राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कॉलेज स्टूडेंट आर्गेनाईजेशन ‘महाविद्यालयीन विद्यार्थी’ ने मुंबई के प्रभादेवी नगर स्थित समुद्री बीच पर साफ़-सफाई का कार्य किया। रविवार (फरवरी 16, 2020) को दादर चौपाटी और प्रभादेवी नगर, दोनों क्षेत्र में स्थित बीचों पर साफ़-सफाई का कार्य किया गया। दोनों बीच पर संघ कार्यकर्ताओं ने सुबह 8 बजे से लेकर 10 बजे तक स्वच्छता कार्य किया। इस कार्य में कुल 50 आरएसएस कार्यकर्ता शामिल थे। इनमें बजरंग दल और स्थानीय कॉलेजों के एनएसएस यूनिट के कुछ छात्र भी शामिल थे, जिन्होंने इस स्वच्छता अभियान में अपना योगदान दिया।
हालाँकि, इसके लिए शिवसेना के प्रभुत्व वाली बृहन्मुम्बई महानगरपालिका को सूचना दे दी गई थी लेकिन वो लोग साजोसामान के साथ काफ़ी देर से पहुँचे। उन्हें एक सप्ताह पूर्व ही इस कार्यक्रम के सम्बन्ध में सूचित कर दिया गया था। बीएमसी ने छात्रों को सिर्फ़ ग्लव्स ही उपलब्ध कराए, जिससे उन्हें साफ़-सफाई के काम में देरी हुई। बीच पर चारों तरफ कचरा पड़ा हुआ था और ऐसा लग रहा था जैसे यहाँ कई दिनों से साफ़-सफाई का कार्य हुआ ही न हो।
बीएमसी से बास्केट्स मुहैया कराने को कहा गया था, लेकिन उनके ढुलमुल रवैए के कारण छात्रों को बास्केट नहीं मिल सका। इससे उन्हें ख़ासी परेशानी हुई। छोटे-छोटे प्लास्टिक व अन्य कचरों को झुक कर उठाने और फिर उन्हें थैलों में डालने के कारण इस काम में और भी देरी हुई। बीच पर कई काँच के टुकड़े पड़े हुए थे, जिनसे छात्रों के घायल होने का ख़तरा था। बीच से 100 मीटर की दूरी पर ही सार्वजनिक शौचालय उपलब्ध है, फिर भी कई लोगों ने वहीं पर मल-मूत्र त्याग रखे थे। उनके संपर्क में जाने पर साफ़-सफाई का कार्य कर रहे छात्रों को संक्रमण होने का भी ख़तरा था।
दरअसल, कुछ दिनों पहले संघ का एक कार्यकर्ता बीच पर घूमने आया था। उसने वहाँ काफी कचरा देखा। इसके बाद संघ के छात्र कार्यकर्ताओं की बैठक में इस बात को उठाया गया। इसके बाद बीच पर स्वच्छता अभियान चलाने का फैसला किया गया। समुद्र भी उफान के कारण वहाँ कचरे छोड़ जाता है, इसलिए नियमित साफ़-सफाई आवश्यक है। कार्य संपन्न होने के बाद संघ कार्यकर्ताओं ने राष्ट्रगान गाया।