पाँच राज्यों में हुए विधानसभा चुनावों में कॉन्ग्रेस की करारी हार के बाद एक बार फिर पार्टी के नए अध्यक्ष को लेकर सार्वजनिक तौर पर बहस होना शुरू हो गई हैं। खबरें हैं की नए अध्यक्ष को लेकर लंबे समय से माँग करने वाले कॉन्ग्रेस नेताओं के जी-23 ग्रुप ने मुकुल वासनिक का नाम सुझाया था, मगर उनके सुझाव पर गौर नहीं किया गया।
इस ग्रुप में बता दें आनंद शर्मा, गुलाब नबी आजाद, कपिल सिब्बल जैसे वरिष्ठ कॉन्ग्रेस नेता शामिल हैं। समाचार एजेंसी के अनुसार इन सबने मिलकर मुकुल वासनिक का नाम नए कॉन्ग्रेस अध्यक्ष पद के लिए दिया था, मगर उसे नही माना गया।
G23 suggested Mukul Wasnik for Congress chief post: Source
— ANI Digital (@ani_digital) March 13, 2022
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सूत्रों से आई इस खबर के अनुसार नेताओं की माँग है कि नया नेतृत्व बिलकुल ऐसे पार्टी लीड करे जैसे सोनिया गाँधी ने साल 2000 के समय में किया था। अभी भले ही सोनिया गाँधी अंतरिम अध्यक्ष हैं लेकिन केसी वेणुगोपाल, अजय माकन और रणदीप सुरजेवाला इसे वर्चुअली चलाते हैं। सूत्रों ने कहा, “राहुल गाँधी अध्यक्ष नहीं हैं। लेकिन वह पीछे से इसे ऑपरेट करते हैं और निर्णय लेते हैं। वह खुलकर बात नहीं करते। हम सब पार्टी के शुभचिंतक हैं न कि दुश्मन।”
यहाँ ये बात मालूम हो कि जी-23 समूह अगस्त 2020 से ही सोनिया गाँधी को पत्र लिखकर पार्टी के एक सक्रिय अध्यक्ष की माँग उठा रहे थे। मगर, कॉन्ग्रेस अध्यक्ष ने इस पर सुनवाई नहीं की और अध्यक्ष चुनने की तारीख आगे-आगे बढ़ती गई। लेकिन, अब 2022 में लगातार पाँचों राज्यों में मिली हार को देखते हुए ये समूह फिर से अपनी माँगें रख रहा है। कल इस संबंध में इस समूह ने अपनी बैठक की थी, जिसमें कपिल सिब्बल, मनीष तिवारी, भूपेंद्र सिंह हुड्डा जैसे तमाम नेता शामिल हुए थे।
पार्टी नेतृत्व करने वाले नेताओं से नाराज हैं कॉन्ग्रेसी
उल्लेखनीय है कि समय के साथ कॉन्ग्रेस के नेतृत्व में बदलाव की माँग तेजी से सामने आ रही है। हाल में केरल के कन्नूर जिले में पार्टी के महासचिव केसी वेणुगोपाल के इस्तीफे की माँग भी उठीं और इस संबंध में पोस्टर लगे भी देखे गए। हैरान करने वाली बात ये है कि कॉन्ग्रेस नेता से इस्तीफा माँगने वाले पोस्टर उनके करीबी संजीव जोसेफ के कार्यालय में दिखाई दिए। इसके अलावा ये पोस्टर अन्य जगहों पर भी देखने को मिले।
इसी प्रकार कॉन्ग्रेस नेता हरीश रावत को भी चुनाव में पार्टी की करारी हार के बाद विरोध का सामना करना पड़ रहा है। उत्तराखंड में कॉन्ग्रेस नेता और पूर्व मंत्री हीरा सिंह बिष्ट ने पार्टी की हार का पूरा ठीकरा हरीश रावत के सिर फोड़ा है। उनके अलावा रावत के विरोधी प्रीतम सिंह ने भी उत्तराखंड में पार्टी नेतृत्व से नाराजगी जाहिर की है।