Sunday, December 22, 2024
Homeरिपोर्टराष्ट्रीय सुरक्षागोरखनाथ मंदिर पर हमला करने वाले अब्बासी ने 2020 में ली थी ISIS की...

गोरखनाथ मंदिर पर हमला करने वाले अब्बासी ने 2020 में ली थी ISIS की शपथ, 2013 से है आतंकी कनेक्शन: UP पुलिस का खुलासा

पुलिस ने ये जानकारी भी दी कि मुर्तजा ने साल 2013 में अंसार-उल-तौहीद नामक आतंकवादी संगठन की शपथ ली थी, जिसका 2014 में ISIS में विलय हो गया। 2020 में अब्बासी ने फिर ISIS की शपथ ली।

गोरखनाथ मंदिर परिसर में धारधार हथियार के साथ घुसने का प्रयास करने वाले अहमद मुर्तजा अब्बासी को लेकर यूपी पुलिस ने नया खुलासा किया है। पुलिस ने उसके पास मिले ई-डिवाइस व सोशल मीडिया अकॉउंट से पता लगाया है कि वो ISIS आतंकियों के साथ संपर्क में था और 2014 में उसकी गिरफ्तारी बेंगलुरु पुलिस द्वारा भी की गई थी।

एडीजी प्रशांत कुमार ने मीडिया को बताया, “यूपी एटीएस द्वारा आरोपित अहमद मुर्तजा अब्बासी की जाँच के बाद, उसके कई ई-डिवाइस, उसके विभिन्न सोशल मीडिया अकाउंट जैसे जीमेल, ट्विटर, फेसबुक और ई-वॉलेट के डेटा की पड़ताल की गई। डेटा छानबीन में सामने आया कि आरोपित मुर्तजा अब्बासी सोशल मीडिया के जरिए ISIS आतंकी और उसके समर्थकों के साथ संपर्क में था। साल 2014 में उसकी गिरफ्तारी ISIS प्रोपेगेंडा एक्टिविस्ट मेहदी मसरूर बिस्वास से जुड़े केस में भी हुई थी। वह आतंकी संगठन, कट्टरपंथी प्रचारक और ISIS आतंक को बढ़ावा देने वाले लोगों से प्रभावित था।”

एडीजी ने जानकारी दी कि आरोपित ने अपने बैंक के जरिए ISIS की आतंकी गतिविधियों को समर्थन देने के लिए करीब 8.5 लाख भारतीय रुपए भेजे। ये रुपए उसने ISIS समर्थकों के संगठनों के जरिए भेजे जो यूरोप और अमेरिका में हैं। एडीजी प्रशांत कुमार के अनुसार आरोपित अब्बासी ने एके-47, एम-4 कार्बाइन और दूसरे हथियारों से जुड़े वीडियो भी इंटरनेट के माध्यम से भेजे थे। अपनी आतंकी इच्छाओं को पूरा करने के लिए उसने गोरखनाथ मंदिर के दक्षिणी द्वार पर लोक वुल्फ अटैक किया। उसने वहाँ ड्यूटी पर तैनात सुरक्षा अधिकारियों की राइफल छीनने की कोशिश की। उसका इरादा हथियार छीनकर बड़े हमले को अंजाम देने का था। पुलिस ने ये जानकारी भी दी कि मुर्तजा ने साल 2013 में अंसार-उल-तौहीद नामक आतंकवादी संगठन की शपथ ली थी, जिसका 2014 में ISIS में विलय हो गया। 2020 में अब्बासी ने फिर ISIS की शपथ ली।

गोरखनाथ मंदिर पर हमला

गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश के गोरखपुर स्थित गोरखनाथ मंदिर में 3 अप्रैल, 2022 को मुर्तज़ा अब्बासी ने धारदार हथियार ले कर घुसने का प्रयास किया था। इस दौरान उसने रोके जाने पर ‘अल्लाह हु अकबर’ के नारों के साथ PAC के 2 जवानों को घायल कर दिया था। मुर्तजा ने पुलिसकर्मियों के हथियार छीनने का भी प्रयास किया था। पड़ताल में पता चला था कि वह गोरखपुर के सिविल लाइंस का रहने वाला है। उसे बचाने के लिए उसके मानसिक तौर पर विक्षिप्त होने की खबरें भी मीडिया में कही गई। हालाँकि डॉक्टर के बयान और अब्बासी का बैकग्राउड देखते हुए इन दलीलों को दरकिनार कर दिया गया और राष्ट्रीय सुरक्षा के नाते जाँच आगे बढ़ी।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

किसी का पूरा शरीर खाक, किसी की हड्डियों से हुई पहचान: जयपुर LPG टैंकर ब्लास्ट देख चश्मदीदों की रूह काँपी, जली चमड़ी के साथ...

संजेश यादव के अंतिम संस्कार के लिए उनके भाई को पोटली में बँधी कुछ हड्डियाँ मिल पाईं। उनके शरीर की चमड़ी पूरी तरह जलकर खाक हो गई थी।

PM मोदी को मिला कुवैत का सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘द ऑर्डर ऑफ मुबारक अल कबीर’ : जानें अब तक और कितने देश प्रधानमंत्री को...

'ऑर्डर ऑफ मुबारक अल कबीर' कुवैत का प्रतिष्ठित नाइटहुड पुरस्कार है, जो राष्ट्राध्यक्षों और विदेशी शाही परिवारों के सदस्यों को दिया जाता है।
- विज्ञापन -