महाराष्ट्र में भारतीय जनता पार्टी और शिवसेना के गठबंधन को बहुमत तो मिल गया, लेकिन अभी तक राज्य में सरकार नहीं बन पाई है। दोनों पार्टियों के बीच मुख्यमंत्री पद और कैबिनेट में हिस्सेदारी को लेकर खींचतान चल रही है। भाजपा-शिवसेना के बीच सरकार गठन को लेकर जारी गतिरोध के बीच अन्य विकल्पों को लेकर भी सरगर्मियाँ तेज हो गईं हैं। इस सबके बीच गुरुवार (अक्टूबर 31, 2019) को शिवसेना नेता संजय राउत ने राष्ट्रवादी कॉन्ग्रेस के शरद पवार से मुलाकात की, जिसने सियासी गर्मी को और बढ़ा दिया।
बता दें कि राज्य में बीजेपी को 105, शिवसेना को 56, एनसीपी को 54 और कॉन्ग्रेस को 44 सीटों पर जीत हासिल हुई है। मौजूदा परिस्थिति में बीजेपी और शिवसेना को बहुमत है। वो आसानी से सरकार बना सकती है, लेकिन शिवसेना के 50-50 फॉर्मूले को लेकर पेंच फँसा हुआ है। अगर शिवसेना इस पर अड़ी रहती है और एनसीपी-कॉन्ग्रेस विपक्ष में बैठने पर कायम रहती है, तो प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लग सकता है। लेकिन यदि कॉन्ग्रेस और एनसीपी का गठबंधन शिवसेना का साथ देने के लिए राजी हो जाती है, तो शिवसेना आराम से सरकार बनाने का दावा पेश कर सकती है।
इसके साथ ही कयास लगाए जा रहे हैं कि राज्य में अल्पमत की सरकार बन सकती है, जिसे बाहर से एनसीपी समर्थन दे सकती है। जिस तरह से 2014 के चुनाव के बाद 288 सदस्यीय विधानसभा में जब 122 विधायकों वाली फड़नवीस की अल्पमत सरकार ने शपथ ली थी तो एनसीपी ने उसे बाहर से समर्थन दिया था।
वहीं मौजूदा सियासी समीकरण को देखते हुए ये भी बताया जा रहा है कि महाराष्ट्र में शिवसेना-कॉन्ग्रेस-एनसीपी की संयुक्त सरकार बन सकती है। बता दें कि कॉन्ग्रेस नेता पृथ्वीराज चह्वाण ने शिवसेना को उकसाते हुए कहा था कि विधानसभा चुनाव में भाजपा सबसे बड़े दल के रूप में उभरी है। इसके बावजूद यदि वह सरकार बनाने में अक्षम रहती है तो दूसरे बड़े दल के रूप में शिवसेना को मौका मिलना चाहिए।
चह्वाण का कहना है कि ऐसी स्थिति में यदि शिवसेना सरकार बनाने के लिए कॉन्ग्रेस से समर्थन माँगती है तो वो पार्टी आलाकमान से इस पर विचार करने को कहेंगे। एस तरह से प्रदेश में शिवसेना-कॉन्ग्रेस-एनसीपी की संयुक्त सरकार की संभावना भी दिखाई दे रही है।
Mumbai: Brihanmumbai Municipal Corporation (BMC) removes hoardings outside Matoshree (Thackeray residence) which read ‘CM Maharashtra only Aditya Thackeray.’ #Maharashtra pic.twitter.com/obRMx60OwO
— ANI (@ANI) October 31, 2019
इस बीच बृहन्मुंबई म्युनिसिपल कॉरपोरेशन (BMC) ने ठाकरे परिवार के आवास ‘मातोश्री’ के बाहर लगे उन होर्डिंग को हटा दिया है, जिनमें आदित्य ठाकरे को मुख्यमंत्री बनाने की बात लिखी गई थी। इन होर्डिंग में लिखा था- सिर्फ आदित्य ठाकरे ही महाराष्ट्र के सीएम। बता दें कि बीएमसी में शिवसेना सबसे बड़ी पार्टी है, ऐसे में इन पोस्टरों को हटाया जाना सरकार गठन के लिए जारी उठापटक को एक नया मोड़ दे सकता है।