Saturday, July 27, 2024
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स्कूल-कॉलेजों में बुर्का के समर्थन में अभियान चलाने वाली फातिमा की जीत, समान ड्रेस कोड की पैरवी करने वाले BJP प्रत्याशी हारे

मुस्लिम छात्राओं के लिए हिजाब की माँग करने वाली कनीज़ फातिमा को कॉन्ग्रेस ने गुलबर्गा उत्तर सीट से चुनावी मैदान में उतारा था। उनका मुकाबला बीजेपी के चंद्रकांत बी पाटिल (Chandrakant B patil) से था। बीजेपी उम्मीदवार को लगभग 1200 मतों से हार का सामना करना पड़ा।

कर्नाटक विधानसभा चुनाव में भले ही बीजेपी का वोट शेयर न गिरा हो लेकिन कॉन्ग्रेस ज्यादा सीटें जीत कर सत्ता पर काबिज होने जा रही है। बीजेपी के कई मंत्री चुनाव हार गए हैं। उनमें कर्नाटक के शिक्षा मंत्री बीसी नागेश भी शामिल हैं। बीसी नागेश ने स्कूलों में एक समान यूनिफॉर्म की वकालत की थी। दूसरी तरफ कॉन्ग्रेस की उम्मीदवार कनीज़ फातिमा चुनाव जीत चुकी हैं। कनीज़ ने स्कूलों में मुस्लिम छात्राओं के लिए हिजाब की वकालत की थी।

कर्नाटक के शिक्षा मंत्री बीसी नागेश ने तिपटूर (Tiptur) विधानसभा सीट से चुनाव लड़ा था। उनका मुकाबला कॉन्ग्रेस उम्मीदवार के शदाक्षरी (K Shadakshari) और जेडीएस के केटी शांताकुमार (KT shanthakumara) से था। कॉन्ग्रेस उम्मीदवार के शदाक्षरी ने बीसी नागेश को लगभग 17 हजार वोटों से हराया। बीसी नागेश ने स्कूलों और कॉलेजों में छात्रों के लिए एक समान ड्रेस कोड की वकालत की थी।

दूसरी तरफ मुस्लिम छात्राओं के लिए हिजाब की माँग करने वाली कनीज़ फातिमा को कॉन्ग्रेस ने गुलबर्गा उत्तर सीट से चुनावी मैदान में उतारा था। उनका मुकाबला बीजेपी के चंद्रकांत बी पाटिल (Chandrakant B patil) से था। बीजेपी उम्मीदवार को लगभग 1200 मतों से हार का सामना करना पड़ा। गुलबर्गा उत्तर विधानसभा क्षेत्र में मुस्लिमों की आबादी लगभग 60 फीसदी है। कई मुस्लिम उम्मीदवारों के मैदान में होने के बावजूद हिजाब को लेकर भाजपा सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने वाली कनीज़ चुनाव जीत गईं।

कनीज़ ने सीएए विरोधी प्रदर्शनों में भी बढ़-चढ़ कर हिस्सा लिया था। चुनाव प्रचार के दौरान भी वह मुस्लिमों को एक होकर वोट करने की अपील करती रही थी। यही कारण है कि कई मुस्लिम उम्मीदवारों के बावजूद इलाके के लोगों का वोट नहीं बँटा।

बता दें कि कर्नाटक विधानसभा चुनाव 2023 में भाजपा ने अपने 31 मंत्रियों में से 25 पर भरोसा जताया था और उन्हें उनकी पारंपरिक सीट से ही चुनाव मैदान में उतारा था। इनमें से 12 मंत्रियों ने अपनी सीट बचा ली जबकि 11 मंत्रियों को हार का सामना करना पड़ा। मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई शिग्गाँव से लगभग 35 हजार वोटों से विजयी हुए।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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