उत्तराखंड के विधानसभा चुनावों से पहले पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत के ट्वीट ने सियासी गलियारों में हलचल मचा दी है। पार्टी का सहयोग न मिलने के कारण जो ट्वीट उन्होंने कल किया उसके बाद अन्य राजनेता इस पर प्रतिक्रिया दे रहे हैं। पहले पंजाब के पूर्व सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह ने अपना ट्वीट कर रावत को ताना दिया और अब कॉन्ग्रेस नेता मनीष तिवारी ने पार्टी के हाईकमान पर तंज कसा है।
रावत के ट्वीट पर मनीष तिवारी ने कहा, “असम, फिर पंजाब और अब उत्तराखंड, भोग (मृतक की अंतिम रस्म) पूरा ही डालेंगे, कोई कसर न रह जाए।” ये पहली बार नहीं है जब तिवारी इस तरह अप्रत्यक्ष रूप से अपने पार्टी नेतृत्व पर हमलावर हुए हों। वह बीते दिनों में सिद्धू से लेकर कॉन्ग्रेस आलाकमान का मजाक उड़ा चुके हैं। उन्होंने राहुल गाँधी को सलाह भी दी थी कि वो हिंदुत्व की बहस में शामिल न हों। क्योंकि ये बहस मूल विचारधारा से कई मील दूर है।
FIRST ASSAM
— Manish Tewari (@ManishTewari) December 23, 2021
THEN PUNJAB
NOW UTTRAKHAND…..
BHOG POORA HI PAUN GAYE
KASAR NA RAHE JAWE KOI
😎@harishrawatcmuk https://t.co/yQYClbLRMB
तिवारी से पहले कैप्टन अमरिंदर सिंह ने रावत के ट्वीट पर तंज कसते हुए कहा था, “जो बोओगे वही काटोगे। भविष्य की शुभकामनाएँ।”
गौरतलब है कि कल हरीश रावत ने एक ट्वीट किया था। इस ट्वीट को पढ़कर सबको ऐसा लगा कि उन्हें पार्टी नेतृत्व द्वारा तवज्जों ने मिल रही। इस ट्वीट में उन्होंने कहा था “है न अजीब सी बात, चुनाव रूपी समुद्र को तैरना है, सहयोग के लिए संगठन का ढाँचा अधिकांश स्थानों पर सहयोग का हाथ आगे बढ़ाने के बजाय या तो मुँह फेर करके खड़ा हो जा रहा है या नकारात्मक भूमिका निभा रहा है।”
You reap what you sow! All the best for your future endeavours (if there are any) @harishrawatcmuk ji. https://t.co/6QfFkVt8ZO
— Capt.Amarinder Singh (@capt_amarinder) December 22, 2021
रावत का कहना है कि चुनाव रूपी जिस समंदर में वो तैरना चाहते हैं वहाँ सत्ता ने मगरमच्छ छोड़ रखे हैं। रावत ने एक अन्य ट्वीट किया, “जिनके आदेश पर तैरना है, उनके नुमाइंदे मेरे हाथ-पाँव बाँध रहे हैं। मन में बहुत बार विचार आ रहा है कि #हरीश_रावत अब बहुत हो गया, बहुत तैर लिए, अब विश्राम का समय है!”
सत्ता ने वहां कई मगरमच्छ छोड़ रखे हैं। जिनके आदेश पर तैरना है, उनके नुमाइंदे मेरे हाथ-पांव बांध रहे हैं। मन में बहुत बार विचार आ रहा है कि #हरीश_रावत अब बहुत हो गया, बहुत तैर लिये, अब विश्राम का समय है!
— Harish Rawat (@harishrawatcmuk) December 22, 2021
2/3
मालूम हो कि कुछ समय पहले पार्टी नेतृत्व के कारण कैप्टन अमरिंदर सिंह ने पंजाब में कॉन्ग्रेस से अपना नाता तोड़ा था। उससे पहले असम में हिमंत बिस्वा ने 2014 में कॉन्ग्रेस का हाथ छोड़ दिया था। बाद में वो भाजपा में शामिल हुए और इसी वर्ष उन्हें मुख्यमंत्री बनने का अवसर मिला।