Sunday, July 13, 2025
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कारगिल की लड़ाई के दौरान नरेंद्र मोदी टाइगर हिल क्यों गए थे?

ब्रिगेडियर कुशाल ठाकुर ने कहा कि किसी पद पर नहीं रहने के बावजूद मोदी का वह दौरा बताता है कि वे देश की सुरक्षा को लेकर कितने संवेदनशील हैं। ठाकुर ने सेना में हिमाचल रेजिमेंट के गठन पर भी बल दिया।

कारगिल युद्ध में हिस्सा ले चुके एक पूर्व सैन्य अधिकारी ने बृहस्पतिवार (मई 10, 2019) को दावा किया कि टाइगर हिल पर फिर से कब्जा करने के दूसरे दिन ही सेना का मनोबल बढ़ाने के लिये नरेंद्र मोदी वहाँ पहुँचे थे।

कारगिल युद्ध में शामिल रहे रिटायर्ड ब्रिगेडियर कुशाल ठाकुर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लेकर एक बयान दिया है। सेना में रहकर देश की सेवा करने वाले ब्रिगेडियर ठाकुर ने कहा, “टाइगर हिल पर फिर से कब्जे के एक दिन बाद नरेंद्र मोदी ने वहाँ की यात्रा की थी। किसी पद पर न होने के बावजूद यह काम उन्होंने सिर्फ सेना का मनोबल बढ़ाने के लिए किया था।” इसके साथ ही ब्रिगेडियर कुशाल ठाकुर ने कहा कि किसी पद पर नहीं रहने के बावजूद मोदी का वह दौरा बताता है कि वे देश की सुरक्षा को लेकर कितने संवेदनशील हैं। ठाकुर ने सेना में हिमाचल रेजिमेंट के गठन पर भी बल दिया।

भाजपा नेता एवं ब्रिगेडियर (सेवानिवृत्त) कुशाल ठाकुर ने कहा कि मोदी का टाइगर हिल का दौरा करना राष्ट्रीय सुरक्षा को लेकर उस वक्त की उनकी चिंता को दर्शाता है, जब वह किसी भी आधिकारिक पद पर नहीं थे। ब्रिगेडियर ठाकुर ने मीडिया से कहा कि मोदी न तो उस वक्त प्रधानमंत्री थे और न ही गुजरात के मुख्यमंत्री, जब वह जुलाई 05, 1999 को टाइगर हिल आए थे।

उस समय हिमाचल प्रदेश भाजपा के प्रभारी थे नरेंद्र मोदी

ठाकुर उस समय 18 ग्रेनेडियर्स यूनिट के कमांडिंग ऑफिसर थे, जिसने रणनीतिक चोटियों को वापस कब्जे में लिया था। ठाकुर ने बताया कि उस समय मोदी हिमाचल प्रदेश भाजपा के प्रभारी थे। साथ ही, राष्ट्रीय सुरक्षा को लेकर पीएम मोदी की नीतियों की तारीफ करते हुए उन्होंने कहा कि देश ने मोदी के 5 साल के कार्यकाल में राष्ट्रीय सुरक्षा और विदेश नीति में काफी बदलाव देखा। उन्होंने कहा कि दृढ़ राजनीतिक इच्छा शक्ति के कारण मोदी सरकार की आतंकवाद के खिलाफ ‘बिल्कुल बर्दाश्त नहीं करने’ की नीति सर्जिकल स्ट्राइक और हवाई हमलों के माध्यम से कारगार साबित हुई।

बिग्रेडियर कुशाल ठाकुर के मुताबिक 1990 में पाकिस्तान की ओर से प्रॉक्सी वॉर शुरू किया गया था। उस वक्त कई आतंकवादी घटनाएँ हुईं और हम उन्हें मारने के लिए तब तक इंतजार करते थे, जब वो एलओसी के अंदर नहीं आ जाते थे। लेकिन, पहली बार एलओसी से बाहर निकलकर आतंकियों को घुसकर मारा गया है।

कॉन्ग्रेस का घोषणा पत्र सेना का मनोबल गिराने वाला’

शिमला में ब्रिगेडियर कुशाल ठाकुर ने कॉन्ग्रेस को कई मुद्दों पर घेरा। मंडी, हिमाचल प्रदेश से बीजेपी के टिकट के दावेदार रहे कुशाल ठाकुर ने कॉन्ग्रेस के घोषणा पत्र को पूरी तरह से नकारते हुए कहा कि यह घोषणा पत्र सेना का मनोबल गिराने वाला है। अगर जम्मू कश्मीर में आर्म्ड फोर्स स्पेशल पॉवर्स एक्ट में बदलाव किया गया, तो यह आत्मघाती कदम होगा।

उन्होंने बताया कि करगिल युद्ध के दौरान हिमाचल प्रदेश के 52 सैनिकों ने अपने प्राण न्योछावर किए और 2 को देश के सर्वोच्च सैन्य पुरस्कार परमवीर चक्र से भी नवाजा गया।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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