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Tuesday, April 15, 2025
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मुख़्तार अंसारी के परिवार को फायदा पहुँचाने वाले 2 IAS अधिकारियों को योगी सरकार ने हटाया

इन दोनों IAS अधिकारियों ने ऐसे-ऐसी फैसले लिए, जिनसे न सिर्फ जिला प्रशासन, बल्कि उत्तर प्रदेश के योगी आदित्यनाथ सरकार की भी खूब किरकिरी हुई। दोनों को ही राजस्व परिषद से हटा दिया गया है।

उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ की सरकार ने दो IAS अधिकारियों गुरुदीप सिंह और राजीव शर्मा को हटा कर उन्हें प्रतीक्षारत कर दिया है। आरोप है कि इन अधिकारियों ने विवादास्पद फैसले लिए और ऐसे एक्शन लिए, जिनसे दोनों को फायदा हुआ। इन दोनों IAS अधिकारियों पर मऊ के विधायक मुख़्तार अंसारी और उसके भाई अफजल अंसारी के परिवार को फायदा पहुँचाने का आरोप है।

यह भी आरोप है कि करियर मेडिकल कॉलेज व डेंटल कॉलेज के मालिकों को भी इन दोनों IAS अधिकारियों ने फायदा पहुँचाया। उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने मीडिया में प्रकाशित खबर का संज्ञात लेते हुए इस पर कार्रवाई की है। जहाँ गुरुदीप सिंह वरिष्ठ IAS अधिकारी व राजस्व परिषद में सदस्य थे, वहीं दूसरी तरफ राजीव शर्मा अभी कुछ समय पहले ही विशेष सचिव, नगर विकास से राजस्व परिषद में नियुक्त किए गए थे।

‘हिंदुस्तान’ में प्रकाशित खबर के अनुसार, राजस्व परिषद के सदस्य के पास न्यायिक अधिकार होता है और वो जमीन से जुड़े मामले की सुनवाई करते हैं। इन दोनों IAS अधिकारियों ने ऐसे-ऐसी फैसले लिए, जिनसे न सिर्फ जिला प्रशासन, बल्कि उत्तर प्रदेश के योगी आदित्यनाथ सरकार की भी खूब किरकिरी हुई। दोनों को ही राजस्व परिषद से हटा दिया गया है। सरकार ऐसे अन्य अधिकारियों के खिलाफ भी कार्रवाई करेगी, जो माफिया से गठजोड़ में हैं।

परिषद सदस्य व IAS अधिकारी गुरुदीप सिंह ने उस सरकारी आदेश को ही निरस्त कर दिया था, जिसमें करियर मेडिकल व डेंटल कालेज के सरकारी जमीन पर बने होने की रिपोर्ट दी गई थी। इस आदेश को लखनऊ के तहसीलदार (सदर न्यायिक) और अपर जिलाधिकारी (वित्त एवं राजस्व, सीतापुर) द्वारा जारी किया गया था। इसी तरह राजीव शर्मा ने भी एक आदेश के क्रियान्वयन पर रोक लगा दी थी।

उन्होंने उस आदेश को ही रद्द कर दिया था, जिससे एक जमीन को सरकारी होने का दर्जा दिया गया था। ये वही जमीन है, जिस पर मुख़्तार अंसारी के दोनों बेटों और गाजीपुर से दूसरी बार सांसद बने अफजल अंसारी के बँगले बने हुए हैं। मुख़्तार के बेटों के बँगले पहले ही ध्वस्त किए जा चुके हैं। राजस्व परिषद के अध्यक्ष दीपक त्रिवेदी के साथ विचार-विमर्श के बाद राज्य सरकार ने इन IAS अधिकारियों को प्रतीक्षारत करने का फैसला लिया।

हाल ही में उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने माफिया विधायक मुख़्तार अंसारी के अवैध साम्राज्य पर अब तक का सबसे करारा प्रहार किया था। गाजीपुर में ‘मुख़्तार अंसारी का ताजमहल’ कहे जाने वाले उसके गजल होटल को ध्वस्त कर दिया गया था। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने भी देवरिया की चुनावी सभा में याद दिलाया था कि कैसे योगी सरकार गुंडे-माफियाओं की अवैध सम्पत्तियों पर बुलडोजर चलवा रही है।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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