आरोपित सौरभ शुक्ला लगातार फोन और इंटरनेट के जरिए पाकिस्तान में बैठे आतंकी संगठन के आकाओं के संपर्क में रहता था। साथ ही इनसे अलग-अलग बैंक खाताओं में पैसे मंगवाकर आतंकियों तक सप्लाई करता था।
मुख्तार की पत्नी ने पूछताछ के दौरान स्वीकारा कि उसने अपनी बेटियों को बचाने के लिए पहले मुख्तार को शराब पिलाई, फिर खाने में नशे की गोलियाँ दी और फिर बेहोश होने पर उसने प्लॉस्टिक की रस्सी से उसका (मुख्तार) गला घोंटकर मार दिया।
"लोगों ने मुझसे कहा आप उनको इतने बड़े राज्य की कमान क्यों सौंप रहे हैं? लेकिन पीएम मोदी और मैंने उन्हें सीएम बनाने का फैसला किया क्योंकि वह कर्मठ हैं और उन्होंने अपने कम अनुभव को कठोर परिश्रम से कभी बाधा नहीं बनने दिया।"
ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के महासचिव मौलाना वली रहमानी ने सड़क पर हनुमान चालीसा पढ़ने को लेकर दोहरा रवैया अपनाते हुए कहा कि भगवा चोला पहनकर अराजकता फैलाना और मुसलमानों पर धौंस जमाना कुछ लोगों की आदत बन गई है।
पानीपत के चार बेटे अपने माता-पिता को काँवड़ में बिठाकर उत्तराखंड के हरिद्वार से शामली पहुँचे हैं। सोशल मीडिया पर चारों भाईयों और उनके माता-पिता की फ़ोटो वायरल तो हो ही रही है, साथ ही ख़ूब तारीफ़ भी हो रही है।
“मैं अपने पुलिस विभाग के सहकर्मियों से भी कहना चाहता हूँ कि सिर्फ सुरक्षा प्रदान करना हमारी जिम्मेदारी नहीं है, लोगों की सेवा करना भी हमारी जिम्मेदारी है। मेरा उद्देश्य सेवा करना है। दूरदराज से पैदल चलकर लोग हरिद्वार जल लेने जा रहे हैं। मैंने इसी सच्चे मन से काँवड़िए के पैर दबा उनकी थकान उतारने की कोशिश की है।”
कुछ मीडिया रिपोर्टों में बताया गया है कि यह वीडियो लोकसभा चुनाव से पहले का है। लेकिन, गाँव के हालिया तनाव को देखते हुए यह वीडियो आग में घी का काम कर सकता था। गाँव में भारी पुलिस बल तैनात।
आरोपितों की पहचान शकू, जाहिद, ओसफ, जुबैर, गुफरान, नेमुद्दीन, नानू, शकील, नवीन, तस्लीम, रईस, फेम और अबरार के रूप में हुई है। इनके खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। जिसमें से शकू, जाहिद, ओसफ, जुबैर, नानू और तस्लीम को गिरफ्तार किया गया है।
महमूद ने अपने मजहबी भाइयों को उकसाते हुए कहा "अगर हथियार खरीदने के लिए कीमती सामान बेचने की जरूरत हो तो उसे बेचकर भी हथियार खरीदें। इस तरह की ट्रेनिंग वे 12 जगहों पर देंगे। जिसमें अगली बारी दिल्ली की है।"
एसडीएम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा है कि जौहर यूनिवर्सिटी की 140 बीघा जमीन के पट्टे को रद्द किया जाता है। कोर्ट ने माना कि यह कोसी नदी की रेतीली जमीन है, जो कि सार्वजनिक है। इस जमीन को गलत तरीके से लीज पर लिया गया था।