मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के भाई लक्ष्मण सिंह ने किसानों की क़र्ज़माफ़ी को लेकर बड़ा बयान दिया है। उनके इस बयान से कॉन्ग्रेस की मुश्किलें बढ़ सकती है, क्योंकि पार्टी ने क़र्ज़माफ़ी को ही मुद्दा बना कर 2018 में हुआ विधानसभा चुनाव लड़ा था और राज्य में सरकार बनाई थी।
5 बार सांसद और 2 बार विधायक रहे लक्ष्मण सिंह ने कहा है कि क़र्ज़माफ़ी किसी भी क़ीमत पर संभव नहीं है। उन्होंने कहा है कि इस वर्ष किसानों की क़र्ज़माफ़ी नहीं हो पाएगी, क्योंकि सरकार इसका आकलन करने में विफल साबित हुई है।
बता दें कि राहुल गाँधी ने चुनाव के दौरान सरकार गठन के 10 दिनों के भीतर किसानों की क़र्ज़माफ़ी करने का ऐलान किया था। अब लक्ष्मण सिंह ने अपनी ही पार्टी के पूर्व अध्यक्ष के बयान पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि राहुल गाँधी को 10 दिनों के भीतर क़र्ज़माफ़ी का वादा नहीं करना चाहिए था। आँकड़े गिनाते हुए कॉन्ग्रेस विधायक लक्ष्मण सिंह ने कहा कि 45 हज़ार करोड़ की क़र्ज़माफ़ी आसान काम नहीं है। लक्ष्मण सिंह के अनुसार, इस वर्ष किसानों की क़र्ज़माफ़ी किसी भी क़ीमत पर नहीं हो सकती।
लक्ष्मण सिंह का यह बयान अहम है, क्योंकि मध्य प्रदेश के एक मंत्री ने ही उनके भाई दिग्विजय सिंह पर परदे के पीछे से सरकार में दखल देने का आरोप लगाया है। ज्योतिरादित्य सिंधिया को कॉन्ग्रेस का प्रदेश अध्यक्ष बनाए जाने के लिए उनके समर्थक लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं। फिलहाल कमलनाथ मध्य प्रदेश में सरकार और संगठन, दोनों के मुखिया बने हुए हैं। दिग्विजय, सिंधिया और कमलनाथ के त्रिकोण में उलझी मध्य प्रदेश कॉन्ग्रेस की सियासत में लक्ष्मण सिंह का बयान मायने रखता है।
इस दौरान लक्ष्मण सिंह ने संगठन को लेकर भी बात की। बता दें कि लक्ष्मण 1990 में ही पहली बार विधायक बने थे और लगातार सक्रिय रहने के बावजूद उन्हें कमलनाथ मंत्रिमंडल में जगह नहीं मिली। जब मीडिया ने उनसे इस सम्बन्ध में सवाल किया तो उन्होंने कहा कि वे पार्टी से ऐसी अपेक्षा रखते हैं कि उनका कहीं भी उपयोग किया जाना चाहिए। अपनी पीठ थपथपाते हुए लक्ष्मण सिंह ने कहा कि उन पर न तो भ्रष्टाचार के कोई आरोप हैं और न ही उनके पास अनुभव की कोई कमी है।
मध्य प्रदेश में कॉन्ग्रेस के नए प्रदेश अध्यक्ष को लेकर गुटबाजी चरम पर है और इस सम्बन्ध में कई नेता अपनी पसंद-नापसंद ज़ाहिर कर रहे हैं। प्रदेश अध्यक्ष और राज्य में कॉन्ग्रेस सरकार को लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में दिग्विजय सिंह के भाई ने कहा:
“ज्योतिरादित्य सिंधिया एक अनुभवी नेता हैं और वे अध्यक्ष पद के लायक भी हैं। कमलनाथ सरकार पूरे 5 वर्षों तक चलेगी। मुख्यमंत्री कमलनाथ भी काफ़ी अनुभवी नेता हैं। इस सरकार को परदे के पीछे से कोई भी नहीं चला रहा। मुख्यमंत्री कमलनाथ ही यह सरकार चला रहे हैं।”
बता दें कि मध्य प्रदेश के वन मंत्री उमर सिंघार ने कहा था कि दिग्विजय सिंह परदे के पीछे से सरकार चला रहे हैं और यह बात कार्यकर्ताओं से लेकर सभी नेताओं को पता है। उन्होंने कहा था कि अधिकारियों की ट्रांसफर-पोस्टिंग को लेकर मंत्रियों को दिग्विजय के पत्र आते हैं। लक्ष्मण सिंह ने उनके इस बयान पर टिप्पणी करते हुए कहा कि उनके बड़े भाई दिग्विजय और मंत्री उमर सिंघार को आपस में मिल-बैठ कर बात कर लेनी चाहिए। उन्होंने कहा कि ऐसे विवादों का लाभ भाजपा को मिलता है।