विदेश मंत्री एस जयशंकर (S Jaishankar) ने बैंकॉक में भारतीय समुदाय के साथ बातचीत करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) की जमकर तारीफ की है। उन्होंने कहा कि पीएम मोदी जैसा व्यक्ति मिलना देश के लिए सौभाग्य की बात है। वे कई चीजों को नीतियों और कार्यक्रमों में बदल देते हैं।
जयशंकर ने पीएम मोदी को असाधारण व्यक्तित्व का स्वामी बताया। राजनयिक से नेता बनने तक की अपनी यात्रा पर जयशंकर ने कहा कि उन्होंने एक राजनयिक के रूप में हमेशा राजनेताओं के साथ काम किया, लेकिन 24×7 वाली राजनीति की दुनिया में बिना थके और किसी छुट्टी के काम करना अलग बात है।
कोरोना के दौर में पीएम मोदी द्वारा लिए गए निर्णयों को याद करते हुए विदेश मंत्री ने कहा, “मुझे लगता है कि इस समय पीएम मोदी जैसा व्यक्ति मिलना देश का बहुत बड़ा सौभाग्य है। मैं ऐसा इसलिए नहीं कह रहा हूँ, क्योंकि वे आज प्रधानमंत्री हैं और मैं उनके मंत्रिमंडल का सदस्य हूँ।” उन्होंने कहा कि महिलाएँ पैसे का बेहतर ढंग से प्रबंधन करती हैं, यह विचार बहुत से लोगों के मन में नहीं आया होगा, लेकिन पीएम ने ऐसा सोचा।
जयशंकर ने आगे कहा, “मैं ऐसा इसलिए कह रहा हूँ, क्योंकि जब आपके सामने सदी में एक बार होने वाली स्वास्थ्य चुनौती होती है तो केवल वही व्यक्ति जो इतना जमीन से जुड़ा हो, कह सकता है कि ठीक है स्वास्थ्य संबंधी चुनौती है, लेकिन घर जाने वाले व्यक्तियों के लिए क्या किया जाएगा, उन्हें खिलाने के लिए क्या करेंगे, उनके खाते में पैसे कैसे डालेंगे।”
एक अच्छे नेता के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा, “अच्छे नेता वे लोग होते हैं जो बहुत ज़मीन से जुड़े होते हैं और जो हो रहा है उसके लिए बहुत अनुभवी होते हैं, लेकिन उनमें देश को एक अलग स्तर पर ले जाने का जुनून भी होता है। ये ज़मीन से गहराई से जुड़े हुए और बहुत दूरदर्शी होते हैं। ऐसे लोग कभी-कभार पैदा होते हैं।”
विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि उनके अनुसार अब तक के सर्वश्रेष्ठ राजनयिक भगवान हनुमान हैं। जयशंकर ने कहा, “मैं अपने राजनयिक करियर और राजनीति में प्रवेश के बीच के अंतराल के दौरान एक किताब लिखी थी कि कैसे महाभारत अंतरराष्ट्रीय राजनीति में एक मार्गदर्शक के रूप की भूमिका निभा सकता है। महाभारत शासन करने कला की तरह है।”
उन्होंने आगे कहा, “अगर आप रामायण को भी देखें और मुझसे पूछें कि मेरे हिसाब से सबसे अच्छा राजनयिक कौन है तो मेरा जवाब होगा- भगवान हनुमान। आप इसे भगवान राम की ओर से देख रहे हैं, लेकिन अगर हम इसे एक देश के रूप में देखें तो वे किसी अज्ञात व्यक्ति से निपट रहे हैं, जिसकी उतनी जानकारी नहीं है… आपको वहाँ जाना है, खुफिया जानकारी ढूंढनी है, सीता का पता लगाना है…”
भगवान हनुमान के बारे में बताते हुए विदेश मंत्री आगे कहते हैं, “हनुमान गुप्त रूप से सीता से संपर्क स्थापित करते हैं, उनका मनोबल ऊँचा रखते हैं, उस स्थान को आग लगा देते है जो राजनयिकों के लिए मेरा नुस्खा नहीं है… लेकिन यदि आप समग्रता से देखें तो वे इन सबको सफलतापूर्वक अंजाम देकर सुरक्षित वापस आ जाते हैं।”