनीयता सेटिंग्स (प्राइवेसी सेटिंग्स) में परिवर्तन करता है और अमेरिका में मौजूद थर्ड पार्टी कंपनियों को डेटा भेजता है अमेरिका।
पृथ्वीराज चव्हाण ने अपने एक ट्वीट में लिखा है – “यह अच्छा है कि मोदी सरकार 59 चीनी ऐप्स पर प्रतिबंध लगाकर 130 करोड़ भारतीयों की गोपनीयता की सुरक्षा कर रही है। नमो ऐप 22 डेटा पॉइंट्स एक्सेस करके अमेरिका में थर्ड पार्टी कंपनियों को डेटा भेजने के लिए प्राइवेसी सेटिंग्स को बदलता है और भारतीयों की प्राइवेसी का भी उल्लंघन करता है।”
कॉन्ग्रेस नेता का यह बयान ऐसे समय में आया है जब भारत ने सोमवार (जून 29, 2020) को 59 चायनीज मोबाइल एप्लिकेशन पर प्रतिबंध लगा दिया है, जिसमें बेहद लोकप्रिय टिकटोक और यूसी ब्राउज़र भी शामिल हैं। सरकार ने कहा है कि वे देश की संप्रभुता, अखंडता और सुरक्षा के लिहाज से उचित नहीं हैं।
भारत सरकार ने यह कदम चीन के साथ सीमा गतिरोध पर चीनी सरकार के रवैए और पूर्वी लद्दाख क्षेत्र स्थित गलवान घाटी में हाल ही में हुए हिंसक संघर्ष के खिलाफ लिया है।
कॉन्ग्रेस पार्टी चीन के साथ चल रहे इस संघर्ष पर शुरुआत से ही राजनीति करते हुए चीन का पक्ष लेती नजर आ रही है। कॉन्ग्रेस के पूर्व पार्टी अध्यक्ष ने भारत पर आत्मसर्पण करने तक का आरोप लगाया था और इसके बाद यह चायनीज ऐप के समर्थन में देखी जा सकती है।
गौरतलब है कि कॉन्ग्रेस द्वारा इससे पहले कोरोना वायरस की महामारी के दौरान जारी की गई आरोग्य सेतु ऐप पर भी सवाल खड़े किए गए थे। अब यही कॉन्ग्रेस राजनीतिक लाभ लेने के लिए चीनी ऐप की तुलना नमो ऐप से कर रही है। हालाँकि, अभी तक कॉन्ग्रेस कभी भी यह साबित कर पाने में नाकाम रही है कि वास्तव में सरकार की यह ऐप्स जनता की गोपनीयता के लिए खतरा हैं।
EVM से लेकर भारतीय मोबाइल ऐप्स के नाम पर कॉन्ग्रेस जनता के बीच भ्रम फैलाती देखी जाती रही हैं। ऐसे में चीन के साथ चल रहे कूटनीतिक संघर्ष के बीच भी वह अपनी ही सरकार के विरोध में चीन का समर्थन तक करने के लिए राजी हो गई है।
दिलचस्प बात यह है कि अगर आप कॉन्ग्रेस की मोबाइल ऐप को डाउनलोड करते हैं तो आपको 10 जानकारियाँ देनी होती हैं लेकिन कॉन्ग्रेस ने कभी इस सम्बन्ध में बात नहीं की हैं। जबकि नमो एप के सम्बन्ध में भाजपा आईटी सेल कई बार यह स्पष्ट कर चुका है कि जिस डाटा को तीसरी पार्टी के साथ शेयर किया जाता है वो मात्र विश्लेषण के लिए ही होता है ना कि इसे संग्रह किया जाता है, जैसा विश्लेषण गूगल एनालिटिक्स करता है और इससे यूजर्स को अपने पसंद के मुताबिक जानकारी मिलती है।