जिला प्रशासन ने AMU से जुड़े 44 छात्रों सहित कुल 58 लोगों की भी पहचान की है, जिनको शहर में शांति भंग करने के लिए प्रशासन नोटिस जारी कर रहा है। साथ ही विश्वविद्यालय प्रशासन को भी उनके पते उपलब्ध कराने के लिए कहा गया है, लेकिन अभी तक कोई जवाब नहीं मिला है।
वरिष्ठ कॉन्ग्रेस नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री सलमान खुर्शीद का एक वीडियो सामने आया है, जिसमें वो 'आजादी' के नारे लगा रहे हैं। ये वीडियो राजधानी दिल्ली में जामिया मिलिया इस्लामिया यूनिवर्सिटी के पास का बताया जा रहा है। इस वीडियो में देखा जा सकता है जब एक बच्चा कहता है, "हम क्या चाहते" और उसके पीछे-पीछे खुर्शीद कहते हैं, "आजादी"
"मैं समझ नहीं पा रहा कि मुस्लिम नागरिकता कानून और एनआरसी के खिलाफ क्यों विरोध प्रदर्शन कर रहे। कौन उनको देश से निकालने जा रहा जो जन्म से भारतीय हैं?नागरिकता कानून और एनआरसी का विरोध कर आप किसको अपनी ताकत दिखाना चाहते हैं?"
शाहीन बाग़ के उपद्रवियों का कहना है कि अब वो रामलीला मैदान शिफ्ट होने के लिए तैयार हैं क्योंकि सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में टिप्पणी की है। न्यायपालिका के प्रति आस्था का दिखावा करते हुए उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट जैसा कहेगा, वैसा किया जाएगा।
महिला के वकील ने कहा कि बच्चे स्कूल से रोते हुए घर आते हैं क्योंकि उन्हें पाकिस्तान और आतंकवादी कहा जाता है। वकील ने मुस्लिम बच्चों को लेकर ये बातें कही। सीजेआई बोबडे ने कहा कि वो इस बयान पर टिप्पणी नहीं कर सकते क्योंकि इसका बच्ची की मौत वाले मामले से कोई लेना-देना नहीं है।
सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस संजय किशन कौल और जस्टिस केएम जोसेफ की बेंच ने सुनवाई करते हुए कहा कि विरोध ऐसा हो कि किसी दूसरे को कोई परेशानी न हो। सुनवाई को दौरान जजों ने तीखी टिप्पणी भी की और कहा कि अनिश्चित समय के लिए कोई कैसे पूरी सड़क को जाम कर सकता है?
“हमें ध्यान रखना है कि हमें इतना भी न्यूट्रल (तटस्थ) नहीं होना है कि हमारी पहचान ही खत्म हो जाए। पहले हम मुस्लिम हैं और उसके बाद कुछ और हैं। हमारे अंदर का जो दीन है, जो इमान है, वह जिंदा रहना चाहिए। कहीं ऐसा न हो कि हम अल्लाह को भी मुँह दिखाने लायक न रह जाएँ।”
"जो मोदी-शाह के ख़िलाफ़ आवाज़ उठाएगा वो सही मायने में मर्द-ए-मुजाहिद कह लाएगा। मैं वतन में रहूँगा, पर कागज नहीं दिखाऊँगा। कागज अग़र दिखाने की बात होगी, तो सीना दिखाएँगे कि मार गोली। मार दिल पे गोली मार, क्योंकि..."
डीएस बिंद्रा AIMIM के दिल्ली महासचिव हैं। इन्होंने अपना फ्लैट बेचकर शाहीन बाग में खाने-पीने का इंतजाम कराया, जिसे मीडिया गिरोह ने 'मुस्लिम-सिख एकता' की चासनी में डूबो कर बेचा। आम आदमी पार्टी, कॉन्ग्रेस और PFI के समर्थन के बाद अब...
नाबालिग हिन्दू लड़की महक कुमारी का पहले अपहरण किया जाता है, फिर जबरन बुलवाया जाता है कि उसने इस्लाम अपना लिया है, और निकाह कर दिया जाता है। जब वो कोर्ट को बताती है कि उसने डर के साये में ऐसा कहा था और वह हिंदू बनकर अपने माँ-पिता के पास जाना चाहती है तो उसके लिए मौत की सजा माँगी जाती है।